नई दिल्ली/गाजियाबाद: गाजियाबाद और पंजाब के लुधियाना पुलिस ने मिलकर एक ऐसे गैंग को पकड़ा है, जो सबसे पहले एक सॉफ्टवेयर के माध्यम से गाड़ी के महंगे जीपीएस सिस्टम को फेल कर दिया करता था. इसके बाद गाड़ी को चोरी करके ले जाता था. गाड़ी का मालिक और पुलिस भी जीपीएस सिस्टम को ट्रैक नहीं कर पाते थे. इस गैंग के तार देश के अलग-अलग राज्यों में फैले हुए हैं.
दरअसल, पूरी घटना गाजियाबाद के विजयनगर इलाके की है, जहां पुलिस ने दो अंतरराज्यीय वाहन चोरों को गिरफ्तार किया है. वाहन चोरों की गिरफ्तारी समय-समय पर पुलिस करती रहती है, लेकिन यह दोनों वाहन चोर बेहद शातिर हैं. इनकी शातिरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि आजकल बड़ी-बड़ी कंपनियों के गाड़ियों में सॉफ्टवेयर जेनरेटेड सिक्योरिटी सिस्टम होते हैं. मगर यह उस सिस्टम को भी क्रैक कर दिया करते थे. यह मुख्य रुप से जीपीएस को एक सॉफ्टवेयर के माध्यम से फेल कर दिया करते थे. पुलिस अब उस सॉफ्टवेयर के बारे में अधिक जानकारी कर रही है और यह भी पता लगा रही है कि यह अवैध सॉफ्टवेयर किस जगह से हासिल किया था. पुलिस को शक है कि यह सॉफ्टवेयर खरीदने में आरोपियों ने डार्क वेब की मदद ली थी. हालांकि अब यह जांच का विषय है.
लुधियाना पुलिस ने गैंग के अन्य मेंबर पकड़े: एसीपी सुजीत राय के मुताबिक पुलिस ने 2 वाहन चोर पकड़े हैं. एसीपी सुजीत राय ने बताया कि विजय नगर पुलिस ने 2 वाहन चोरों की गिरफ्तारी की है. उनके पास से चोरी की गाड़ियां बरामद की गई हैं. पुलिस को सोमवार सुबह सूचना मिली थी कि विजयनगर में वाहन चोर मौजूद है. इसके बाद पुलिस ने जाल बिछाया और आरोपियों की गिरफ्तार कर लिया.
आरोपियों के पास से कुछ ऐसे इंस्ट्रूमेंट बरामद हुए हैं, जिनके माध्यम से यह किसी भी गाड़ी का सिक्योरिटी लॉक खोल लिया करते थे. इनके पास से कुछ सॉफ्टवेयर और लैपटॉप बरामद हुए हैं, जिसके माध्यम से आरोपी किसी भी गाड़ी का जीपीएस सिस्टम फेल कर दिया करते थे. इसी गैंग के अन्य आरोपियों को लुधियाना पुलिस में पकड़ा है. जिन से दर्जनभर गाड़ियां बरामद हुई है. आरोपियों के नाम गौरव और उमेश हैं. गौरव भिंड का रहने वाला है और गाजियाबाद में रह रहा था. उसका साथी उमेश गाजियाबाद का ही रहने वाला है.
पुलिस पूछताछ में खुलासा: पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने बताया है कि पिछले 4 सालों से आरोपी दिल्ली, यूपी, पंजाब, हरियाणा आदि राज्यों में वाहन चोरी की वारदातें अंजाम दे रहे थे. गाड़ियों की चोरी के बाद उन्हें बिहार भेज दिया करते थे. इसके अलावा हरियाणा में भी आरोपों में गाड़ियां बेची हैं. लुधियाना पुलिस ने हरियाणा से ही आरोपियों की गिरफ्तारी की है.
फेरी लगाता है आरोपी: आरोपियों में से एक आरोपी फेरी पर कपड़े बेचा करता है. इसी दौरान यह अलग-अलग इलाकों में जाता है और यह पता कर लेता है कि कहां पर महंगी गाड़ी खड़ी है. इसके बाद वाहन चोरी की वारदात को अंजाम दिया जाता है. पुलिस के मुताबिक, वाहन चोरी से पहले से ही आरोपी कपड़े की फेरी लगाया करता था. इस दौरान उसने अमीर बनने का सपना देखा और इंटरनेट के माध्यम से कुछ सॉफ्टवेयर की जानकारी करके वाहन चोरी की वारदातें अंजाम देने शुरू कर दी.
पुलिस के मुताबिक आरोपी गौरव पर 9 मुकदमे पंजीकृत है, जबकि उसके साथी उमेश पर फिलहाल गाजियाबाद में एक मुकदमा दर्ज है. बाकी मुकदमों की जांच पड़ताल की जा रही है. इस मामले में गाजियाबाद पुलिस का कहना है कि एक आरोपी फरार है. इस गैंग के तार देश के अलग-अलग राज्यों से जुड़े होने की वजह से पूरे गैंग को पकड़ना पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती है.
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