नई दिल्ली: बीते दिनों दिल्ली प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष मनोज तिवारी ने कहा था कि इस बार के संसद सत्र में अनधिकृत कॉलोनियों के मुद्दे पर केंद्र सरकार बिल लाएगी और कानून बनाकर उन्हें अधिकृत करने का काम करेगी. लेकिन रविवार शाम एक सूची सामने आई जिसमें उन सभी 27 बिलों का जिक्र है, जो इस बार सत्र में सदन के पटल पर रखे जाने हैं. लेकिन इसमें अनाधिकृत कॉलोनियों को लेकर कोई भी बिल शामिल नहीं है.
टीएसएम सर्वे में लगते हैं पांच साल
इस पर टिप्पणी करते हुए सीएम केजरीवाल ने कहा कि यह बताता है कि अनधिकृत कॉलोनियों के मुद्दे पर बीजेपी की नियत साफ नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि हम 4 साल से इसके लिए प्रयास कर रहे हैं और ये तरह-तरह के ऑब्जेक्शन लगाते रहे हैं. सीएम ने कहा कि ये अब सैटेलाइट मैप ही इस्तेमाल कर रहे हैं, लेकिन चार साल पहले जब हमने यह दिया था, तब उन्होंने टीएसएम सर्वे की मांग की थी, जिसमें 5 साल लगते हैं.
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि अनधिकृत कॉलोनियों के लोगों को चिंता नहीं करनी चाहिए. जब तक उनके हाथों में रजिस्ट्री के पेपर नहीं आ जाते. हम चैन की सांस नहीं लेंगे. उन्होंने यह भी कहा कि हम इसे लेकर आंदोलन करेंगे, संसद में भी आवाज़ उठाएंगे, मोहल्ले-मोहल्ले तक जाएंगे. उन्होंने यहां तक कहा कि अरविंद केजरीवाल आपको आपके हाथ में ज़मीन की रजिस्ट्री दिलाएगा.