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डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट पर सियासत तेज, गोवा से वापस लौटे कांग्रेस पार्षदों ने लिया ये फैसला

डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट को लेकर गोवा स्टडी टूर पर गए कांग्रेस और बीजेपी पार्षद चंडीगढ़ वापस लौट आए हैं. वापस आने के बाद कांग्रेस पार्षदों ने चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष एचएस लक्की और पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन बंसल के साथ एक बैठक की. इसके बाद कांग्रेस ने इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट को लेकर कई तरह के सवाल खड़े किए हैं. आखिर इस प्लांट को लेकर कांग्रेस का क्या कहना है जानने के लिए पढ़ें पूरी खबर...(Dadumajra Dumping Ground chandigarh)

Garbage Processing Plant in Chandigarh
चंडीगढ़ में गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट
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Published : Jul 3, 2023, 9:00 AM IST

Updated : Jul 3, 2023, 6:24 PM IST

चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष एचएस लक्की

चंडीगढ़: डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट लगाने को लेकर चंडीगढ़ के पार्षद गोवा स्टडी टूर से वौपस लौट आए हैं. चंडीगढ़ आते ही कांग्रेस पार्षदों ने चंडीगढ़ पार्टी प्रमुख के साथ बैठक की. बैठक में तय किया गया कि कांग्रेस के पार्षद गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट का समर्थन नहीं करेंगे. गोवा स्टडी टूर से वापस आने के बाद कांग्रेस पार्षदों का कहना है कि यह प्लांट आसपास के लोगों के साथ-साथ शहर के लिए भी हानिकारक साबित हो सकता है.

ये भी पढ़ें: निगम के खर्चे पर 16 पार्षदों और 11 अफसरों के साथ गोवा स्टडी टूर पर चंडीगढ़ मेयर!

प्लांट देखने गोवा स्टडी टूर पर गए थे चंडीगढ़ के पार्षद: बता दें कि चंडीगढ़ के पार्षद 26 जून को गोवा स्टडी टूर पर गए थे. गोवा में राष्ट्रीय पर्यावरण इंजीनियरिंग अनुसंधान संस्थान (NEERI) के सुझाव पर कचरा निस्तारण प्लांट लगाया गया है. उसी प्लांट की कार्यप्रणाली को देखने और समझने के लिए प्रशासक बनवारीलाल पुरोहित ने पार्षदों को फ्री स्टडी टूर पर जाने की सलाह दी थी. 2022 में भी पार्षदों ने गोवा और मुंबई के दौरे की योजना बनाई थी, लेकिन प्रशासक ने प्रस्ताव को खारिज कर दिया था. इसके बदले चंडीगढ़ के पार्षदों को इंदौर और नागपुर भेजा गया था. इस दौरान भी पार्षदों को यह दलील दी गयी थी कि इंदौर राष्ट्रीय स्वच्छता रैंकिंग में देश में शीर्ष पर और नागपुर अपशिष्ट प्रबंधन में बेहतरीन है. उस समय भी सभी राजनीतिक दलों के 21 पार्षद दौरे पर गए थे.

Garbage Processing Plant in Chandigarh
गोवा स्टडी टूर से वापस लौटने के बाद चंडीगढ़ कांग्रेस पार्षदों की बैठक.

ये भी पढ़ें: Tricity Metro Project: ट्राइसिटी मेट्रो परियोजना के खर्च का मामला केंद्र ने पंजाब-हरियाणा पर छोड़ा, दो चरण में पूरा होगा प्रोजेक्ट

चंडीगढ़ में गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट लगाने के विरोध में कांग्रेस: शनिवार, 1 जुलाई की रात को सभी पार्षद चंडीगढ़ लौट आये. इसके बाद कांग्रेस पार्षदों ने चंडीगढ़ पार्टी प्रमुख के साथ मीटिंग की. इस दौरान पार्षदों ने पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन बंसल और चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष एचएस लक्की की उपस्थिति में गोवा प्लांट के बारे में जानकारी साझा की. इस बैठक में यह निर्णय लिया गया कि पार्टी डड्डूमाजरा में प्रस्तावित गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट की स्थापना का समर्थन नहीं करेगी, क्योंकि यह डड्डूमाजरा और आसपास के क्षेत्रों के लोगों के लिए हानिकारक है. बैठक में कांग्रेस पार्षदों ने कहा कि गोवा के प्लांट की तुलना चंडीगढ़ में प्रस्तावित प्लांट से करना उचित नहीं है.

गोवा में गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट आवासीय क्षेत्र से बहुत दूर है. डड्डूमाजरा में प्लांट लगाने का प्रस्ताव डड्डूमाजरा और आसपास के निवासियों के साथ अन्याय होगा. ऐसे में इस प्लांट को कहीं और स्थानांतरित किया जाना चाहिए. डड्डूमाजरा और आसपास के इलाकों के लोग कई वर्षों से पीड़ित हैं. सत्तारूढ़ दल ने 9 वर्षों में उनके लिए कुछ नहीं किया, वह सिर्फ राजनीतिक लाभ लेने की जल्दबाजी में है - गुरजीत सिंह गाबा, कांग्रेस पार्षद

Garbage Processing Plant in Chandigarh
डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट पर राजनीति तेज.

कांग्रेस पार्षदों ने BJP और AAP को दिया ये सुझाव: कांग्रेस पार्षदों ने सुझाव दिया कि अधिकारियों को पंजाब या हरियाणा के नजदीक राज्यों में 50 एकड़ बंजर भूमि खरीदने पर विचार करना चाहिए जो 20 लाख प्रति एकड़ पर उपलब्ध हो सकती है. इसकी लागत लगभग 10 करोड़ हो सकती है और फिर वहां प्लांट स्थापित करना चाहिए. 15 एकड़ का उपयोग प्लांट की स्थापना के लिए किया जा सकता है. बाकी क्षेत्र का उपयोग इसके चारों ओर वन क्षेत्र विकसित करने के लिए किया जा सकता है.

गोवा प्लांट वेस्ट से ऊर्जा (बिजली) बनाने का प्लांट है, जबकि चंडीगढ़ में प्रस्तावित प्लांट सीएनजी है, जो एक अप्रचलित तकनीक है. हमें वेस्ट से ऊर्जा (बिजली) तकनीक अपनानी चाहिए. अधिकारियों को ऐसी कंपनियों का पता लगाना चाहिए जो नगर निगम के साथ राजस्व साझा कर सकें. वर्तमान आरएफपी के अनुसार नगर निगम को टिपिंग शुल्क का भुगतान करने के अलावा लगभग 80 करोड़ रुपये का भुगतान करना होगा, जो नगर निगम पर एक बड़ा बोझ होगा. - एचएस लक्की, चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष

Garbage Processing Plant in Chandigarh
डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट पर कांग्रेस ने समर्थन देने से किया इनकार.

कांग्रेस पार्टी की चंडीगढ़ प्रशासक से अपील: एचएस लक्की ने कहा कि, कांग्रेस पार्टी चंडीगढ़ प्रशासक से अपील करती है कि वह जल्दबाजी में कोई भी ऐसा निर्णय न लें जो प्रतिकूल हो. कहीं ऐसा ना हो कि जल्दबाजी में लिया गया निर्णय आने वाली पीढ़ियों के लिए नुकसानदायक साबित हो. उन्होंने कहा कि, भाजपा और आम आदमी पार्टी इस मुद्दे पर राजनीति न करें और अपने अच्छे संबंधों का उपयोग कर पड़ोसी राज्यों पंजाब और हरियाणा में जमीन की तलाश करे. इसके बाद प्लांट लगाने से संबंधित जरूरी परमिशन प्राप्त करने में मदद करे. हरियाणा में भाजपा और पंजाब में आम आदमी पार्टी की सरकार है. दोनों राज्य सरकार चंडीगढ़ में हिस्सेदारी का दावा करती रही है और यहां उनके कार्यालय और आवास हैं. ऐसे में उन्हें आगे आकर इसमें मदद करनी चाहिए.

चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष एचएस लक्की

चंडीगढ़: डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट लगाने को लेकर चंडीगढ़ के पार्षद गोवा स्टडी टूर से वौपस लौट आए हैं. चंडीगढ़ आते ही कांग्रेस पार्षदों ने चंडीगढ़ पार्टी प्रमुख के साथ बैठक की. बैठक में तय किया गया कि कांग्रेस के पार्षद गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट का समर्थन नहीं करेंगे. गोवा स्टडी टूर से वापस आने के बाद कांग्रेस पार्षदों का कहना है कि यह प्लांट आसपास के लोगों के साथ-साथ शहर के लिए भी हानिकारक साबित हो सकता है.

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प्लांट देखने गोवा स्टडी टूर पर गए थे चंडीगढ़ के पार्षद: बता दें कि चंडीगढ़ के पार्षद 26 जून को गोवा स्टडी टूर पर गए थे. गोवा में राष्ट्रीय पर्यावरण इंजीनियरिंग अनुसंधान संस्थान (NEERI) के सुझाव पर कचरा निस्तारण प्लांट लगाया गया है. उसी प्लांट की कार्यप्रणाली को देखने और समझने के लिए प्रशासक बनवारीलाल पुरोहित ने पार्षदों को फ्री स्टडी टूर पर जाने की सलाह दी थी. 2022 में भी पार्षदों ने गोवा और मुंबई के दौरे की योजना बनाई थी, लेकिन प्रशासक ने प्रस्ताव को खारिज कर दिया था. इसके बदले चंडीगढ़ के पार्षदों को इंदौर और नागपुर भेजा गया था. इस दौरान भी पार्षदों को यह दलील दी गयी थी कि इंदौर राष्ट्रीय स्वच्छता रैंकिंग में देश में शीर्ष पर और नागपुर अपशिष्ट प्रबंधन में बेहतरीन है. उस समय भी सभी राजनीतिक दलों के 21 पार्षद दौरे पर गए थे.

Garbage Processing Plant in Chandigarh
गोवा स्टडी टूर से वापस लौटने के बाद चंडीगढ़ कांग्रेस पार्षदों की बैठक.

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चंडीगढ़ में गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट लगाने के विरोध में कांग्रेस: शनिवार, 1 जुलाई की रात को सभी पार्षद चंडीगढ़ लौट आये. इसके बाद कांग्रेस पार्षदों ने चंडीगढ़ पार्टी प्रमुख के साथ मीटिंग की. इस दौरान पार्षदों ने पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन बंसल और चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष एचएस लक्की की उपस्थिति में गोवा प्लांट के बारे में जानकारी साझा की. इस बैठक में यह निर्णय लिया गया कि पार्टी डड्डूमाजरा में प्रस्तावित गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट की स्थापना का समर्थन नहीं करेगी, क्योंकि यह डड्डूमाजरा और आसपास के क्षेत्रों के लोगों के लिए हानिकारक है. बैठक में कांग्रेस पार्षदों ने कहा कि गोवा के प्लांट की तुलना चंडीगढ़ में प्रस्तावित प्लांट से करना उचित नहीं है.

गोवा में गार्बेज प्रोसेसिंग प्लांट आवासीय क्षेत्र से बहुत दूर है. डड्डूमाजरा में प्लांट लगाने का प्रस्ताव डड्डूमाजरा और आसपास के निवासियों के साथ अन्याय होगा. ऐसे में इस प्लांट को कहीं और स्थानांतरित किया जाना चाहिए. डड्डूमाजरा और आसपास के इलाकों के लोग कई वर्षों से पीड़ित हैं. सत्तारूढ़ दल ने 9 वर्षों में उनके लिए कुछ नहीं किया, वह सिर्फ राजनीतिक लाभ लेने की जल्दबाजी में है - गुरजीत सिंह गाबा, कांग्रेस पार्षद

Garbage Processing Plant in Chandigarh
डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट पर राजनीति तेज.

कांग्रेस पार्षदों ने BJP और AAP को दिया ये सुझाव: कांग्रेस पार्षदों ने सुझाव दिया कि अधिकारियों को पंजाब या हरियाणा के नजदीक राज्यों में 50 एकड़ बंजर भूमि खरीदने पर विचार करना चाहिए जो 20 लाख प्रति एकड़ पर उपलब्ध हो सकती है. इसकी लागत लगभग 10 करोड़ हो सकती है और फिर वहां प्लांट स्थापित करना चाहिए. 15 एकड़ का उपयोग प्लांट की स्थापना के लिए किया जा सकता है. बाकी क्षेत्र का उपयोग इसके चारों ओर वन क्षेत्र विकसित करने के लिए किया जा सकता है.

गोवा प्लांट वेस्ट से ऊर्जा (बिजली) बनाने का प्लांट है, जबकि चंडीगढ़ में प्रस्तावित प्लांट सीएनजी है, जो एक अप्रचलित तकनीक है. हमें वेस्ट से ऊर्जा (बिजली) तकनीक अपनानी चाहिए. अधिकारियों को ऐसी कंपनियों का पता लगाना चाहिए जो नगर निगम के साथ राजस्व साझा कर सकें. वर्तमान आरएफपी के अनुसार नगर निगम को टिपिंग शुल्क का भुगतान करने के अलावा लगभग 80 करोड़ रुपये का भुगतान करना होगा, जो नगर निगम पर एक बड़ा बोझ होगा. - एचएस लक्की, चंडीगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष

Garbage Processing Plant in Chandigarh
डड्डूमाजरा डंपिंग ग्राउंड में इंटीग्रेटेड सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट पर कांग्रेस ने समर्थन देने से किया इनकार.

कांग्रेस पार्टी की चंडीगढ़ प्रशासक से अपील: एचएस लक्की ने कहा कि, कांग्रेस पार्टी चंडीगढ़ प्रशासक से अपील करती है कि वह जल्दबाजी में कोई भी ऐसा निर्णय न लें जो प्रतिकूल हो. कहीं ऐसा ना हो कि जल्दबाजी में लिया गया निर्णय आने वाली पीढ़ियों के लिए नुकसानदायक साबित हो. उन्होंने कहा कि, भाजपा और आम आदमी पार्टी इस मुद्दे पर राजनीति न करें और अपने अच्छे संबंधों का उपयोग कर पड़ोसी राज्यों पंजाब और हरियाणा में जमीन की तलाश करे. इसके बाद प्लांट लगाने से संबंधित जरूरी परमिशन प्राप्त करने में मदद करे. हरियाणा में भाजपा और पंजाब में आम आदमी पार्टी की सरकार है. दोनों राज्य सरकार चंडीगढ़ में हिस्सेदारी का दावा करती रही है और यहां उनके कार्यालय और आवास हैं. ऐसे में उन्हें आगे आकर इसमें मदद करनी चाहिए.

Last Updated : Jul 3, 2023, 6:24 PM IST
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