नई दिल्ली: स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर मंडी हाउस स्थित कमानी सभागार में उर्वशी डांस म्यूज़िक आर्ट एंड कल्चरल सोसाइटी द्वारा 'स्वाधीनता : आजादी का उत्सव' डांस प्रस्तुत किया गया. इस प्रस्तुति में डांस के जरिये मनोभाव को सबसे अच्छे तरीके से व्यक्त किया गया. डांस के जरिये दर्शाया गया कि भारत एक बार फिर से विश्व गुरु बनने की राह पर है. इस कार्यक्रम की मुख्य अतिथि केंद्रीय मंत्री मीनाक्षी लेखी ने 'ईटीवी भारत' को बताया कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा जिस श्रेष्ठ भारत का निर्माण किया गया हैं, उसकी पूरी झलक इस कार्यक्रम में देखने को मिली. इसका अद्भुत प्रस्तुतिकरण महान कलाकारों द्वारा भारी संख्या में मौजूद दर्शकों के सामने दिखाई दिया.
कार्यक्रम की आयोजनकर्ता और उर्वशी डांस म्यूज़िक आर्ट एंड कल्चरल सोसाइटी की निर्देशक रेखा मेहरा ने बताया कि इस प्रस्तुति में उन सभी शहीदों को याद किया गया, जिनकी बदौलत आज सभी भारतवासी स्वतंत्र हवा में सांस ले पा रहे हैं. इसके अलावा कोरोना काल के उपरांत बढ़ते डिजिटल इंडिया के नए दौर को भी प्रस्तुत किया गया. उन्होंने बताया की आज के प्रोग्राम में 80 नृत्य कलाकारों ने अपनी कला को दर्शाया है. इसके पीछे 2 महीनों की अटूट मेहनत रही.
बता दें कि उत्सव की शुरुआत भारत माता की वंदना 'जननी जन्मभूमिश्च' गायन के साथ की गई. पियानो और तबला की जुगलबंदी से जोशीला माहौल बन गया. इसके बाद कथक नृतक आए, जिन्होंने सफेद गाउन में नृत्य और हाव भाव के जरिये अलौकिक छटा बिखेरी. इसके बाद डांस-ड्रामा के जरिये भारत के स्वाधीनता संग्राम को जोशीले अंदाज में दर्शाया गया. दर्शकों ने स्वाधीनता संग्राम के संघर्ष को दिल से महसूस किया. इसके बाद 'वन्दे मातरम्' थीम पर ओडिसी एवं भरतनाट्यम डांसर्स ने कंटेंपरेरी परफॉर्मेंस के साथ स्वतंत्रता दिवस उत्सव को मंच पर जीवंत कर दिया, जिसका दर्शकों ने भरपूर आनंद लिया.
इसके बाद कथक डांसर्स ने होली नृत्य से दर्शकों का भरपूर मनोरंजन किया. इस मंचन में कश्मीर एवं उत्तराखंड के लोक नृत्य ने उत्तर भारत की सांस्कृतिक विविधता को मंच पर रेखांकित किया. मणिपुर के लोक उत्सव ढोल चोलम में आर्टिस्ट ने स्टिक बैलेंस और ढोल मूवमेंट से दर्शकों को खूब आकर्षित किया. आधुनिक योग को प्रमोट करने के लिए योग आसन के साथ एक्रो-योगा का प्रदर्शन किया गया, जिसमें लोगों को योग की शक्ति समझ में आई.
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