नई दिल्ली: छठ महापर्व, जिसे संगीतमय पर्व कहा जाए, तो अतिश्योक्ति नहीं होगी. इसके कुछ ऐसे गाने हैं, जो इन दिनों आपको हर गली-मोहल्ले में सुनाई दे रहे (Famous songs of Chhath Mahaparva) होंगे. इन गीतों में है आस्था की खुशबू और भारतीय संस्कृति की झलक. इनमें भारत की उस महान परंपरा और विश्वास का बखान है, जिसे नई पीढ़ी अब कम ही जानती है. हम बताएंगे कि ऐसे कौन-कौन से गीत हैं, जो इन दिनों ज्यादा ट्रेंड में हैं.
छठ की छटा अब भारत और मॉरीशस से निकलकर अमेरिका और ब्रिटेन तक पहुंच गयी है. इसका रंग तब और गाढ़ा हो जाता है जब अमेरिकी नागरिक और पं जसराज स्कूल आफ म्यूजिक (फ्लोरिडा) से संगीत सीखी क्रिस्टीन गेजो के गीत, बिहार झारखंड में वायरल हो जाते हैं. जब वह गाती है कि - केरवा के पात पर उगेलन सुरुज मल झांके झुके, रे करेलु छठ बरतिया की झांके झुके.. तो सहसा विश्वास ही नहीं होता कि एक अमेरिकी गायिका भी इस अंदाज में गा सकती है. इस गीत को भोजपुरी कोकिला शारदा सिन्हा सहित कई भारतीय गायिकाओं ने भी गाया है, मगर क्रिस्टीन गेजो की आवाज में यह कुछ और ही एहसास कराता है.
इस बारे में दिल्ली के जाने-माने गायकों बुरारी चंदन, दिलीप पाठक और प्रतिभा पाठक से बातचीत की गई तो उस सहजता की झलक मिली, जो छठ को महान पर्व बनाती है. भोजपुरी लोकगीतों का सबसे प्रसिद्ध गीत है गायिका शारदा सिन्हा का ही गाया हुआ- पहिले पहिल हम कइनी छठी मैया बरत तोहार. प्रसिद्ध भजन गायिका अनुराधा पौडवाल का गाया हुआ गीत- ऊ जे केरवा जे फरेला घवद से, ओह पर सुगा मेड़राय, मार सुगवा धनुष से, सुगा गिरे मुरझाए. साथ ही सोनू निगम के साथ पवन सिंह का गाया हुआ गाना - सभे व्रत करता ऐ धानी तुहु करा, मारा जानी मन आशो भौजी कोशी भरा, रुका देवारू दौरा सरिया ली की चला, भौजी हाली हाली सूरज दिखाई है लाली.
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यह कुछ ऐसे गाने हैं जो हर साल की तरह इस साल भी आपको हर गली मोहल्ले में सुनाई दे रहे होंगे. अरग से पहले यह गीत खूब सुनाई देता है- उग हे सुरज देव भयल भिनसारवा, अरघ के रे बेरवा-पूजन के रे बेरवा. इन गानों के बिना छठ का पर्व अधूरा है. चर्चित गायक मनोज तिवारी ने आप सभी पाठकों के लिए छठ की शुभकामना एक गीत के माध्यम से दी है, उसे सुनिये और धूमधाम से छठ मनाइये.