नई दिल्ली: नए साल का आगमन हो चुका है इसी बीच दिल्ली बाल संरक्षण एवं अधिकारी आयोग ने साल 2019 का अपना रिपोर्ट कार्ड जारी किया है. साल 2020 में किए जाने वाले कामों के बारे में बताया है. डीसीपीसीआर की मेंबर ज्योति दुहान राठी ने बताया कि हमने साल 2019 में बच्चों के प्रति होते अपराधों को लेकर ना केवल जागरूकता फैलाई है, बल्कि समाज के हर एक तबके को इसके बारे में सतर्क और जागरूक रहने की ट्रेनिंग दी है.
'मेरी आवाज' ऐप लॉन्च किया
ज्योति दुहान राठी ने बताया कि हमने 2 जुलाई 2019 को 'मेरी आवाज' ऐप लांच किया था जिसमें कि बच्चों के प्रति होते अपराध को लेकर सीधे डीसीपीसीआर में शिकायत की जा सकती है.
स्कूलों में बच्चों को दिलाएंगे दाखिला
इसके साथ ही उन्होंने बताया कि 100 रेप पीड़ित बच्चों की रिसर्च की गई और उनके साथ समाज में होते भेदभाव के चलते उन्हें कई परेशानियों का सामना करना पड़ता था. जिसको लेकर डीसीपीसीआर ने उन बच्चों की स्कूलों में दाखिला दिलाने में मदद की. इसके साथ ही साल 2020 में भी ऐसे ही 100 बच्चों को डीसीपीसीआर स्कूलों में दाखिला दिलाएगा.
11 जिलों में चलाए जा रहे 'स्माइल क्लब'
दिल्ली के 11 जिलों में ऐसे 'स्माइल क्लब' चलाए जा रहे हैं. जहां पर यौन शोषण या रेप पीड़ित बच्चों को सामान्य जीवन में वापस लाने की कोशिश की जा रही है और उन्हें जागरूक किया जा रहा है.
44 हजार बच्चों को किया गया जागरूक
नॉर्थ एमसीडी के 700 स्कूल के चौथी और पांचवी क्लास के करीब 44,000 बच्चों को गुड टच और बैड टच के बारे में जानकारी दी गई. इसके साथ ही बाहरी, सेंट्रल, उत्तरी और पूर्वी दिल्ली में पुलिस कर्मियों को ट्रेनिंग दी गई.
'गांधी के विचारों को लेकर फैलाई जागरूकता'
डीसीपीसीआर अधिकारी ज्योति दुहान राठी का कहना था कि साल 2019 में बाल स्वराज कार्यक्रम भी चलाया गया. जिसके अंतर्गत गांधी के विचारों के बारे में स्कूलों में और कॉलेजों में प्रचार किया गया. साथ ही कई प्रतियोगिताएं और डिबेट कंपटीशन भी रखे गए.
बाल अपराधों को लेकर फैला रहे जागरूकता
आंगनबाड़ियों में करीब 300 वर्करों को जागरूक किया गया है. जिससे कि बच्चों में सफाई और पीरियड् से जुड़ी स्वच्छता के बारे में जागरूकता फैला सके. साथ ही करीब 300 ऐसे मास्टर ट्रेनर पूरी दिल्ली में इस वक्त मौजूद हैं जो कि पॉक्सो और बच्चों के प्रति होने वाले अन्य अपराधों को लेकर जागरूकता फैला रहे हैं.
ज्योति दुहान राठी का कहना था क्योंकि बच्चों के प्रति अपराध को लेकर जागरूकता होना बेहद जरूरी है. इसके लिए साल 2019 में कई कदम उठाए गए. इसी के साथ साल 2020 में भी हम कई ऐसी योजना लेकर आएंगे. जिससे कि समाज में बच्चों के प्रति अपराधों में कमी आए.