नई दिल्ली: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने शनिवार को एक नोटिस जारी किया है. सीबीएसई ने अपने नोटिस में कहा है कि सीबीएसई से संबद्ध सरकारी और गैर सरकारी स्कूलों में शिक्षकों के लिए सीबीएसई ने सतत व्यावसायिक विकास (सीपीडी) के लिए एक विशेष स्पेशल ड्राइव शुरू किया है. यह स्पेशल ड्राइव राष्ट्रीय शिक्षा नीति (2020) के तहत किया जाएगा.
नोटिस में कहा गया है कि नई शिक्षा नीति के तहत यह कहा गया है कि सीबीएसई से संबद्ध स्कूलों में सतत व्यावसायिक विकास (सीपीडी) में शिक्षकों की भागीदारी सुनिश्चित होनी चाहिए. सीबीएसई ने कहा कि स्कूलों में पढ़ाने वाले शिक्षकों से अपेक्षा की जाती है कि वह सीबीएसई द्वारा आयोजित होने वाले प्रशिक्षण कार्यक्रमों में कम से से कम 25 घंटे की अपनी भागीदारी सुनिश्चित करें. बोर्ड ने शिक्षकों के सेवाकालीन प्रशिक्षण पर ध्यान देने के साथ देश भर में 16 उत्कृष्टता केंद्र स्थापित किए हैं. शिक्षक प्रशिक्षण दो श्रेणियों के तहत आयोजित किया जाता है- सामान्य और विषय विशिष्ट.
बोर्ड ने कहा, "कक्षा 10 और 12 के विषयों के साथ 23 प्रशिक्षण पाठ्यक्रम हैं, जिसमें किशोर शिक्षा कार्यक्रम, कला एकीकरण, समावेशी शिक्षा, खुशहाल कक्षाओं, साइबर सुरक्षा और सुरक्षा से लेकर 22 सामान्य पाठ्यक्रम हैं. सीबीएसई ने अपने नोटिस में आगे कहा है कि अपने शिक्षकों को बेहतर ट्रेनिंग देने के क्रम में बोर्ड ने एक उच्चाधिकार प्राप्त समिति की स्थापना की है. यह ट्रेनिंग प्रोग्राम के दौरान सलाह देंगे. यह इसलिए किया गया है कि बीते कुछ समय में देखने में मिल रहा है कि सीबीएसई से संबद्ध सरकारी और गैर सरकारी स्कूलों की संख्या में काफी इजाफा हुआ है.
सीबीएसई ने कहा है कि केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख में 124 माध्यमिक और वरिष्ठ माध्यमिक सरकारी स्कूल, वहीं आंध्र प्रदेश में 1,000 सरकारी स्कूल सीबीएसई से संबद्ध किए गए हैं. समिति की संस्तुति के अनुसार बोर्ड ने ऐसे सभी शिक्षकों को अप्रैल 2023 की शुरुआत से प्रशिक्षण कार्यक्रम उपलब्ध कराने पर सहमति व्यक्त की है.
वार्षिक प्रशिक्षण कैलेंडर तैयार होगाः सीबीएसई ने कहा कि केंद्र शासित राज्य और अन्य राज्य शिक्षकों को ट्रेनिंग देने के लिए वार्षिक प्रशिक्षण कैलेंडर तैयार करेंगे. यह सुनिश्चित किया जाएगा कि प्रत्येक सरकारी शिक्षक को बोर्ड, राज्य सरकार या सरकार/क्षेत्रीय शिक्षक प्रशिक्षण संस्थानों द्वारा आयोजित न्यूनतम 25 घंटे का प्रशिक्षण प्राप्त हो और शेष 25 घंटे के सीपीडी की व्यवस्था स्कूल द्वारा ही की जाएगी.