भिवानी: जिले के गांव जाटू लोहारी में सरपंच के साथ हुए झगड़े के चलते दूसरे पक्ष के लोगों ने गांव से पलायन कर शहर की एक धर्मशाला में शरण ली है. पीड़ित पक्ष का आरोप है कि गांव में उन्हें जान का खतरा है और कोई उनकी सुनवाई भी नहीं कर रहा है. महिलाओं का कहना है कि जब उन्हें न्याय मिलेगा तभी वो वापस गांव में जाएंगे.
क्या है मामला ?
जानकारी के मुताबिक ये विवाद 19 फरवरी को शुरू हुआ था. इस दिन गांव के सरपंच नरेश ने बवानीखेड़ा थाना में शिकायत दर्ज करवाई थी कि गांव में सार्वजनिक स्थान पर गोबर डालने पर मना किया तो एक महिला और उसके बेटे ने उसके साथ मारपीट शुरू कर दी और उसका मोबाईल और 35 हजार रुपये छिन लिए. इसके दो दिन बाद उक्त महिला अपनी बेटी के साथ चौधरी बंसीलाल नागरिक अस्पताल में भर्ती हुई और आरोप लगाया कि गांव के सरपंच व कुछ उसके साथियों ने उनके घर में घुसकर सभी सदस्यों के साथ मारपीट की और घर का सारा सामान तोड़ दिया.
परिवार ने किया पलायन
दोनों पक्षों में आपसी लड़ाई का ये विवाद यहीं नहीं रूका. ये विवाद 23 फरवरी को और बढ़ गया जब सरपंच के साथ झगड़ा होने वाले परिवार ने गांव से पलायन किया.
परिवार ने धर्मशाला में शरण ली
इस परिवार ने अपने घर से सारा सामान बांध कर भिवानी एक धर्मशाला में शरण ली है. अब इस परिवार की महिलाओं का आरोप है कि सरपंच हमरे ऊपर मारपीट के गलत आरोप लगा रहा है. उन्होंने केवल अपना बचाव किया था. इसके बाद सरपंच ने पंचायत कर उनका घर से निकलना बंद कर दिया और अगले दिन घर में घुसकर सभी के साथ मिरपीट की, अभद्र व्यवहार किया तथा घर का सामान तोड़ दिया. इन महिलाओं का ये भी आरोप है कि गांव में जान का खतरा था, इसलिए उन्होंने पलायन किया है और जब तक न्याय नहीं मिलेगा, तब तक गांव में नहीं जाएंगे.
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