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नर्सरी में दाखिला: दस्तावेज को लेकर दिल्ली के अभिभावक परेशान, निजी स्कूलों की मनमानी जारी

राजधानी दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों में नर्सरी, केजी और पहली कक्षा में दाखिला की प्रक्रिया जारी है. 300 से अधिक ऐसे स्कूल हैं जिन्होंने शिक्षा निदेशालय के निर्देशों की अवहेलना करते हुए दाखिला के लिए तय मानदंड स्कूल की वेबसाइट पर अपलोड ही नहीं किए हैं. निजी स्कूलों की मनमानी (arbitrariness of private schools) जारी है. बच्चों के अभिभावक परेशान परेशान हैं.

नर्सरी दाखिला: दस्तावेज को लेकर दिल्ली के अभिभावक परेशान
शिक्षा निदेशालय नर्सरी में दाखिला: दस्तावेज को लेकर दिल्ली के अभिभावक परेशान
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Published : Dec 8, 2022, 1:13 PM IST

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के 1700 से अधिक निजी स्कूलों में नर्सरी, केजी व प​हली कक्षा में दाखिले की प्रक्रिया चल रही है. अभिभावकों को किसी परेशानी का सामना न करना पड़े, इसे लेकर शिक्षा निदेशालय ने अपने स्तर पर तैयारियां की हैं. इसके बावजूद काफी संख्या में अभिभावक डॉक्यूमेंट्स को लेकर परेशान हैं. दरअसल, निजी स्कूलों में आवेदन करने के लिए कौन कौन से दस्तावेज की जरूरत है, इसकी जानकारी जुटाने के लिए अभिभावक निजी स्कूलों में पहुंच रहे हैं. जहां उनकी समस्या का समाधान नहीं किया जा रहा है.

रेंट एग्रीमेंट बनाकर कर सकते हैं आवेदन : दक्षिणी दिल्ली स्थित डॉन बोस्को स्कूल में गुरुवार की सुबह कुछ अभिभावक ऐसे पहुंचे थे, जो इलाके में किराये के मकान में रहते हैं. उनके पास दिल्ली का आधारकार्ड नहीं है. ऐसे में कौन से दस्तावेज दाखिला मानदंड को पूरा करेंगे. तारा अपार्टमेंट में रहने वाली नीतू ने बताया कि उनके पास दिल्ली का आधारकार्ड नहीं है. ऐसे में कौन से दस्तावेज चाहिए, जिसकी मदद से बच्चे का दाखिला के लिए आवेदन कर सकें. इस तरह के सवाल और दुविधा में अन्य अभिभावक भी हैं. जब इस बारे में शिक्षा निदेशालय के डिप्टी डायरेक्टर योगेश पाल से बात की गई तो उन्होंने बताया कि नर्सरी दाखिला की गाइडलाइंस दी गई है. उनके पास भी अभिभावक की आधार कार्ड को लेकर समस्या आई है. उन्होंने कहा कि जिनके पास आधार कार्ड नहीं है, वे बिजली बिल, फोन बिल, एड्रेस प्रूफ आवेदन के दौरान लगा सकते हैं. साथ ही किरायेदार रेंट एग्रीमेंट बनाकर आवेदन कर सकते हैं.

ये भी पढ़ें :- एमसीडी में जीत के बाद बोले केजरीवाल- सब मिलकर करेंगे दिल्ली का विकास

घर की दूरी तय करने में मुश्किल : निजी स्कूलों ने नर्सरी, केजी व पहली कक्षा को लेकर घर की दूरी को लेकर अलग-अलग अंक तय किए हैं. दाखिला प्रक्रिया में मानदंड में सबसे ​अधिक अंक नेबरहुड के लिए दिए गए हैं. ये अंक दाखिले में सबसे अधिक महत्वपूर्ण होते हैं. किसी स्कूल में तीन से पांच किलोमीटर तक की दूरी पर 80 से 85 अंक देने का नियम है. किसी स्कूल में एक किलोमीटर की दूरी पर 50 से 60 अंक दिए गए हैं. अभिभावक दूरी मापने पर असमंजस की स्थिति कि वह गूगल मैप द्वारा दिखाई जा रही दूरी को माने या स्कूल द्वारा बस रूट के मुताबिक दी गई दूरी को माने.

334 स्कूलों ने नहीं माने नियम : निजी स्कूलों को आवेदन प्रक्रिया शुरू करने से पहले 28 नवंबर तक अपनी और निदेशालय की वेबसाइट पर दाखिला मानदंड अपलोड करने थे. जिसमें 1727 स्कूलों में से अब भी 334 स्कूलों ने अंक मानदंड अपलोड नहीं किए हैं. अब देखना होगा कि शिक्षा विभाग इन स्कूलों पर क्या एक्शन लेता है.

ये भी पढ़ें :- छात्रों में बढ़ रहे तनाव को दूर करने के लिए दिल्ली के सभी सरकारी स्कूलों में शुरू होगा ट्रेनिंग प्रोग्राम

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के 1700 से अधिक निजी स्कूलों में नर्सरी, केजी व प​हली कक्षा में दाखिले की प्रक्रिया चल रही है. अभिभावकों को किसी परेशानी का सामना न करना पड़े, इसे लेकर शिक्षा निदेशालय ने अपने स्तर पर तैयारियां की हैं. इसके बावजूद काफी संख्या में अभिभावक डॉक्यूमेंट्स को लेकर परेशान हैं. दरअसल, निजी स्कूलों में आवेदन करने के लिए कौन कौन से दस्तावेज की जरूरत है, इसकी जानकारी जुटाने के लिए अभिभावक निजी स्कूलों में पहुंच रहे हैं. जहां उनकी समस्या का समाधान नहीं किया जा रहा है.

रेंट एग्रीमेंट बनाकर कर सकते हैं आवेदन : दक्षिणी दिल्ली स्थित डॉन बोस्को स्कूल में गुरुवार की सुबह कुछ अभिभावक ऐसे पहुंचे थे, जो इलाके में किराये के मकान में रहते हैं. उनके पास दिल्ली का आधारकार्ड नहीं है. ऐसे में कौन से दस्तावेज दाखिला मानदंड को पूरा करेंगे. तारा अपार्टमेंट में रहने वाली नीतू ने बताया कि उनके पास दिल्ली का आधारकार्ड नहीं है. ऐसे में कौन से दस्तावेज चाहिए, जिसकी मदद से बच्चे का दाखिला के लिए आवेदन कर सकें. इस तरह के सवाल और दुविधा में अन्य अभिभावक भी हैं. जब इस बारे में शिक्षा निदेशालय के डिप्टी डायरेक्टर योगेश पाल से बात की गई तो उन्होंने बताया कि नर्सरी दाखिला की गाइडलाइंस दी गई है. उनके पास भी अभिभावक की आधार कार्ड को लेकर समस्या आई है. उन्होंने कहा कि जिनके पास आधार कार्ड नहीं है, वे बिजली बिल, फोन बिल, एड्रेस प्रूफ आवेदन के दौरान लगा सकते हैं. साथ ही किरायेदार रेंट एग्रीमेंट बनाकर आवेदन कर सकते हैं.

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घर की दूरी तय करने में मुश्किल : निजी स्कूलों ने नर्सरी, केजी व पहली कक्षा को लेकर घर की दूरी को लेकर अलग-अलग अंक तय किए हैं. दाखिला प्रक्रिया में मानदंड में सबसे ​अधिक अंक नेबरहुड के लिए दिए गए हैं. ये अंक दाखिले में सबसे अधिक महत्वपूर्ण होते हैं. किसी स्कूल में तीन से पांच किलोमीटर तक की दूरी पर 80 से 85 अंक देने का नियम है. किसी स्कूल में एक किलोमीटर की दूरी पर 50 से 60 अंक दिए गए हैं. अभिभावक दूरी मापने पर असमंजस की स्थिति कि वह गूगल मैप द्वारा दिखाई जा रही दूरी को माने या स्कूल द्वारा बस रूट के मुताबिक दी गई दूरी को माने.

334 स्कूलों ने नहीं माने नियम : निजी स्कूलों को आवेदन प्रक्रिया शुरू करने से पहले 28 नवंबर तक अपनी और निदेशालय की वेबसाइट पर दाखिला मानदंड अपलोड करने थे. जिसमें 1727 स्कूलों में से अब भी 334 स्कूलों ने अंक मानदंड अपलोड नहीं किए हैं. अब देखना होगा कि शिक्षा विभाग इन स्कूलों पर क्या एक्शन लेता है.

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