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दिव्यांगजन के लिए बढ़ाई गई UDID कार्ड बनवाने की अंतिम तारीख, जानिए कब तक करा सकते हैं रजिस्ट्रेशन - Disabled Commissioner Rajkumar Makkar

अब एक जुलाई से यूनिक डिसएबिलिटी आईडी (UDID) नहीं होने पर दिव्यांगजन सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं ले सकेंगे. इसलिए हर किसी को यूडीआईडी बनवाना जरूरी है. इसके लिए रजिस्ट्रेशन कराने की अंतिम तारीख एक बार फिर बढ़ा दी गई है.

Last date for UDID registration
यूडीआईडी रजिस्ट्रेशन की अंतिम तारीख
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Published : Mar 20, 2023, 1:03 PM IST

भिवानी: सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय के तहत नियुक्त दिव्यांगजन आयुक्त राजकुमार मक्कड़ ने कहा कि प्रदेश सरकार दिव्यांगजनों की समस्याओं के समाधान को लेकर गंभीर है. हरियाणा में रहने वाले अन्य प्रदेशों के दिव्यांगजन भी अब यहीं पर अपना दिव्यांगता प्रमाण पत्र बनवा सकेंगे, जिनकी संख्या करीब 76 हजार 621 है. यूडीआईडी कार्ड बनवाने की अवधि 31 मार्च से बढ़ाकर अब 30 जून कर दी गई है.

दिव्यांगजन आयुक्त राजकुमार मक्कड़ ने कहा कि एक अप्रैल से भारत और हरियाणा सरकार की 18 सेवाओं को यूडीआईडी कार्ड के साथ जोड़ दिया गया है, जिनका लाभ दिव्यांग केवल यूडीआईडी कार्ड होने पर ही ले सकेंगे. इसी के चलते प्रदेश सरकार ने पंडित दीन दयाल उपाध्याय के अंत्योदय के सपने को साकार करते हुए दयालु नाम से योजना लागू की, जिसके तहत जिस व्यक्ति की आय एक लाख 80 हजार रुपए तक है और वो हादसे में दिव्यांग हो जाता है या उसकी मौत हो जाती है तो उसके परिजनों को प्रदेश सरकार पांच लाख रुपए की आर्थिक सहायता प्रदान करेगी.

ये भी पढ़ें- भिवानी में दिव्यांगों का हल्ला बोल, अपनी मांगों को लेकर फूंका सरकार का पुतला

आयुक्त ने बताया कि प्रदेश में तीन लाख 39 हजार 190 दिव्यांगजन का रिकार्ड है, जिनकी 40 प्रतिशत दिव्यांगता है. इनमें से करीब दो लाख दिव्यांगजन आयुष्मान योजना का लाभ ले रहे हैं. शेष बचे कुछ या तो नौकरी कर रहे हैं या फिर स्कूली बच्चे हैं, जिनकी संख्या साढ़े 32 हजार है. विशेष विद्यार्थियों की शिक्षा को लेकर प्रदेश में 279 विशेष अध्यापकों की भर्ती प्रक्रिया अंतिम चरण में है तथा 1280 पदों की और नियुक्ति की जाएगी. दिव्यांगजन आयुक्त राजकुमार मक्कड़ सोमवार को भिवानी में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे.

प्रदेश में दिव्यांगजन को नौकरियों में चार प्रतिशत आरक्षण दिया जा रहा है. प्रदेश के कुल 40 प्रतिशत दिव्यांगता वाले तीन लाख 39 हजार 190 में से दो लाख 51 हजार 88 के कार्ड जनरेट हो चुके हैं. एक लाख सात हजार 734 के आवेदन आए हुए हैं, इनमें 65 हजार 166 मेडिकल से संबंधित हैं. उन्होंने बताया कि जिन्होंने अपने यूडीआईडी कार्ड नहीं बनवाए हैं, वे कॉमन सर्विस सेंटर पर जाकर अपना पंजीकरण करवाएं.

मक्कड़ ने बताया कि प्रदेश में एक लाख से अधिक दिव्यांगजन पेंशन ले रहे हैं. एक अप्रैल से एक लाख से अधिक दिव्यांगजन को 2750 रुपए प्रतिमाह पेंशन दी जाएगी, जो यूपी और एमपी को छोड़कर देश के किसी भी राज्य से अधिक है. इसके अलावा दिव्यांगजनों में कौशल विकसित करने को लेकर विगत 26 जनवरी से देशभर के सभी प्रांतों में दिव्य मेले आयोजित किए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि दिव्यांगजन की हर जायज मांग का समाधान किया जा रहा है.

ये भी पढ़ें- भिवानी में राज्य स्तरीय प्रदर्शनी, दिव्यांगों ने स्टॉल लगाकर दिखाई अपनी प्रतिभा

भिवानी: सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय के तहत नियुक्त दिव्यांगजन आयुक्त राजकुमार मक्कड़ ने कहा कि प्रदेश सरकार दिव्यांगजनों की समस्याओं के समाधान को लेकर गंभीर है. हरियाणा में रहने वाले अन्य प्रदेशों के दिव्यांगजन भी अब यहीं पर अपना दिव्यांगता प्रमाण पत्र बनवा सकेंगे, जिनकी संख्या करीब 76 हजार 621 है. यूडीआईडी कार्ड बनवाने की अवधि 31 मार्च से बढ़ाकर अब 30 जून कर दी गई है.

दिव्यांगजन आयुक्त राजकुमार मक्कड़ ने कहा कि एक अप्रैल से भारत और हरियाणा सरकार की 18 सेवाओं को यूडीआईडी कार्ड के साथ जोड़ दिया गया है, जिनका लाभ दिव्यांग केवल यूडीआईडी कार्ड होने पर ही ले सकेंगे. इसी के चलते प्रदेश सरकार ने पंडित दीन दयाल उपाध्याय के अंत्योदय के सपने को साकार करते हुए दयालु नाम से योजना लागू की, जिसके तहत जिस व्यक्ति की आय एक लाख 80 हजार रुपए तक है और वो हादसे में दिव्यांग हो जाता है या उसकी मौत हो जाती है तो उसके परिजनों को प्रदेश सरकार पांच लाख रुपए की आर्थिक सहायता प्रदान करेगी.

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आयुक्त ने बताया कि प्रदेश में तीन लाख 39 हजार 190 दिव्यांगजन का रिकार्ड है, जिनकी 40 प्रतिशत दिव्यांगता है. इनमें से करीब दो लाख दिव्यांगजन आयुष्मान योजना का लाभ ले रहे हैं. शेष बचे कुछ या तो नौकरी कर रहे हैं या फिर स्कूली बच्चे हैं, जिनकी संख्या साढ़े 32 हजार है. विशेष विद्यार्थियों की शिक्षा को लेकर प्रदेश में 279 विशेष अध्यापकों की भर्ती प्रक्रिया अंतिम चरण में है तथा 1280 पदों की और नियुक्ति की जाएगी. दिव्यांगजन आयुक्त राजकुमार मक्कड़ सोमवार को भिवानी में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे.

प्रदेश में दिव्यांगजन को नौकरियों में चार प्रतिशत आरक्षण दिया जा रहा है. प्रदेश के कुल 40 प्रतिशत दिव्यांगता वाले तीन लाख 39 हजार 190 में से दो लाख 51 हजार 88 के कार्ड जनरेट हो चुके हैं. एक लाख सात हजार 734 के आवेदन आए हुए हैं, इनमें 65 हजार 166 मेडिकल से संबंधित हैं. उन्होंने बताया कि जिन्होंने अपने यूडीआईडी कार्ड नहीं बनवाए हैं, वे कॉमन सर्विस सेंटर पर जाकर अपना पंजीकरण करवाएं.

मक्कड़ ने बताया कि प्रदेश में एक लाख से अधिक दिव्यांगजन पेंशन ले रहे हैं. एक अप्रैल से एक लाख से अधिक दिव्यांगजन को 2750 रुपए प्रतिमाह पेंशन दी जाएगी, जो यूपी और एमपी को छोड़कर देश के किसी भी राज्य से अधिक है. इसके अलावा दिव्यांगजनों में कौशल विकसित करने को लेकर विगत 26 जनवरी से देशभर के सभी प्रांतों में दिव्य मेले आयोजित किए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि दिव्यांगजन की हर जायज मांग का समाधान किया जा रहा है.

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