नई दिल्ली: दिल्ली में कोरोना पर अब लगाम लगती हुई दिख रही है. इसी कड़ी में दिल्ली सरकार अब इसका हिसाब करने के मूड में आ गई है.
सरकार ने इस हिसाब किताब में पाया कि जुलाई के महीने में जब दिल्ली में कोरोना के नए मामलों में तेजी से कमी आ रही थी. तब केंद्र सरकार के आरएमएल अस्पताल समेत फोर्टिस एस्कॉर्ट्स हार्ट इंस्टीट्यूट, मैक्स साकेत, और सेंट स्टीफन अस्पताल जैसे 10 निजी क्षेत्र के अस्पतालों में कोरोना मरीजों की पहले से ज्यादा मौतें हो रही थीं.
सरकार का कहना है कि इन अस्पतालों में 1 से 23 जुलाई के दौरान सबसे ज्यादा मौतों हुई हैं. सरकार का मानना है कि इन अस्पतालों में मरीजों को समय पर आईसीयू में भर्ती नहीं किया गया.
मुख्यमंत्री ने ट्वीट कर जानकारी दी कि दिल्ली सरकार ने कोरोना अस्पतालों की जांच को लेकर चार समितियों के गठन का आदेश दिया है. उन्होंने बताया कि कोविड अस्पतालों का निरीक्षण करने और अस्पतालवार मानक के अनुसार उनके संचालन प्रक्रियाओं और प्रोटोकॉलों का पालन करने का निर्देश जारी किया. यह समितियां राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना मरीजों का इलाज करने वाले अस्पतालों में कोविड-19 की मौतों के पीछे के कारणों की भी जांच करेंगी.