चंडीगढ़: सेक्टर-9 स्थित चंडीगढ़ सचिवालय के बाहर लगे बोर्ड कालिख पोतने का मामला सामने आया है. जिसके बाद स्थानीय प्रशासन और चंडीगढ़ पुलिस सर्तक हो गई है. वहीं पुलिस के द्वारा सड़कों पर लगे सीसीटीवी कैमरों की जांच की जा रही है. बता दें कि शहर में इससे पहले भी गणतंत्र दिवस के अवसर पर चंडीगढ़ के सेक्टर 42 के बेअंत सिंह मेमोरियल एंड चंडीगढ़ सेंटर फॉर परफॉर्मिंग एंड विजुअल आर्ट्स के बोर्ड पर खाली स्थान और सिख फॉर जस्टिस के नारे लिखे गए थे.
ऐसे में उक्त स्थान का कालिख पोतने जैसी वारदात को अंजाम देने वाले चंडीगढ़ के बॉर्डर पर चल रहे कॉम इंसाफ मोर्चे मैं शामिल शरारती तत्वों द्वारा किए जाने की बात कही जा रही थी. जिसका आज तक चंडीगढ़ पुलिस पता नहीं लगा पाई है. विश्व में अंतरराष्ट्रीय मातृभाषा दिवस आज यानी 21 फरवरी को पूरे विश्वभर में मनाया जाता है. वहीं पंजाब द्वारा लगातार चंडीगढ़ को अपनी राजधानी के तौर पर माना गया है.
वहीं, चंडीगढ़ के स्थानीय लोगों और पंजाब द्वारा चंडीगढ़ को केंद्र शासित होने के विरुद्ध आवाज भी उठाई गई है. आज यानी मंगलवार को जहां शहर में अंतरराष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मनाया जा रहा है, वहीं कुछ शरारती लोगों द्वारा रात के समय चंडीगढ़ सचिवालय की बिल्डिंग के बाहर लगे बोर्ड दो भाषाओं से लिखे नामों पर कालिख पोत दी गई है. क्योंकि शहर में जितने भी साइन बोर्ड विभागों के बाहर लगाए गए है, उनमें सबसे नीचे जो नाम लिखा जाता है वह पंजाबी में होता है.
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ऐसे में चंडीगढ़ सेक्रेट्रिएट को अंग्रेजी और हिंदी के नामों पर कालिख पोती गई. जबकि नीचे पंजाबी में लिखे चंडीगढ़ सेक्रेट्रिएट को छोड़ा दिया गया. चंडीगढ़ सीआईडी के मुताबिक इस वारदात को रात के अधेंरे में अंजाम दिया गया है. वहीं चंडीगढ़ पूलिस को इस संबध में जानकारी दे दी गई थी. चंडीगढ़ पुलिस द्वारा चंडीगढ़ सचिवालय के अंदर लगे सीसीटीवी कैमरों की जांच की जा रही है. इसके साथ ही सड़कों पर लगे सीसीटीवी कैमरों को भी पुलिस खंगाल रही है.
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