नई दिल्ली: दिल्ली सरकार के सतर्कता निदेशालय ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के निजी सचिव बिभव कुमार को कारण बताओ नोटिस भेजा है. नोटिस में कहा है कि उनकी नियुक्ति अवैध है और उनके खिलाफ एक लंबित आपराधिक मामला भी है. भेजे गए नोटिस में एक हफ्ते में उन पर चल रहे मामले पर जवाब मांगा है. साथ ही यह भी लिखा है कि क्यों नहीं नोटिस के एक महीने में उनकी सेवा रद्द की जाए, क्योंकि उनके ऊपर आपराधिक मामला चल रहा है.
मुख्यमंत्री के निजी सचिव बिभव कुमार द्वारा कथित तौर पर एक लोक सेवक को उसके कर्तव्य के निर्वहन में बाधा डालने और उसके साथ दुर्व्यवहार धमकी देने से संबंधित है. निदेशालय द्वारा भेजे गए नोटिस के अनुसार बिभव कुमार को सरकार द्वारा धारा 353 (लोक सेवक को रोकने के लिए हमला), 504 (शांति भंग करने से अपमान) और 506 (धमकी) के तहत उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज है. निदेशालय ने कहा है कि आपराधिक पृष्ठभूमि वाले बिभव कुमार की सेवा जारी रखना कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग द्वारा समय-समय पर जारी किए गए निर्देशों का उल्लंघन है.
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नोटिस में यह भी कहा गया है कि प्रवर्तन निदेशालय ने कथित शराब घोटाले के सिलसिले में फरवरी में बिभव कुमार को भी बुलाया था. उनकी प्रारंभिक नियुक्ति मौजूदा नियमों के अनुरूप नहीं है. क्योंकि उनकी नियुक्ति डीओपीटी द्वारा समय-समय पर जारी किए गए दिशानिर्देशों के अनुसार नियंत्रित की जानी है. जिसके बारे में दिल्ली सरकार के सामान्य एवं प्रशासन विभाग द्वारा सूचित नहीं किया गया था. केंद्रीय सिविल सेवा नियमों के प्रावधानों के अनुसार बिभव कुमार की सेवाएं समाप्त की जा सकती हैं. बिभव कुमार को इस बारे में एक सप्ताह के भीतर जवाब देने को कहा गया है. इस नोटिस के जारी होने की तारीख से एक महीने के भीतर उनकी सेवा क्यों नहीं समाप्त की जानी चाहिए, यह स्पष्टीकरण भी मांगा है.
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