नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने मंगलवार को श्रद्धा हत्याकांड में साकेत कोर्ट में 6629 पन्नों का आरोप पत्र दाखिल किया. इस दौरान आरोपी आफताब अमीन पूनावाला को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश किया गया. पुलिस ने इस मामले में अपना पक्ष रखने के लिए एक पैरवी टीम का गठन किया है. जिसको दिल्ली दंगा मामले में दिल्ली पुलिस की पैरवी कर रहे अधिवक्ता अमित प्रसाद लीड करेंगे.
ज्वाइंट सीपी मीनू चौधरी के अनुसार, आरोप पत्र तैयार करने के लिए सभी वैज्ञानिक विधियों का इस्तेमाल किया गया है. आरोपी की गिरफ्तारी के बाद से जांच के लिए टीम लगी हुई थी, जो देश के अलग-अलग हिस्सों गुरुग्राम, हिमाचल प्रदेश और महाराष्ट्र भेजी गई थी. सीसीटीवी कैमरों की फुटेज और वीडियो हासिल कर अपराध को लेकर फुटेज और वीडियो का सीक्वेंस बनाया गया. इसमें श्रद्धा और आफताब की गतिविधियों को देखा गया. आरोपी आफताब और श्रद्धा का मोबाइल, लैपटाप, दोनों के इंटरनेट मीडिया अकाउंट्स की जांच, कॉल रिकार्ड डिटेल, जीपीएस लोकेशन, क्रेडिट कार्ड व अन्य माध्यमों से हुए भुगतान का विवरण और उसके दोस्तों से पूछताछ आदि को लिया गया.
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इसके अलावा आफताब का नार्को टेस्ट, पालीग्राफी टेस्ट और डीएनए टेस्ट की रिपोर्ट आने के बाद आरोप पत्र तैयार किया गया और कानूनी विशेषज्ञों की समीक्षा के बाद अब इसे कोर्ट में दाखिल किया गया है. इस मामले में दर्ज की गई एफआइआर में पुलिस ने दो धाराएं, धारा 302(हत्या) और धारा 201(सुबूत मिटाना) लगाई हैं. आरोपी को अधिकतम मौत की सजा और न्यूनतम उम्रकैद हो सकती है. पुलिस अधिकारियों का कहना है अब तक की जांच में यह सामने आया है कि आफताब ने श्रद्धा की हत्या इसलिए की क्योंकि वारदात के वाले दिन वह अपने एक दोस्त से मिलकर आई थी. जब वह घर आई तो दोनों में विवाद हुआ इसके बाद आफताब ने श्रद्धा की गला दबाकर हत्या कर दी.
श्रद्धा की हत्या के बाद शव को ठिकाने लगाने के लिए अफताब ने उसके 35 टुकड़े किए. इसके लिए उसने कई तरह के धारदार हथियारों को इस्तेमाल किया था. कुछ हथियारों को बरामद कर लिया गया, जबकि कुछ हथियार नहीं मिल सके. बता दें कि दिल्ली के महरौली इलाके में 28 वर्षीय आफताब ने पिछले साल मई में श्रद्धा की हत्या की थी. श्रद्धा, आफताब की लिव-इन पार्टनर थी. श्रद्धा की हत्या के बाद आफताब ने शव के टुकड़ों को फ्रिज में रखा था और उन्हें कुछ दिनों में महरौली के आसपास के जंगलों में फेंक दिया था. श्रद्धा के पिता विकास की शिकायत पर दिल्ली पुलिस ने विगत 10 नवंबर को गुमशुदगी का केस दर्ज किया था. इसके बाद पुलिस ने इस मामले 12 नवंबर को आफताब को गिरफ्तार कर लिया था.