नई दिल्ली: बीते दिनों राजधानी दिल्ली में हुई जीएसटी काउंसिल की महत्वपूर्ण बैठक में अनब्रांडेड अनाज दालों खाद्यान्नों के ऊपर जीएसटी की 5% दर लगाए जाने को लेकर दिल्ली समेत पूरे उत्तर भारत के व्यापारियों द्वारा विरोध जताया जा रहा है. इस बीच सरकार द्वारा लिए गए फैसले को लेकर आज राजधानी दिल्ली में एशिया की सबसे बड़ी दालमंडी जो नया बाजार में स्थित है उसे व्यापारियों के द्वारा बंद कर व्यापारियों के द्वारा अपना विरोध जताया गया है.
देश की राजधानी दिल्ली में व्यापारी वर्ग और दिल्ली सरकार के साथ केंद्र सरकार के बीच में टकराव खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है. बीते महीने दिल्ली के अंदर जीएसटी काउंसिल की हुई महत्वपूर्ण बैठक के अंदर अनाजों दालों समेत सभी प्रकार अनब्रांडेड खाद्यान्नों पर जीएसटी की 5% की दर से टैक्स लागू करने का जो निर्णय लिया गया है. उसको लेकर पूरे देश भर में अब व्यापारियों द्वारा विरोध जताया जा रहा है. विशेष तौर पर इस पर निर्णय का विरोध उत्तर भारत में देखने को मिल रहा है.
शुक्रवार को एशिया की सबसे बड़ी दालमंडी जो राजधानी दिल्ली में नया बाजार के अंदर स्थित है जहां से पूरे उत्तर भारत को सप्लाई होती है. वहां के व्यापारियों ने राजधानी दिल्ली की अन्य मंडियों के व्यापारियों के साथ मिलकर केंद्र सरकार द्वारा अनब्रांडेड खाद्यानों पर जीएसटी लागू करने का विरोध किया है. विरोध जताते हुए व्यापारियों ने मंडी बंद करने का फैसला लिया है. आज नए बाजार में स्थित दालमंडी को पूरे तरीके से व्यापारियों के द्वारा जीएसटी के फैसले के विरोध में बंद रखा गया है.
सरल शब्दों में कहें तो गेहूं आटा दाल चावल आदि समेत सभी अनब्रांडेड खाद्यान्नों पर 5% जीएसटी लगाए जाने के विरोध में व्यापारियों ने मोर्चा खोल दिया है. व्यापारियों का कहना है कि जब आजादी के 75 साल तक अनब्रांडेड खाद्यान्नों के ऊपर जीएसटी नहीं लगाया गया न ही किसी प्रकार का कोई कर था. तो अब क्यों लगाया जा रहा है इससे ना सिर्फ महंगाई बढ़ेगी बल्कि आम आदमी पर बोझ भी बढ़ेगा.
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