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PWD की लापरवाही आई सामने, दिलशाद गार्डन में बंद पड़ी नालियां - दिलशाद गार्डन में बंद पड़ूूी नालियां बनी परेशानी

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एक तरफ तो मच्छरों के प्रकोप को कम करने के लिए हर रविवार को सुबह दस बजे अभियान चला रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ दिलशाड कॉलोनी के लोग मच्छरों के बीच रहने को मजबूर हैं.

people of dilshad colony pocket- A facing problem of drainage overflow
दिलशाद गार्डन में बंद पड़ी नालियां,
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Published : Jan 31, 2021, 9:35 PM IST

नई दिल्ली: एक तरफ तो दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल हर रविवार को सुबह दस बजे घर के गमलों और कूलरों का पानी बदलने का अभियान चलाते हैं कि मच्छरों का प्रकोप कम हो, तो वहीं दूसरी तरफ उनके एक कद्दावर मंत्री के क्षेत्र में पीडब्ल्यूडी की लापरवाही से करीब 700 परिवारों की एक पॉश कॉलोनी गंदे पानी और मच्छरों के बीच रहने को मजबूर हैं.

दिलशाद गार्डन में बंद पड़ी नालियां.

नाले की निकासी है समस्या

नालियां इसीलिए बनाई जाती हैं कि मकानों का गंदा पानी सुव्यवस्थित तरीके से बाहर चला जाए, लेकिन दिलशाद गार्डन पॉकेट-ए में पीडब्ल्यूडी के इंजीनियरों ने ऐसा नाला बनाया है, जिससे अंदर का पानी बाहर जाने के बजाए बाहर का पानी अंदर आता है. जाहिर है ये पानी सालों भर नालियों में सड़ता रहता है, जिसमें मच्छर से लेकर जाने कितने तरह के कीटाणु पैदा होते हैं.

ये भी पढ़ें:-मुकंदपुर: सड़क नहीं बनने से लोगों को हो रही परेशानी, जनप्रतिनिधि नहीं दे रहे ध्यान

विधायक नहीं देते ध्यान

स्थानीय लोगों का कहना है कि कालोनी की ये नालियां बाहर पीडब्ल्यूडी के जिस नाले में गिरती है, वह ऊंचा है. अगर इसे गहरा कर दिया जाए तो पानी बाहर निकल जाएगा. इसके लिए वे कई बार स्थानीय विधायक और दिल्ली सरकार के मंत्री राजेन्द्र पाल गौतम से शिकायत कर चुके हैं, लेकिन हर बार विधायक मामले को टाल जाते हैं.

नई दिल्ली: एक तरफ तो दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल हर रविवार को सुबह दस बजे घर के गमलों और कूलरों का पानी बदलने का अभियान चलाते हैं कि मच्छरों का प्रकोप कम हो, तो वहीं दूसरी तरफ उनके एक कद्दावर मंत्री के क्षेत्र में पीडब्ल्यूडी की लापरवाही से करीब 700 परिवारों की एक पॉश कॉलोनी गंदे पानी और मच्छरों के बीच रहने को मजबूर हैं.

दिलशाद गार्डन में बंद पड़ी नालियां.

नाले की निकासी है समस्या

नालियां इसीलिए बनाई जाती हैं कि मकानों का गंदा पानी सुव्यवस्थित तरीके से बाहर चला जाए, लेकिन दिलशाद गार्डन पॉकेट-ए में पीडब्ल्यूडी के इंजीनियरों ने ऐसा नाला बनाया है, जिससे अंदर का पानी बाहर जाने के बजाए बाहर का पानी अंदर आता है. जाहिर है ये पानी सालों भर नालियों में सड़ता रहता है, जिसमें मच्छर से लेकर जाने कितने तरह के कीटाणु पैदा होते हैं.

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विधायक नहीं देते ध्यान

स्थानीय लोगों का कहना है कि कालोनी की ये नालियां बाहर पीडब्ल्यूडी के जिस नाले में गिरती है, वह ऊंचा है. अगर इसे गहरा कर दिया जाए तो पानी बाहर निकल जाएगा. इसके लिए वे कई बार स्थानीय विधायक और दिल्ली सरकार के मंत्री राजेन्द्र पाल गौतम से शिकायत कर चुके हैं, लेकिन हर बार विधायक मामले को टाल जाते हैं.

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