नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में पुलिस और एडवोकेट के बीच एक बार फिर टकराव बढ़ गया है. इस बार वकील पुलिसकर्मी के खिलाफ खुलकर मैदान में सामने आ गए हैं और उसी को लेकर सोमवार को सभी वकीलों ने मिलकर द्वारका कोर्ट में हड़ताल की. वकीलों का आरोप है कि एक तो महिला पुलिस ऑफिसर ने वकील के साथ मारपीट की. थप्पड़ मारा और उल्टे वकील के ऊपर केस करके अब उसे धमका रही है. और पीड़ित वकील की शिकायत पर कोई कारवाई नहीं हो रही है.
हड़ताली वकीलों के अनुसार, लगभग 2 महीने पहले द्वारका कोर्ट के एक वकील राकेश शर्मा के साथ उत्तम नगर इलाके में एक महिला पुलिस ऑफिसर ने मारपीट की थी. इसकी वजह से उनके बाएं कान से सुनाई देना लगभग बंद हो गया है. उस मामले में पीड़ित वकील राकेश शर्मा ने पुलिस के आला अधिकारियों से शिकायत भी की थी, लेकिन कोई एक्शन नहीं हुआ.
ये भी पढ़ें :विभिन्न मांगों को लेकर नोएडा प्राधिकरण पर किसानों ने किया जोरदार प्रदर्शन
द्वारका कोर्ट बार एसोसिएशन के प्रेसिडेंट एनसी शर्मा ने मीडिया को बताया कि पीड़ित राकेश शर्मा के साथ इसी साल 5 अक्टूबर को उत्तम नगर ईस्ट मेट्रो स्टेशन के पास मारपीट की गई थी. उनके बाएं कान से करीब 70 परसेंट सुनाई देना बंद हो गया है. पुलिस ने दोषी पुलिस कर्मियों पर कार्रवाई करने के बजाय उल्टे पीड़ित वकील पर ही सरकारी काम में बाधा डालने और छेड़छाड़ जैसी धाराओं में झूठा मुकदमा दर्ज किया है.
उसी को लेकर सोमवार 11 दिसंबर को द्वारका कोर्ट में हड़ताल का फैसला लिया गया है. पूरे दिन वकील हड़ताल पर रहे. द्वारका कोर्ट के हड़ताली वकीलों का कहना है कि तुरंत पुलिस ऑफिसर को इस मामले पर संज्ञान लेना चाहिए और दोषी महिला पुलिस ऑफिसर पर कार्रवाई करनी चाहिए. वकीलों को परेशान करना नहीं बंद हुआ तो पूरे दिल्ली में एडवोकेट हड़ताल और प्रदर्शन करेंगे.
ये भी पढ़ें :दिल्ली में लोक अदालत से लाखों लोगों को मिली राहत, करीब दो लाख मामलों का हुआ निपटारा