नई दिल्ली: दिल्ली सरकार और दिल्ली नगर निगम के बीच पत्र व्यवहार लगातार जारी है. बीते दिनों दिल्ली के तीनों महापौर को पत्र लिखने और उनसे जवाब मिलने के बाद दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने एक बार फिर दिल्ली के तीनों महापौर को पत्र लिखा है. इस पत्र में नगर निगम और सरकार के बीच हिसाब किताब का पूरा लेखा-जोखा दिया गया है, साथ ही कहा गया है कि दिल्ली सरकार के पास निगम को कोई पैसा बकाया नहीं है बल्कि निगम झूठ फैला रहे हैं.
मनीष सिसोदिया ने अपने पत्र में तीनों नगर निगम पर दिल्ली सरकार के बकाया लोन की बात करते हुए कहा कि मौजूदा समय में नगर निगमों पर छह हजार आठ करोड़ रुपये का लोन बकाया है. इसमें 1977 करोड़ ईस्ट एमसीडी पर. 3243 करोड़ नॉर्थ एमसीडी पर और 788 करोड़ साउथ एमसीडी पर बकाया होने की बात कही गई है. इसके लिए उन्होंने सीएजी रिपोर्ट का भी जिक्र किया है, जिसमें कहा गया है कि नगर निगम पर लोन बकाया हैं. सिसोदिया ने इसके अलावा दिल्ली जल बोर्ड के 2596 करोड़ तीनों नगर निगमों पर बाकी होने की बात कही है.
कर्मचारियों की सैलरी को लेकर ये कहा..
सिसोदिया ने लिखा है कि दिल्ली सरकार ने नगर निगमों को फिफ्थ फाइनेंस कमीशन के हिसाब से सैलरी के पैसे दे दिए हैं, लेकिन उसके बावजूद भ्रष्टाचार और मिस मैनेजमेंट के चलते एमसीडी अपने कर्मचारियों को पैसे नहीं दे पा रही है. सिसोदिया ने लिखा है कि मौजूदा समय में निगम को दीपावली से पहले अपने सभी शिक्षकों को साथ ही अन्य कर्मचारियों को तनख्वाह दे देनी चाहिए और झूठ फैलाना बंद कर देना चाहिए.