नई दिल्ली: कोरोना वायरस के कारण लगे लॉकडाउन में सभी कामकाज बंद किए गए हैं. सिर्फ जरूरी सेवाओं के लोगों को आवाजाही की अनुमति है. इन हालातों में जरूरतमंद लोगों की मदद के लिए दिल्ली पुलिस मुस्तैदी से काम कर रही है. लॉकडाउन के नियमों का पालन करवाने के साथ पुलिस लोगों को उनके घर तक जरूरी सामान, दवाइयां भी पहुंचा रही है. ताजा मामला ईस्ट डिस्ट्रिक्ट के प्रीत विहार इलाके से सामने आया है.
बीमार बुजुर्ग महिला को अस्पताल पहुंचाया
दरअसल बीती 22 अप्रैल को वहां रहने वाली 90 वर्षीय डॉ. इंदिरा खेमानी शर्मा ब्लड प्रेशर अधिक हो जाने के कारण अचेत होकर घर में जमीन पर गिर गईं थीं. वो अकेली रहती हैं. उन्होंने पुलिस को कॉल कर के मदद मांगी. जैसे ही डीसीपी ईस्ट जसमीत सिंह को इस कॉल का पता चला. उन्होंने तुरंत एसएचओ प्रीत विहार महेंद्र कुमार मिश्रा से कहा कि वो तुरंत बुजुर्ग महिला की मदद करें.
बुजुर्ग महिला के घर पहुंचे पुलिसकर्मी
इसके बाद पुलिसकर्मी मौके पर पहुंच कर महिला को पास के एक निजी अस्पताल में पहुंचाया. वहां से उन्हें जीटीबी अस्पताल रेफर किया गया. पुलिसकर्मी पूरी रात महिला के साथ ही रहे. अगले दिन अस्पताल से छुट्टी होने पर उन्हें उनके घर लेकर गए. महिला ने प्रीत विहार पुलिस का मदद करने के लिए धन्यवाद किया. महिला को अस्पताल ले जाने और देखभाल में एसएचओ के अलावा थाने में तैनात एएसआई सोहनवीर, हेड कांस्टेबल राजकुमार, महिला कांस्टेबल रतनी, मिथलेश और कांस्टेबल तुइराम ने अहम भूमिका निभा.
खाने का भी रखा ध्यान
अस्पताल से घर पहुंचा देने पर ही पुलिस की दरियादिली खत्म नहीं हुई. महिला को घर पहुंचाकर उनके लिए जरूरत का खाना और फल उपलब्ध कराए. इसके अलावा लगातार पुलिस इंदिरा के घर जाकर उनका हाल पूछ रही है.
अकेली रहती है हेल्थ सर्विस से रिटायर्ड डिप्टी डायरेक्टर
बताया गया है कि डॉक्टर इंदिरा साल 1991 में डिप्टी डायरेक्टर जनरल हेल्थ सर्विस (भारत सरकार) के पर्द से रिटायर्ड हैं. काफी समय पहले पति की मौत हो चुकी है. उनका कोई बच्चा भी नहीं है. विकासपुरी में रहने वाला भतीजा (उनके भाई का बेटा) राकेश खेमानी उनका हाल चाल लेते रहते हैं. हालांकि घटना वाले दिन वो अपनी मां को अकेला छोड़कर नहीं आ पाए थे. वो अगले दिन उनके पास पहुंचे. उन्होंने भी पुलिस का आभार व्यक्त किया है.
बुजुर्ग हमेशा से दिल्ली पुलिस के लिए पहली प्राथमिकता रहे हैं. लॉकडाउन होते ही डिस्ट्रिक्ट के सीनियर सिटीजन सेल में रजिस्टर्ड बुजुर्गों से संपर्क किया गया. सभी से उनका हाल चाल पूछने के अलावा उनसे बातचीत करके ये सुनिश्चित किया गया कि क्या वो चाहते हैं कि पुलिस समय-समय पर उनका हाल-चाल पूछे, बीट स्टॉफ उनसे मिलने आए और संपर्क में रहे. जिन भी लोगों ने संपर्क में रहने की बात कही थी. पुलिस उनके संपर्क में है. इसके अलावा कोई भी मदद के लिए कॉल करता है, तो तुरंत प्रभाव से उनकी मदद की जाती है.