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स्थायी समिति से संबंधित प्रस्तावों को निगम सदन से पास करवाना गैरकानूनी कार्य: राजा इकबाल सिंह

दिल्ली नगर निगम में नेता विपक्ष राजा इकबाल सिंह ने कहा कि स्थायी समिति से संबंधित प्रस्तावों को निगम सदन से पास करवाना गैरकानूनी काम है. Raja Iqbal Singh, Delhi Municipal Corporation Act

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Oct 31, 2023, 10:50 PM IST

दिल्ली नगर निगम में नेता विपक्ष राजा इकबाल सिंह

नई दिल्ली: दिल्ली नगर निगम में नेता विपक्ष राजा इकबाल सिंह ने आम आदमी पार्टी पर दिल्ली नगर निगम अधिनियम और संवैधानिक प्रक्रिया का मखौल उड़ाने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी निगम अधिकारियों के साथ मिलकर स्थायी समिति से संबंधित प्रस्तावों को सीधे निगम सदन से पास करवा रही है, जो पूरी तरह गैरकानूनी है.

उन्होंने बताया कि निगम सदन की बैठक में इस बार एजेंडे में 51 विषय सम्मिलित थे. जिनमें से अधिकांश को पहले स्थायी समिति से पास करवाना चाहिए था उसके बाद उन्हें निगम सदन में विचार विमर्श के लिए लाया जा सकता था. मगर आम आदमी पार्टी स्थायी समिति की प्रक्रिया को दरकिनार करते हुए अब सभी प्रस्तावों को निगम अधिकारियों के साथ मिलकर सीधे सदन से पास करवाकर भ्रष्टाचार के नए आयाम खोलना चाहती है.

ये भी पढ़ें: दिल्ली नगर निगम के नेता प्रतिपक्ष ने लगाया आरोप, कहा- एमसीडी 311 ऐप पूरी तरह से विफल

श्री राजा इकबाल सिंह ने बताया कि दिल्ली नगर निगम अधिनियम की धारा 44 के अनुरूप तो स्थायी समिति की प्रक्रिया को या उसकी शक्तियों को किसी भी स्थिति में दरकिनार नहीं किया जा सकता. मगर आम आदमी पार्टी और निगम अधिकारी डीएमसी अधिनियम की धारा 69 का हवाला देते हुए सभी प्रस्तावों को निगम सदन में ला रहे हैं. उन्होंने बताया कि आम आदमी पार्टी अपनी भ्रष्टाचारी नीतियों को लागू करने के लिए डीएमसी अधिनियम की दोनों धाराओं 44 और 69 को तोड़-मरोड़कर अपनी नई परिभाषा बना रही है.

ये भी पढ़ें: आम आदमी पार्टी की अनुभवहीनता के कारण स्थगित हुई दिल्ली नगर निगम की बैठक: राजा इकबाल सिंह

उन्होंने बताया कि इस बार निगम सदन में लगभग 15 सौ करोड़ रुपये के विभिन्न प्रस्ताव लगाए गए थे. जिन्हें भारतीय जनता पार्टी के पार्षदों के विरोध के बावजूद आम आदमी पार्टी ने निगम सदन से पास कर दिया. उन्होंने बताया कि इस पूरी प्रक्रिया में निगम अधिकारियों की मंशा भी संदेह के घेरे में है. इससे आम आदमी पार्टी कि वह मंशा भी उजागर हो गई है. जिसके तहत वह भ्रष्टाचार को अंजाम देने के लिए स्थाई समिति का गठन नहीं कर रही है.

मंगलवार को पास हुए एजेंडे यह साफ जाहिर हो गया है आम आदमी पार्टी निगम अधिकारियों के साथ मिलकर भ्रष्टाचार के नए आयाम खोल रही है. जिस प्रकार आम आदमी पार्टी ने दिल्ली सरकार को भ्रष्टाचार का अड्डा बना दिया है, उसी प्रकार अब आम आदमी पार्टी निगम को भी भ्रष्टाचार का अड्डा बनाने में लगी हुई है। जिसके लिए यह संवैधानिक प्रक्रिया को भी तोड़ने मरोड़ने से बाज़ नहीं आ रहे हैं.

उन्होंने बताया कि इसी प्रकार आम आदमी पार्टी की मेयर ने हरदयाल म्यूनिसिपल लाइब्रेरी के सचिव पद के लिए चुनाव को भी गैर कानूनी तरीके से करवाया है. उन्होंने आम आदमी पार्टी की मेयर से जल्दी से जल्दी निगम वार्ड समितियों और स्थायी समिति की चुनाव प्रक्रिया को पूरा कराए जाने की मांग की है.

ये भी पढ़ें: दिल्ली की जनता को डेंगू से निपटने के लिए आप सरकार ने अपने हाल पर छोड़ा- राजा इकबाल सिंह

दिल्ली नगर निगम में नेता विपक्ष राजा इकबाल सिंह

नई दिल्ली: दिल्ली नगर निगम में नेता विपक्ष राजा इकबाल सिंह ने आम आदमी पार्टी पर दिल्ली नगर निगम अधिनियम और संवैधानिक प्रक्रिया का मखौल उड़ाने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी निगम अधिकारियों के साथ मिलकर स्थायी समिति से संबंधित प्रस्तावों को सीधे निगम सदन से पास करवा रही है, जो पूरी तरह गैरकानूनी है.

उन्होंने बताया कि निगम सदन की बैठक में इस बार एजेंडे में 51 विषय सम्मिलित थे. जिनमें से अधिकांश को पहले स्थायी समिति से पास करवाना चाहिए था उसके बाद उन्हें निगम सदन में विचार विमर्श के लिए लाया जा सकता था. मगर आम आदमी पार्टी स्थायी समिति की प्रक्रिया को दरकिनार करते हुए अब सभी प्रस्तावों को निगम अधिकारियों के साथ मिलकर सीधे सदन से पास करवाकर भ्रष्टाचार के नए आयाम खोलना चाहती है.

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श्री राजा इकबाल सिंह ने बताया कि दिल्ली नगर निगम अधिनियम की धारा 44 के अनुरूप तो स्थायी समिति की प्रक्रिया को या उसकी शक्तियों को किसी भी स्थिति में दरकिनार नहीं किया जा सकता. मगर आम आदमी पार्टी और निगम अधिकारी डीएमसी अधिनियम की धारा 69 का हवाला देते हुए सभी प्रस्तावों को निगम सदन में ला रहे हैं. उन्होंने बताया कि आम आदमी पार्टी अपनी भ्रष्टाचारी नीतियों को लागू करने के लिए डीएमसी अधिनियम की दोनों धाराओं 44 और 69 को तोड़-मरोड़कर अपनी नई परिभाषा बना रही है.

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उन्होंने बताया कि इस बार निगम सदन में लगभग 15 सौ करोड़ रुपये के विभिन्न प्रस्ताव लगाए गए थे. जिन्हें भारतीय जनता पार्टी के पार्षदों के विरोध के बावजूद आम आदमी पार्टी ने निगम सदन से पास कर दिया. उन्होंने बताया कि इस पूरी प्रक्रिया में निगम अधिकारियों की मंशा भी संदेह के घेरे में है. इससे आम आदमी पार्टी कि वह मंशा भी उजागर हो गई है. जिसके तहत वह भ्रष्टाचार को अंजाम देने के लिए स्थाई समिति का गठन नहीं कर रही है.

मंगलवार को पास हुए एजेंडे यह साफ जाहिर हो गया है आम आदमी पार्टी निगम अधिकारियों के साथ मिलकर भ्रष्टाचार के नए आयाम खोल रही है. जिस प्रकार आम आदमी पार्टी ने दिल्ली सरकार को भ्रष्टाचार का अड्डा बना दिया है, उसी प्रकार अब आम आदमी पार्टी निगम को भी भ्रष्टाचार का अड्डा बनाने में लगी हुई है। जिसके लिए यह संवैधानिक प्रक्रिया को भी तोड़ने मरोड़ने से बाज़ नहीं आ रहे हैं.

उन्होंने बताया कि इसी प्रकार आम आदमी पार्टी की मेयर ने हरदयाल म्यूनिसिपल लाइब्रेरी के सचिव पद के लिए चुनाव को भी गैर कानूनी तरीके से करवाया है. उन्होंने आम आदमी पार्टी की मेयर से जल्दी से जल्दी निगम वार्ड समितियों और स्थायी समिति की चुनाव प्रक्रिया को पूरा कराए जाने की मांग की है.

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