नई दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने एक बार फिर पीएम मोदी की पढ़ाई पर सवाल उठाते हुए तंज कसा है. उन्होंने कहा कि देश जानना चाहता है कि 21वीं सदी का पीएम पढ़ा लिखा होना चाहिए या नहीं. उन्होंने कहा कि गुजरात हाईकोर्ट का ऑर्डर आया की पीएम की क्वालिफिकेशन के संबंध में जानकारी नहीं ले सकते. इस ऑर्डर के बाद पूरा देश स्तब्ध है. क्योंकि हम लोग तो जनतंत्र में रहते हैं और जनतंत्र में तो सवाल पूछने और जानकारी मांगने की आजादी होनी चाहिए. किसी का भी कम पढ़ा लिखा होना गुनाह नहीं है, किसी का भी अनपढ़ होना गुनाह नहीं है. कोई पाप नहीं है. हमारे देश में इतनी गरीबी है कि अपने हालातों की वजह से बहुत सारे लोग पढ़ नहीं पाते हैं.
केजरीवाल ने कहा की मैने पीएम की पढ़ाई कि यह जानकारी क्यों मांगी. हमारे देश को आजाद हुए 75 साल हो गए. जितना देश को तरक्की करना था उतनी तरक्की नहीं कर पाया है. आज लोगों में बहुत बैचेनी है लोग बहुत तेजी से तरक्की चाहते हैं. 21 सदी का युवा तरक्की चाहता है. वह चाहता है कि रोजगार मिले, महंगाई से छुटकारा चाहता है. ऐसे में देश के पीएम का पढ़ा लिखा होना बेहद जरूरी है. हम देखते हैं कि पीएम के कुछ बयान ऐसे आते हैं जो देश काफी विचलित कर देते हैं. नाली से जो गैस निकलती है उसे एनर्जी के रूप में इस्तेमाल कर चाय बना सकते हैं. पढ़ा लिखा पीएम ऐसी बात नहीं करते हैं. पीएम को विज्ञान की जानकारी नहीं है.
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उन्होंने कहा कि कनाडा में मैथ्स का एक छोटा सा फॉर्मूला नहीं बता पाए. बच्चों को ग्लोबल वार्मिंग के बारे में बता रहे थे, और कहा कि यह कुछ नहीं है. बच्चे इनपर हंस रहे थे. ऐसे में देश का पीएम पढ़ा लिखा होना चाहिए या नहीं.एक वीडियो देखा जिसमें वह कह रहे थे कि वह प्राइमरी तक पढ़ाई की. पढ़ा लिखा क्यों जरूरी है. क्योंकि पीएम को देश के लिए कई फाइल पर साइन करने होते हैं. पढ़े लिखे होते तो ठीक से जीएसटी लागू होता, नोटबंदी से देश 10 साल पीछे चला गया. कोई भी उन्हें बेवकूफ बनाकर साइन ले सकता हैं. 60 हजार स्कूल बंद कर दिए गए.
केजरीवाल ने कहा कि गुजरात हाईकोर्ट ने पीएम की पढ़ाई को लेकर संशय बना दिया है. अमित शाह ने भी कई साल पहले डिग्री दिखाई थी. गुजरात विश्व विद्यालय डिग्री क्यों नहीं देते. पहला प्रश्न कि उनकी डिग्री फर्जी हो, दूसरा कि वह पीएम हैं तो वह क्यों डिग्री दिखाए. जबकि, गुजरात विश्वविद्यालय को सेलिब्रेट करना चाहिए कि उनका छात्र पीएम बन गया. 21वीं सदी में मेरा सवाल है कि देश के सबसे बड़े मैनेजर पढ़े लिखे होने चाहिए या नहीं. सारे देश के सामने महत्वपूर्ण प्रश्न है.
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