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मुफ्त यात्रा योजना के समर्थन में आईं योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार, PM को लिखा खत

रेणुका विश्वनाथन ने ये भी कहा है कि उनके दृष्टिकोण में जिस महिला के पास पैसे नहीं है वो भ्रमण के लिए स्वतंत्र नहीं है तो वो सशक्त नहीं है. रेणुका विश्वनाथन ने केजरीवाल सरकार की योजनाओं की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री को पत्र लिखा है.

रेणुका विश्वनाथन
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Published : Jun 17, 2019, 10:47 PM IST

Updated : Jun 17, 2019, 11:37 PM IST

नई दिल्ली: मेट्रो और डीटीसी बसों में महिलाओं की फ्री राइड योजना को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है. सोमवार को योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार रेणुका विश्वनाथन ने मुफ्त मेट्रो योजना को लेकर मेट्रोमैन ई श्रीधरन की आशंकाओं का जवाब दिया है. उन्होंने इस बाबत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी 3 पेज का पत्र लिखा है.

Letter of renuka vishwanathan
रेणुका विश्वनाथन का पत्र

सब्सिडी से कमजोर समूह मजबूत होगा
रेणुका ने कहा है कि हमें सिखाया गया था कि सब्सिडी खराब है, क्योंकि वो बाजार की कीमतों को विकृत करती है, लेकिन सब्सिडी समाज के कमजोर समूह को मजबूत भी कर सकती है. उन्होंने लिखा कि बाजार की विकृतियों को सही करके प्रोत्साहन दे सकती है.

उन्होंने लिखा कि, मैंने देखा है कि ब्राजील जैसे देशों में कुछ समूहों के लिए बसों में मुफ्त यात्रा है. दिल्ली में भी सरकार ने महिलाओं के लिए ये योजना बनाने की बात कह कर जता दिया है कि महिला सशक्तिकरण की दिशा में मोबिलिटी कितनी अहम है.

Letter of renuka vishwanathan
रेणुका विश्वनाथन का पत्र

'महिलाएं बिना भ्रमण के सशक्त नहीं हैं'
प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में रेणुका विश्वनाथन ने ये भी कहा है कि उनके दृष्टिकोण में जिस महिला के पास पैसे नहीं है वो भ्रमण के लिए स्वतंत्र नहीं है तो वो सशक्त नहीं है. महिलाओं के लिए मुफ्त बस यात्रा कुछ और संतुलनों को नष्ट करेगी, लेकिन हममें से जो लोग बस यात्रा के लिए भुगतान करना चाहते हैं वे ऐसा कर सकते हैं.

रेणुका ने मेट्रोमैन ई श्रीधरन के उठाए गए सवालों और मेट्रो में फ्री राइड को एक बीमारी जैसे बताने पर कहा कि उनके विचार तभी काम करेंगे जब हमारे पास एक समाज होगा जहां महिलाओं को समान माना जाता है.

03 जून को सीएम ने किया था एलान
बता दें कि गत 3 जून को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मेट्रो और डीटीसी की बसों में महिलाओं की मुक्त सवारी योजना का ऐलान किया था. उन्होंने संबंधित विभागों से इस बाबत विस्तृत रिपोर्ट मांगी थी.

दिल्ली मेट्रो ने अपनी रिपोर्ट तो दे दी लेकिन कहा कि इसे लागू करने में कम से कम 8 महीने का समय लगेगा. साथ ही प्रति वर्ष इस मद में दिल्ली सरकार को 1566 करोड़ रुपये मेट्रो को अदा करने होंगे.

Letter of renuka vishwanathan
रेणुका विश्वनाथन का पत्र

ई-श्रीधरन ने योजना पर उठाए थे सवाल
मेट्रो द्वारा भेजे गए प्रस्ताव के बाद मेट्रो मैन ई श्रीधरन ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर दिल्ली सरकार की योजना पर सवाल उठाए और कहा कि दिल्ली मेट्रो में इस तरह की सुविधा किसी भी तरह से ठीक उन्होंने कहा कि ऐसा हुआ तो देश के अन्य शहरों में जहां मेट्रो का परिचालन हो रहा है वहां भी मुफ्त सवारी की बात उठेगी, जो देश हित में सही नहीं होगा.

मेट्रो मैन के इस पत्र के बाद अब योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार रेणुका विश्वनाथन ने केजरीवाल सरकार की योजनाओं की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री को पत्र लिखा है.

नई दिल्ली: मेट्रो और डीटीसी बसों में महिलाओं की फ्री राइड योजना को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है. सोमवार को योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार रेणुका विश्वनाथन ने मुफ्त मेट्रो योजना को लेकर मेट्रोमैन ई श्रीधरन की आशंकाओं का जवाब दिया है. उन्होंने इस बाबत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी 3 पेज का पत्र लिखा है.

Letter of renuka vishwanathan
रेणुका विश्वनाथन का पत्र

सब्सिडी से कमजोर समूह मजबूत होगा
रेणुका ने कहा है कि हमें सिखाया गया था कि सब्सिडी खराब है, क्योंकि वो बाजार की कीमतों को विकृत करती है, लेकिन सब्सिडी समाज के कमजोर समूह को मजबूत भी कर सकती है. उन्होंने लिखा कि बाजार की विकृतियों को सही करके प्रोत्साहन दे सकती है.

उन्होंने लिखा कि, मैंने देखा है कि ब्राजील जैसे देशों में कुछ समूहों के लिए बसों में मुफ्त यात्रा है. दिल्ली में भी सरकार ने महिलाओं के लिए ये योजना बनाने की बात कह कर जता दिया है कि महिला सशक्तिकरण की दिशा में मोबिलिटी कितनी अहम है.

Letter of renuka vishwanathan
रेणुका विश्वनाथन का पत्र

'महिलाएं बिना भ्रमण के सशक्त नहीं हैं'
प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में रेणुका विश्वनाथन ने ये भी कहा है कि उनके दृष्टिकोण में जिस महिला के पास पैसे नहीं है वो भ्रमण के लिए स्वतंत्र नहीं है तो वो सशक्त नहीं है. महिलाओं के लिए मुफ्त बस यात्रा कुछ और संतुलनों को नष्ट करेगी, लेकिन हममें से जो लोग बस यात्रा के लिए भुगतान करना चाहते हैं वे ऐसा कर सकते हैं.

रेणुका ने मेट्रोमैन ई श्रीधरन के उठाए गए सवालों और मेट्रो में फ्री राइड को एक बीमारी जैसे बताने पर कहा कि उनके विचार तभी काम करेंगे जब हमारे पास एक समाज होगा जहां महिलाओं को समान माना जाता है.

03 जून को सीएम ने किया था एलान
बता दें कि गत 3 जून को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मेट्रो और डीटीसी की बसों में महिलाओं की मुक्त सवारी योजना का ऐलान किया था. उन्होंने संबंधित विभागों से इस बाबत विस्तृत रिपोर्ट मांगी थी.

दिल्ली मेट्रो ने अपनी रिपोर्ट तो दे दी लेकिन कहा कि इसे लागू करने में कम से कम 8 महीने का समय लगेगा. साथ ही प्रति वर्ष इस मद में दिल्ली सरकार को 1566 करोड़ रुपये मेट्रो को अदा करने होंगे.

Letter of renuka vishwanathan
रेणुका विश्वनाथन का पत्र

ई-श्रीधरन ने योजना पर उठाए थे सवाल
मेट्रो द्वारा भेजे गए प्रस्ताव के बाद मेट्रो मैन ई श्रीधरन ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर दिल्ली सरकार की योजना पर सवाल उठाए और कहा कि दिल्ली मेट्रो में इस तरह की सुविधा किसी भी तरह से ठीक उन्होंने कहा कि ऐसा हुआ तो देश के अन्य शहरों में जहां मेट्रो का परिचालन हो रहा है वहां भी मुफ्त सवारी की बात उठेगी, जो देश हित में सही नहीं होगा.

मेट्रो मैन के इस पत्र के बाद अब योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार रेणुका विश्वनाथन ने केजरीवाल सरकार की योजनाओं की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री को पत्र लिखा है.

Intro:नई दिल्ली. दिल्ली सरकार द्वारा मेट्रो और डीटीसी बसों में महिलाओं की फ्री राइड योजना को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है. सोमवार को योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार रेणुका विश्वनाथन ने महिलाओं के लिए मुफ्त मेट्रो योजना को लेकर मेट्रो मैन ई श्रीधरन की आशंकाओं का जवाब दिया है. उन्होंने इस बाबत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी 3 पेज का पत्र लिखा है.




Body:रेणुका ने कहा है कि हमें सिखाया गया था कि सब्सिडी खराब है. क्योंकि वह बाजार की कीमतों को विकृत करती है. लेकिन सब्सिडी समाज के कमजोर समूह को मजबूत भी कर सकती है. और बाजार की विकृतियों को सही करके प्रोत्साहन दे सकती है. उन्होंने आगे लिखा कि, मैंने देखा है कि ब्राजील जैसे देशों में कुछ समूहों के लिए बसों में मुफ्त यात्रा है. दिल्ली में भी सरकार ने महिलाओं के लिए यह योजना बनाने की बात कह कर जता दिया है कि महिला सशक्तिकरण की दिशा में मोबिलिटी कितनी अहम है.

प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में रेणुका विश्वनाथन ने यह भी लिखा है कि उनके दृष्टिकोण में जिस महिला के पास पैसे नहीं है वह भ्रमण के लिए स्वतंत्र नहीं है. तो वह सशक्त नहीं है. महिलाओं के लिए मुफ्त बस यात्रा कुछ और संतुलनों को नष्ट करेंगी. लेकिन हममें से जो लोग बस यात्रा के लिए भुगतान करना चाहते हैं वे ऐसा कर सकते हैं. रेणुका ने मेट्रो मैन ई श्रीधरन द्वारा उठाए गए सवालों तथा मेट्रो में फ्री राइड को एक बीमारी जैसे बताने पर कहा कि उनके विचार तभी काम करेंगे, जब हमारे पास एक समाज होगा. जहां महिलाओं को समान माना जाता है.


Conclusion:बता दें कि गत 3 जून को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मेट्रो और डीटीसी की बसों में महिलाओं की मुक्त सवारी योजना का ऐलान किया था. उन्होंने संबंधित विभागों से इस बाबत विस्तृत रिपोर्ट मांगी थी. जिसके बाद दिल्ली मेट्रो ने अपनी रिपोर्ट तो दे दी. लेकिन कहा कि इसे लागू करने में कम से कम 8 महीने का समय लगेगा. साथ ही प्रति वर्ष इस मद में दिल्ली सरकार को 1566 करोड़ रुपये मेट्रो को अदा करने होंगे.

मेट्रो द्वारा भेजे गए प्रस्ताव के बाद मेट्रो मैन ई श्रीधरन ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर दिल्ली सरकार की योजना पर सवाल उठाए और कहा कि दिल्ली मेट्रो में इस तरह की सुविधा किसी भी तरह से ठीक नहीं है. अगर ऐसा हुआ तो देश के अन्य शहरों में जहां मेट्रो का परिचालन हो रहा है वहां भी मुफ्त सवारी की बात उठेगी. जो देश हित में सही नहीं होगा. मेट्रो मैन के इस पत्र के बाद अब योजना आयोग की पूर्व मुख्य सलाहकार रेणुका विश्वनाथन ने केजरीवाल सरकार की योजनाओं की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री को पत्र लिखा है.

समाप्त, आशुतोष झा
Last Updated : Jun 17, 2019, 11:37 PM IST
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