नई दिल्ली : राजधानी दिल्ली के स्ट्रीट वेंडरों ने अपनी मांगों को लेकर सोमवार को सिविक सेंटर स्थित दिल्ली नगर निगम के मुख्यालय के बाहर प्रदर्शन किया. इस प्रदर्शन में हजारों की संख्या में स्ट्रीट वेंडर शामिल हुए और अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन किया. दिल्ली नगर निगम के कमिश्नर ने प्रदर्शनकारी स्ट्रीट वेंडरों के एक प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात की और उनकी समस्याओं को सुनकर उसके जल्द समाधान का आश्वासन दिया.
वेंडिंग सर्टिफिकेट जारी न करने व सर्टिफिकेट धारकों को हटाने, जबरन बेदखली, अनियमित बैठकें और टाउन वेंडिंग समितियों का अनादर और जी20 समिट के नाम पर दुकानों को जबरन तोड़ने सहित कई मुद्दों को लेकर स्ट्रीट वेंडरों ने प्रदर्शन किया. वहीं, प्रदर्शन कर रहे वेंडर्स ने कहा कि निगम जुर्माना लगा रहा है. नए वेंडिंग जोन नहीं बनाए जा रहे हैं और पुनर्वास के लिए बिना किसी नोटिस के विक्रेताओं को हटा रहे हैं. इतना ही नहीं पीएम योजना के लाभार्थियों को भी अतिक्रमण और सौंदर्यीकरण के नाम पर निगम की तरफ से बेदखल कर दिया गया है.
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अनिश्चितकालीन विरोध प्रदर्शन की घोषणा के बाद एमसीडी आयुक्त ज्ञानेश भारती ने स्ट्रीट वेंडर नेताओं के प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात की. उन्होंने स्ट्रीट वेंडरों को आश्वासन दिया कि एमसीडी की टीम जल्द से जल्द मांगों को पूरा करेगी. वहीं, उन्होंने कुछ प्रमुख मांगों को तुरंत पूरा करने का आश्वासन दिया है.
ये हैं प्रमुख मांगें
- एमसीडी ने पीतमपुरा साप्ताहिक बाजार को 100 दिनों तक बंद रखने के आदेश को रद्द किया जाए और बाजार तुरंत खुले.
- सभी सर्टिफिकेट प्राप्त स्ट्रीट वेंडर्स के साथ उत्पीड़न और बेदखली नहीं होगी.
- टाउन वेंडिंग कमेटी का चुनाव जल्द से जल्द कराया जाएगा.
- नियमित टीवीसी की बैठकें होंगी.
- छूटे हुए सभी रेहड़ी-पटरी वालों का जल्द सर्वे किया जाएगा.
- एमसीडी पीएम स्वनिधि ऋण का सुचारू वितरण सुनिश्चित करेगी.
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