अंबाला: यूक्रेन में रुसी सेनाओं के हमले के बाद वहां स्टडी करने गए छात्रों के मां-बाप सदमे में नजर आ रहे हैं. वहां फंसे अंबाला के रहने वाले इंजीनियरिंग छात्र सुचेत सिंह (Ambala student suchet singh) के परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है. वे अपने बेटे की सुरक्षित वापसी के लिए दिन-रात सिर्फ दुआएं कर रहे हैं. सुचेत सिंह के पिता बेटे का वीडियो कॉल आने पर उससे बात करते हुए उनकी बूढ़ी आंखे नम होने लगती हैं, लेकिन साथ बैठी उनकी पत्नी जसबीर कौर उन्हें बेटे के सुरक्षित भारत लौटने का भरोसा दिला रही हैं.
अंबाला रहने वाले सुचेत सिंह के पिता हरजीत सिंह का कहना है कि उनका बेटा 2018 में यूक्रेन की इंटरनेशल क्लासिकल यूनिवर्सिटी मिकोलाइव में इंजीनियरिंग करने गया था, लेकिन तीन साल बाद रूस और यूक्रेन के बीच छिड़ी जंग में उनका बेटा वहीं फंस गया है. बमबारी की वजह से कीव एयरपोर्ट क्षतिग्रस्त हो गया है. उन्हें जब से वहां हमले की जानकारी मिली है तब से उनकी रातों की नींद उड़ गई है. बस वे अपने बेटे के सुरक्षित घर लौटने के लिए भगवान से प्रार्थना कर रहे हैं.
वहीं, सुचेत सिंह की माता जसबीर कौर का कहना है कि उनके दो बेटे हैं, जिनमे बड़ा बेटा भारत में नौकरी करता है और छोटा बेटा सुचेत सिंह यूक्रेन में इंजीनियरिंग करने 2018 में गया था. जिसने एक साल लैंग्वेज कोर्स करने के बाद अब उसका आखिरी साल था कि अचानक रूस द्वारा यूक्रेन पर हमला करने से हालात बिगड़ गए और उनका बेटा और उसके साथ 5 अन्य भारतीय युवक जान बचाने के लिए कैब और टैक्सी से पोलैंड की तरफ कूच कर चुके हैं.
रूस और यूक्रेन के बीच चले रहे युद्ध (Russia Ukraine war) के बीच वहां फंसे भारतीय छात्र (Indian students stranded in Ukraine) बहुत डरे हुए हैं. उनका कहना है उनके बेटे ने 27 फरवरी को भारत आना था, लेकिन अब युद्ध के हाल बनने से सभी भारतीय सुरक्षित जगह जाने को मजबूर हैं. उनकी सरकार से गुहार है कि यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों को सुरक्षित देश लाने का प्रबंध किया जाये. यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों के परिजन सरकार से गुहार लगा रहें कि उनके बच्चों को सुरक्षित भारत लाया जाए. अंबाला के विधायक असीम गोयल ने कहा अंबाला के 30 से 35 छात्र फंसे हुए हैं. उन्हें निकालने की कोशिशें जारी हैं.
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