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सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका पर ED को नोटिस, दिल्ली हाईकोर्ट ने दो हफ्ते में मांगा जवाब

दिल्ली सरकार में मंत्री सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका (satyendar jain bail plea) पर दिल्ली हाईकोर्ट (Delhi High Court) में सुनवाई हुई. कोर्ट ने सत्येंद्र जैन की याचिका पर ईडी को नोटिस जारी कर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है. न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा ने ईडी को 14 दिनों के अंदर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया.

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सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका
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Published : Dec 1, 2022, 1:17 PM IST

Updated : Dec 1, 2022, 1:46 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार में मंत्री सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका (satyendar jain bail plea) पर दिल्ली हाईकोर्ट में गुरुवार को सुनवाई हुई. इस दौरान हाईकोर्ट ने सत्येंद्र जैन की याचिका पर प्रवर्तन निदेशालय (ED) को नोटिस जारी कर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा ने ईडी को 14 दिनों के अंदर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. मामले को 20 दिसंबर तक के लिए स्थगित किया. मामले की अगली सुनवाई 20 दिसंबर को होगी. सत्येंद्र जैन ने ट्रायल कोर्ट के फैसले के खिलाफ दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है. इससे पहले ट्रायल कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका 16 नवंबर को खारिज कर दी थी.

न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा की पीठ जैन की जमानत याचिका पर सुनवाई कर रही थी. इस दौरान जैन की तरफ से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता हरिहरन ने कोर्ट से कहा कि ईडी द्वारा बताया गया धन पीएमएलए एक्ट के तहत नहीं आता है ऐसे में सत्येंद्र जैन पर पीएमएलए के तहत कार्यवाही नहीं की जा सकती. उन पर आयकर अधिनियम के तहत पहले से ही कार्यवाही चल रही है ऐसे में ईडी द्वारा बनाया गया केस गलत है. कोर्ट ने सुनवाई के बाद ईडी को अपना जवाब दाखिल करने के लिए 14 दिनों की मोहलत दी है और इस केस को 20 दिसंबर 2022 के लिए सूचीबद्ध कर दिया है.

इससे पहले राउज एवेन्यू कोर्ट ने 6 महीने लंबी चली कानूनी प्रक्रियाओं के बाद सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. जमानत याचिका पर बहस के दौरान सत्येंद्र जैन की तरफ से पेश वकील एन हरिहरन ने ईडी के द्वारा बनाए गए केस पर सवाल उठाए. उन्होंने कहा ईडी द्वारा बनाई गई कहानी उस फेयरी टेल जैसी है, जिसमें एक गरीब व्यक्ति राजकुमारी से विवाह करना चाहता है तो उसकी मदद के लिए शहर के सभी लोग केवल एक ही लाइन दोहराते हैं कि उनके पास जो कुछ भी है वह सब उसी गरीब का है. इसी तरह ईडी की कहानी में थी किसी का भी रकम किसी के भी शेयर सब सत्येंद्र जैन के बता दिए गए हैं.

ये भी पढ़ें : श्रद्धा हत्याकांड मामला: आफताब का दो घंटे तक चला नार्को टेस्ट, अभी डॉक्टरों की निगरानी में रहेगा आरोपी

वहीं अतिरिक्त सॉलीसीटर जनरल एस वी राजू ने ईडी का पक्ष रखते हूए कोर्ट से कहा था की 40-50 बार सत्येंद्र जैन ने हवाला ऑपरेटर को नगद मुहैया कराया है. पीएमएलए एक्ट की धारा 50 के तहत गलत जानकारी देना अपराध है. सत्येंद्र जैन लगातार गलत जानकारी दे रहे हैं. जो IPC 199 के तहत दंडनीय है. ऐसे में जैन को जमानत न दी जाए. इसके बाद ट्रायल कोर्ट ने जमानत याचिका खारिज कर दी थी.

ये भी पढ़ें : PFI के अबू बक्र की जमानत याचिका पर एनआईए को नोटिस

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार में मंत्री सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका (satyendar jain bail plea) पर दिल्ली हाईकोर्ट में गुरुवार को सुनवाई हुई. इस दौरान हाईकोर्ट ने सत्येंद्र जैन की याचिका पर प्रवर्तन निदेशालय (ED) को नोटिस जारी कर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा ने ईडी को 14 दिनों के अंदर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया. मामले को 20 दिसंबर तक के लिए स्थगित किया. मामले की अगली सुनवाई 20 दिसंबर को होगी. सत्येंद्र जैन ने ट्रायल कोर्ट के फैसले के खिलाफ दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है. इससे पहले ट्रायल कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका 16 नवंबर को खारिज कर दी थी.

न्यायमूर्ति दिनेश कुमार शर्मा की पीठ जैन की जमानत याचिका पर सुनवाई कर रही थी. इस दौरान जैन की तरफ से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता हरिहरन ने कोर्ट से कहा कि ईडी द्वारा बताया गया धन पीएमएलए एक्ट के तहत नहीं आता है ऐसे में सत्येंद्र जैन पर पीएमएलए के तहत कार्यवाही नहीं की जा सकती. उन पर आयकर अधिनियम के तहत पहले से ही कार्यवाही चल रही है ऐसे में ईडी द्वारा बनाया गया केस गलत है. कोर्ट ने सुनवाई के बाद ईडी को अपना जवाब दाखिल करने के लिए 14 दिनों की मोहलत दी है और इस केस को 20 दिसंबर 2022 के लिए सूचीबद्ध कर दिया है.

इससे पहले राउज एवेन्यू कोर्ट ने 6 महीने लंबी चली कानूनी प्रक्रियाओं के बाद सत्येंद्र जैन की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. जमानत याचिका पर बहस के दौरान सत्येंद्र जैन की तरफ से पेश वकील एन हरिहरन ने ईडी के द्वारा बनाए गए केस पर सवाल उठाए. उन्होंने कहा ईडी द्वारा बनाई गई कहानी उस फेयरी टेल जैसी है, जिसमें एक गरीब व्यक्ति राजकुमारी से विवाह करना चाहता है तो उसकी मदद के लिए शहर के सभी लोग केवल एक ही लाइन दोहराते हैं कि उनके पास जो कुछ भी है वह सब उसी गरीब का है. इसी तरह ईडी की कहानी में थी किसी का भी रकम किसी के भी शेयर सब सत्येंद्र जैन के बता दिए गए हैं.

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वहीं अतिरिक्त सॉलीसीटर जनरल एस वी राजू ने ईडी का पक्ष रखते हूए कोर्ट से कहा था की 40-50 बार सत्येंद्र जैन ने हवाला ऑपरेटर को नगद मुहैया कराया है. पीएमएलए एक्ट की धारा 50 के तहत गलत जानकारी देना अपराध है. सत्येंद्र जैन लगातार गलत जानकारी दे रहे हैं. जो IPC 199 के तहत दंडनीय है. ऐसे में जैन को जमानत न दी जाए. इसके बाद ट्रायल कोर्ट ने जमानत याचिका खारिज कर दी थी.

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Last Updated : Dec 1, 2022, 1:46 PM IST
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