ETV Bharat / state

कोविड वैक्सीन की डोज लगवाने वालों पर रिसर्च करेगा चंडीगढ़ पीजीआई

चंडीगढ़ पीजीआई अलग अलग कंपनियों की कोविड-19 वैक्सीन डोज लगाने वाले लोगों पर शोध (chandigarh pgi research on corona vaccine) करने जा रहा है. ये शोध चंडीगढ़ स्वास्थ्य विभाग की ओर से करवाया जा रहा है.

chandigarh pgi
chandigarh pgi
author img

By

Published : Nov 17, 2022, 7:36 PM IST

चंडीगढ़ पीजीआई अलग अलग कंपनियों की कोविड-19 वैक्सीन डोज लगाने वाले लोगों पर शोध (chandigarh pgi research on corona vaccine) करने जा रहा है. ये शोध चंडीगढ़ स्वास्थ्य विभाग की ओर से करवाया जा रहा है. जिसमें पंजाब और हरियाणा के लोग भी शामिल होंगे. पीजीआई द्वारा दी गई जानकारी में बताया गया है कि शोध के दौरान भारत के अंदर लगाई जाने वाली अलग अलग कंपनियों की कोविड वैक्सीन की लोगों में पहली और दूसरी डोज लगाई जाएगी.

इस शोध के जरिए ये पता लगाया जाएगा कि वैक्सीन लगाने पर इन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता और शारीरिक विकास में किस प्रकार का असर पड़ता है. इसमें 18 साल से लेकर 100 उम्र तक के 1028 लोगों पर शोध किया जाएगा. ये शोध उन लोगों पर ही किया जाएगा, जिन्हें एक बार भी वैक्सीन नहीं लगी है. इन 1028 लोगों को भारत में लगाए जाने वाली कोविड शील्ड और कोवेक्सीन की अलग-अलग डोज लगाई जाएगी.

ये भी पढ़ें- नूंह के SDM दीपक बने हाफ आयरनमैन और युवा IAS, 620 अधिकारियों को पछाड़कर जीता खिताब

जिसके बाद देखा जाएगा कि जिन लोगों को एक ही कंपनी की दोनों डोज लगवाई हैं. उनकी क्या प्रतिक्रिया है, जबकि दूसरी कंपनी की वैक्सीन लगाने पर क्या प्रतिक्रिया है. शोध के दौरान चुने गए लोगों को विशेष डॉक्टरों की टीम द्वारा वैक्सीनेशन देने के बाद देखरेख में रखा जाएगा. इस दौरान किसी को भी कोई नुकसान होता है तो उन्हें तुरंत सेहत सुविधा मुहैया कराई जाएगी. इस शोध को करवाने का मुख्य उद्देश्य यही है कि प्राइवेट कंपनियों द्वारा बनाई गई इन वैक्सीन का आम व्यक्त‌ि के स्वास्थ्य पर कितने अच्छा और बुरा प्रभाव पड़ता है.

चंडीगढ़ पीजीआई अलग अलग कंपनियों की कोविड-19 वैक्सीन डोज लगाने वाले लोगों पर शोध (chandigarh pgi research on corona vaccine) करने जा रहा है. ये शोध चंडीगढ़ स्वास्थ्य विभाग की ओर से करवाया जा रहा है. जिसमें पंजाब और हरियाणा के लोग भी शामिल होंगे. पीजीआई द्वारा दी गई जानकारी में बताया गया है कि शोध के दौरान भारत के अंदर लगाई जाने वाली अलग अलग कंपनियों की कोविड वैक्सीन की लोगों में पहली और दूसरी डोज लगाई जाएगी.

इस शोध के जरिए ये पता लगाया जाएगा कि वैक्सीन लगाने पर इन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता और शारीरिक विकास में किस प्रकार का असर पड़ता है. इसमें 18 साल से लेकर 100 उम्र तक के 1028 लोगों पर शोध किया जाएगा. ये शोध उन लोगों पर ही किया जाएगा, जिन्हें एक बार भी वैक्सीन नहीं लगी है. इन 1028 लोगों को भारत में लगाए जाने वाली कोविड शील्ड और कोवेक्सीन की अलग-अलग डोज लगाई जाएगी.

ये भी पढ़ें- नूंह के SDM दीपक बने हाफ आयरनमैन और युवा IAS, 620 अधिकारियों को पछाड़कर जीता खिताब

जिसके बाद देखा जाएगा कि जिन लोगों को एक ही कंपनी की दोनों डोज लगवाई हैं. उनकी क्या प्रतिक्रिया है, जबकि दूसरी कंपनी की वैक्सीन लगाने पर क्या प्रतिक्रिया है. शोध के दौरान चुने गए लोगों को विशेष डॉक्टरों की टीम द्वारा वैक्सीनेशन देने के बाद देखरेख में रखा जाएगा. इस दौरान किसी को भी कोई नुकसान होता है तो उन्हें तुरंत सेहत सुविधा मुहैया कराई जाएगी. इस शोध को करवाने का मुख्य उद्देश्य यही है कि प्राइवेट कंपनियों द्वारा बनाई गई इन वैक्सीन का आम व्यक्त‌ि के स्वास्थ्य पर कितने अच्छा और बुरा प्रभाव पड़ता है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.