ETV Bharat / state

Rapid Rail से सड़क पर वाहनों का दबाव होगा कम, प्रदूषण से मिलेगी राहत व उद्योगों को रफ्तार

author img

By ETV Bharat Delhi Team

Published : Oct 19, 2023, 6:10 PM IST

दिल्ली से मेरठ के बीच रैपिड रेल के चलने से सड़कों पर वाहनों का दबाव कम होने के साथ ही इससे लोगों को प्रदूषण से भी राहत मिलेगी. साथ ही दिल्ली एनसीआर के उद्योगों को भी रफ्तार मिलेगी. Rapid train between Delhi and Meerut

Etv Bharat
Etv Bharat
Rapid Rail से सड़क पर वाहनों का दबाव होगा कम

नई दिल्ली: देश की पहली रैपिड रेल को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 20 अक्टूबर को हरी झंडी दिखाएंगे. पहले चरण में साहिबाबाद से दुहाई के बीच रैपिड ट्रेन चलेगी. दिल्ली से मेरठ के बीच रैपिड ट्रेन का संचालन किया जाना है. रैपिड ट्रेन के चलने से सड़कों पर वाहनों का दबाव कम हो जाएगा. इससे लोगों को प्रदूषण से भी राहत मिलेगी. इसके साथ ही दिल्ली एनसीआर के उद्योगों को भी रफ्तार मिलेगी.

नेशनल कैपिटल रीजन ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (एनसीआरटीसी) के सर्वे के मुताबिक दिल्ली से मेरठ के बीच रैपिड ट्रेन का संचालन होने पर करीब 46 प्रतिशत लोग इसमें सफर करेंगे. एनसीआरटीसी के सर्वे के मुताबिक दिल्ली और मेरठ के बीच 36 प्रतिशत लोग कार, 27 प्रतिशत लोग दोपहिया 32 प्रतिशत रेल व पांच प्रतिशत लोग बस से सफर करते हैं. रैपिड ट्रेन का संचालन शुरू होने के बाद 46 प्रतिशत लोगों के रैपिड ट्रेन में शिफ्ट होने के बाद सड़कों पर वाहनों का दबाव काम हो जाएगा. इससे न सिर्फ सड़के खाली हो जाएंगी बल्कि प्रदूषण और जाम की समस्या से भी लोगों को बड़ी राहत मिलेगी. रैपिड ट्रेन दिल्ली से मेरठ के बीच का सफर महज 55 मिनट में पूरा करेगी. इससे लोग जल्द गंतव्य तक पहुंच सकेंगे.

कर्मचारियों व लोगों का सफर होगा आसान
गाजियाबाद का साहिबाबाद औद्योगिक क्षेत्र साइट 4 सबसे पुराना औद्योगिक क्षेत्र है. साहिबाबाद इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट अजीत तोमर के मुताबिक औद्योगिक क्षेत्र साइट 4 में 22 सौ औद्योगिक इकाइयां है. इनमें दो लाख से अधिक कामगार काम करते हैं. बड़ी संख्या में कामगार गाजियाबाद और मेरठ की ओर से आते हैं. सुबह शाम आने-जाने के दौरान भीषण जाम में फंसना पड़ता है. इससे वे समय से गंतव्य पर नहीं पहुंच पाते हैं. रैपिड ट्रेन के संचालन से हजारों कामगारों को राहत मिलेगी. गाजियाबाद की सबसे पुरानी औद्योगिक इकाई भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड में करीब तीन हजार कर्मचारी हैं, यहां के अधिकारियों के मुताबिक इनमें से करीब 60 फ़ीसदी कर्मचारी गाजियाबाद और मेरठ की तरफ से आते हैं जिन्हें रैपिड ट्रेन के चलने से राहत मिलेगी.

उद्योगों को मिलेगी रफ्तार
साहिबाबाद इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट अजीत तोमर का कहना है कि गाजियाबाद और मेरठ में औद्योगिक इकाइयां है. काम को लेकर दोनों जगह के उद्यमियों का आना-जाना लगा रहता है. रैपिड ट्रेन चलने से गाजियाबाद और मेरठ के बीच की दूरी महज कुछ मिनट की रह जाएगी. इससे उद्योगों को रफ्तार मिलेगी. रैपिड ट्रेन आने से साहिबाबाद औद्योगिक क्षेत्र के साथ अन्य इलाकों का भी विकास होगा.

ये भी पढ़ें: Rapid Rail: पहले चरण में 17 किमी रूट पर छह कोच के साथ चलेगी देश की पहली रैपिड रेल

Rapid Rail से सड़क पर वाहनों का दबाव होगा कम

नई दिल्ली: देश की पहली रैपिड रेल को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 20 अक्टूबर को हरी झंडी दिखाएंगे. पहले चरण में साहिबाबाद से दुहाई के बीच रैपिड ट्रेन चलेगी. दिल्ली से मेरठ के बीच रैपिड ट्रेन का संचालन किया जाना है. रैपिड ट्रेन के चलने से सड़कों पर वाहनों का दबाव कम हो जाएगा. इससे लोगों को प्रदूषण से भी राहत मिलेगी. इसके साथ ही दिल्ली एनसीआर के उद्योगों को भी रफ्तार मिलेगी.

नेशनल कैपिटल रीजन ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (एनसीआरटीसी) के सर्वे के मुताबिक दिल्ली से मेरठ के बीच रैपिड ट्रेन का संचालन होने पर करीब 46 प्रतिशत लोग इसमें सफर करेंगे. एनसीआरटीसी के सर्वे के मुताबिक दिल्ली और मेरठ के बीच 36 प्रतिशत लोग कार, 27 प्रतिशत लोग दोपहिया 32 प्रतिशत रेल व पांच प्रतिशत लोग बस से सफर करते हैं. रैपिड ट्रेन का संचालन शुरू होने के बाद 46 प्रतिशत लोगों के रैपिड ट्रेन में शिफ्ट होने के बाद सड़कों पर वाहनों का दबाव काम हो जाएगा. इससे न सिर्फ सड़के खाली हो जाएंगी बल्कि प्रदूषण और जाम की समस्या से भी लोगों को बड़ी राहत मिलेगी. रैपिड ट्रेन दिल्ली से मेरठ के बीच का सफर महज 55 मिनट में पूरा करेगी. इससे लोग जल्द गंतव्य तक पहुंच सकेंगे.

कर्मचारियों व लोगों का सफर होगा आसान
गाजियाबाद का साहिबाबाद औद्योगिक क्षेत्र साइट 4 सबसे पुराना औद्योगिक क्षेत्र है. साहिबाबाद इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट अजीत तोमर के मुताबिक औद्योगिक क्षेत्र साइट 4 में 22 सौ औद्योगिक इकाइयां है. इनमें दो लाख से अधिक कामगार काम करते हैं. बड़ी संख्या में कामगार गाजियाबाद और मेरठ की ओर से आते हैं. सुबह शाम आने-जाने के दौरान भीषण जाम में फंसना पड़ता है. इससे वे समय से गंतव्य पर नहीं पहुंच पाते हैं. रैपिड ट्रेन के संचालन से हजारों कामगारों को राहत मिलेगी. गाजियाबाद की सबसे पुरानी औद्योगिक इकाई भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड में करीब तीन हजार कर्मचारी हैं, यहां के अधिकारियों के मुताबिक इनमें से करीब 60 फ़ीसदी कर्मचारी गाजियाबाद और मेरठ की तरफ से आते हैं जिन्हें रैपिड ट्रेन के चलने से राहत मिलेगी.

उद्योगों को मिलेगी रफ्तार
साहिबाबाद इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट अजीत तोमर का कहना है कि गाजियाबाद और मेरठ में औद्योगिक इकाइयां है. काम को लेकर दोनों जगह के उद्यमियों का आना-जाना लगा रहता है. रैपिड ट्रेन चलने से गाजियाबाद और मेरठ के बीच की दूरी महज कुछ मिनट की रह जाएगी. इससे उद्योगों को रफ्तार मिलेगी. रैपिड ट्रेन आने से साहिबाबाद औद्योगिक क्षेत्र के साथ अन्य इलाकों का भी विकास होगा.

ये भी पढ़ें: Rapid Rail: पहले चरण में 17 किमी रूट पर छह कोच के साथ चलेगी देश की पहली रैपिड रेल

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.