पंचकूला: केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ बीते 7 महीनों से किसान आंदोलन (farmers protest) जारी है. इसी कड़ी में किसान आज 'खेती बचाओ-लोकतंत्र बचाओ' दिवस मना रहे हैं. इसी को देखते हुए पंचकूला पुलिस (panchkula police) ने चंडीगढ़ बॉर्डर पर नाके लगा दिए थे. बैरिकेडिंग लगाकर खड़ी पुलिस और किसानों के बीच झड़प तो देखने को नहीं मिली लेकिन इस बार एक अलग ही नजारा देखने को मिला. तपती धूप और भीषण गर्मी के बीच किसानों ने पुलिसकर्मियों को शरबत पिलाकर गर्मी से राहत दिलाई. तस्वीरों में देखा जा सकता है कि बैरिकेडिंग के आसपास खड़े पुलिसकर्मियों को कुछ किसानों द्वारा शरबत बांटा जा रहा है.
आपको बता दें कि राज्यपाल को ज्ञापन सौंपने जा रहे किसानों को पुलिस प्रशासन द्वारा पंचकूला-चंडीगढ़ बॉर्डर पर ही रोक दिया गया था और उन्हें चंडीगढ़ में घुसने नहीं दिया गया. राज्यपाल के ADC ने खुद बॉर्डर पर आकर किसानों से ज्ञापन ले लिया है. जिसके बाद किसानों ने अपना मार्च खत्म कर लिया. बता दें कि हजारों की संख्या में किसान बॉर्डर पर इकट्ठा हुए थे.
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वहीं दूसरी तरफ पंजाब के मोहाली से हजारों की संख्या में किसानों ने चंडीगढ़ में प्रवेश (farmers enter chandigarh) किया. किसान बैरिकेडिंग को तोड़कर चंडीगढ़ में घुसे. जिसके बाद किसानों को चंडीगढ़ के प्रेस लाइट प्वाइंट पर रोका गया.
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किसानों की भारी संख्या को देखते हुए चंडीगढ़ डीसी मंदीप सिंह बराड़ भी मौके पर पहुंचे. उन्होंने प्रेस लाइट प्वाइंट पर ही किसानों से ज्ञापन लिया है और उन्हें आश्वासन दिया कि वो इसे प्रशासक वीपी सिंह बदनौर तक पहुंचाएंगे. उन्होंने सभी से शांति की अपील की. जिसके बाद किसान वापस लौट गए.