नई दिल्ली: 2 अप्रैल को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने घोषणा की थी कि दिल्ली सरकार ऑटो, टैक्सी, आरटीवी, ग्रामीण सेवा और रिक्शा जैसे पब्लिक सेवा वाहन से जुड़े चालकों को भी पांच-पांच हजार रुपए लॉकडाउन के दौरान आर्थिक मदद के रूप में देगी. तब मुख्यमंत्री ने इसके लिए हफ्ता-दस दिन का समय मांगा था. अब इसकी प्रक्रिया शुरू हो चुकी है, कल से इसके लिए आवेदन किया जा सकेगा.
सिर्फ एक बार मिलेगी मदद
मुख्यमंत्री की घोषणा के मुताबिक पीएसवी (पब्लिक सेवा व्हीकल्स) चालकों को 5-5 हजार रुपए की एकमुश्त राशि उनके बैंक खाते में भेजी जाएगी. यह मदद सिर्फ एक बार दी जा रही है. इसका लाभ ऑटो रिक्शा, टैक्सी, ग्रामीण सेवा, फाटफाट सेवा, मैक्सी कैब, इको-फ्रेंडली सेवा, ई-रिक्शा और स्कूल कैब आदि पब्लिक सेवा वाहन से संबंधित चालकों को मिलेगा. हालांकि यह लाभ सिर्फ वे ही ले सकेंगे, जिन्हें 23 मार्च 2020 तक पब्लिक सेवा व्हीकल का बैज (बिल्ला) मिला होगा, या जिनके ड्राइविंग लाइसेंस की वैधता 01 फरवरी 2020 या उसके बाद समाप्त हो गई है.
सुबह 10 बजे से होगा आवेदन
दिल्ली सरकार की तरफ से यह फायदा उन्हीं चालकों को मिल पाएगा, जिनका बैंक खाता उनके आधार कार्ड से जुड़ा हो. इस आर्थिक मदद के लिए चालकों को ऑनलाइन आवेदन करना होगा. इसके लिए एक साॅफ्टवेयर बनाया गया है, जिसका लिंक दिल्ली परिवहन विभाग की वेबसाइट पर कल सुबह 10 बजे से दिखने लगेगा.
यहां दिख रहे फॉर्म के जरिए आवेदन किया जाएगा. इसके जरिए आवेदन में पीएसवी बैज संख्या, ड्राइविंग लाइसेंस नंबर, जन्म तिथि, मोबाइल नंबर, लिंग और बैंक खाते से जुड़े आधार नंबर की जानकारी देनी होगी.
हेल्पलाइन नंबर भी जारी
दिल्ली परिवहन विभाग की वेबसाइट (htts://transport.delhi.gov.in/) पर कल यानी 13 अप्रैल से आगामी 27 अप्रैल तक इसके लिए आवेदन किया जा सकेगा. सरकार ने इससे जुड़ी किसी भी तरह की पूछताछ के लिए हेल्प लाइन नंबर- 011-23930763 और 011-23970290 जारी किया है. इस हेल्पलाइन नंबर पर रविवार को छोड़ कर अन्य कार्य दिवस पर सुबह 9ः00 बजे से शाम 6ः00 तक पूछताछ की जा सकती है.
23 मार्च से बंद हैं गाड़ियां
गौरतलब है कि कोरोना वायरस के प्रकोप को खत्म करने के लिए हुए देश व्यापी लाॅकडाउन की वजह से दिल्ली में पब्लिक सेवा वाहनों को 23 मार्च 2020 से सड़क पर उतरने से पूरी तरह से प्रतिबंधित कर दिया गया है.
इसके कारण इस माध्यम से घर चलाने वाले हजारों लोगों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया हैं. ऐसे कई लोगों ने मुख्यमंत्री तक अपनी समस्या पहुंचाई थी, जिसके बाद केजरीवाल ने उनके लिए यह घोषणा की.