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खुशखबरी! फिर सजने लगा किताबों का बाजार, महिला हाट पर लगेंगी दुकानें

दरियागंज में लगने वाले हेरिटेज बुक बाजार को अब दिल्ली गेट स्थित महिला हाट पर शिफ्ट कर दिया गया है. बुक बाजार के लगने से किताब प्रेमियों में एक बार फिर से खुशी लौट आई है.

महिला हाट पर लगेंगी किताबों की दुकानें
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Published : Sep 16, 2019, 3:14 PM IST

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के दरियागंज में लगने वाले हेरिटेज बुक बाजार को अब दिल्ली गेट स्थित महिला हाट पर शिफ्ट कर दिया गया है. बुक बाजार के लगने से किताब प्रेमियों में एक बार फिर से खुशी लौट आई है.

महिला हाट पर लगेंगी किताबों की दुकानें

यहां राजस्थान के ऐसे एक शख्स भी पहुंचे, जिनका कहना है पिछले 2 महीने से बाजार बंद होने से वह अपनी लाइब्रेरी में किताबें नहीं लगा पा रहे थे. उनका मानना है कि बाजार खुलने से अब लाइब्रेरी की रौनक लौटेगी और जो कमियां किताबों की थीं वो पूरी होगी.

सस्ते दामों पर मिलती हैं महंगी किताबें
राजस्थान के रहने वाले विजय पाल ने बताया कि वह काफी सालों से अपनी एक लाइब्रेरी के लिए किताबें खरीदते हैं. उन्होंने बताया कि यहां पठनीय और महंगी किताबे सस्ते दामों में मिल जाती है. जिससे यहां से लेकर जाते हैं. उनका कहना है कि इन किताबो को लाइब्रेरी में लगाते हैं. जहां छात्र-छात्राएं किताबें पढ़ते हैं.

लेकिन पिछले दो महीनों से वो लगातार चक्कर लगा रहे थे बाजार बंद होने की वजह से लाइब्रेरी में किताबों की कमी हो रही थी. उन्होंने बताया कि महिला हाट पर अब यह बाजार लगने से काफी राहत है और वह इस बार कई सारी किताबें लाइब्रेरी के लिए लेकर जा रहे हैं.

महिला हाट ज्यादा सही स्थान
विजयपाल ने बताया कि हम काफी सालों से दरियागंज में किताबें खरीदते थे. लेकिन वहां पर काफी भीड़ रहती थी, वहां संकरा एरिया होने की वजह से जेब कतरे भी काफी सक्रिय थे.

जिसकी वजह से कई बार जेब भी कटी है. उन्होंने बताया कि अब महिला हाट पर बाजार लगने से यहां का माहौल भी अच्छा है और साफ सफाई भी. ऐसे में महिला हाट पर परमानेंट सॉल्यूशन मिलना बेहद जरूरी था. फिलहाल उनका कहना है कि यह बाजार अब लगातार लगना चाहिए, जिससे कि किताबों की जरूरत पड़ने पर लोग यहां पर आ सके.

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के दरियागंज में लगने वाले हेरिटेज बुक बाजार को अब दिल्ली गेट स्थित महिला हाट पर शिफ्ट कर दिया गया है. बुक बाजार के लगने से किताब प्रेमियों में एक बार फिर से खुशी लौट आई है.

महिला हाट पर लगेंगी किताबों की दुकानें

यहां राजस्थान के ऐसे एक शख्स भी पहुंचे, जिनका कहना है पिछले 2 महीने से बाजार बंद होने से वह अपनी लाइब्रेरी में किताबें नहीं लगा पा रहे थे. उनका मानना है कि बाजार खुलने से अब लाइब्रेरी की रौनक लौटेगी और जो कमियां किताबों की थीं वो पूरी होगी.

सस्ते दामों पर मिलती हैं महंगी किताबें
राजस्थान के रहने वाले विजय पाल ने बताया कि वह काफी सालों से अपनी एक लाइब्रेरी के लिए किताबें खरीदते हैं. उन्होंने बताया कि यहां पठनीय और महंगी किताबे सस्ते दामों में मिल जाती है. जिससे यहां से लेकर जाते हैं. उनका कहना है कि इन किताबो को लाइब्रेरी में लगाते हैं. जहां छात्र-छात्राएं किताबें पढ़ते हैं.

लेकिन पिछले दो महीनों से वो लगातार चक्कर लगा रहे थे बाजार बंद होने की वजह से लाइब्रेरी में किताबों की कमी हो रही थी. उन्होंने बताया कि महिला हाट पर अब यह बाजार लगने से काफी राहत है और वह इस बार कई सारी किताबें लाइब्रेरी के लिए लेकर जा रहे हैं.

महिला हाट ज्यादा सही स्थान
विजयपाल ने बताया कि हम काफी सालों से दरियागंज में किताबें खरीदते थे. लेकिन वहां पर काफी भीड़ रहती थी, वहां संकरा एरिया होने की वजह से जेब कतरे भी काफी सक्रिय थे.

जिसकी वजह से कई बार जेब भी कटी है. उन्होंने बताया कि अब महिला हाट पर बाजार लगने से यहां का माहौल भी अच्छा है और साफ सफाई भी. ऐसे में महिला हाट पर परमानेंट सॉल्यूशन मिलना बेहद जरूरी था. फिलहाल उनका कहना है कि यह बाजार अब लगातार लगना चाहिए, जिससे कि किताबों की जरूरत पड़ने पर लोग यहां पर आ सके.

Intro:बुक बाजार लगने से राजस्थान की लाइब्रेरी में भी होगी कमी पूरी

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के दरियागंज में लगने वाले हेरिटेज बुक बाजार को अब दिल्ली गेट स्थित महिला हाट पर शिफ्ट कर दिया गया है. तो वही बुक बाजार के लगने से लोगों में जहां एक ओर खुशी लौटी है तो वहीं दूसरी ओर राजस्थान के ऐसे एक शख्स भी यहां पर पहुंचे.जिनका कहना है पिछले दो माह से बाजार बंद होने से वह अपनी लाइब्रेरी में किताबें नहीं लगा पा रहे थे.उनका मानना है कि बाजार खुलने से अब लाइब्रेरी की रौनक लौटेगी और जो कमियां किताबों की थीं वह पूरी होगी.


Body:राजस्थान के रहने वाले विजय पाल ने बताया कि वह काफी सालों से अपनी एक लाइब्रेरी के लिए किताबें खरीदते हैं.उन्होंने बताया कि यहां पठनीय और महंगी किताबे सस्ते दामों में मिल जाती है.जिससे यहां से लेकर जाते हैं. उनका कहना है कि इन किताबो को लाइब्रेरी में लगाते हैं. जहां छात्र- छात्राएं किताबें पढ़ते हैं. लेकिन पिछले दो माह से वह लगातार चक्कर लगा रहे थे बाजार बंद होने की वजह से लाइब्रेरी में किताबों की कमी हो रही थी.उन्होंने बताया कि महिला हाट पर अब यह बाजार लगने से काफी राहत है और वह इस बार कई सारी किताबें लाइब्रेरी के लिए लेकर जा रहे हैं.

महिला हाट ज्यादा सही स्थान
विजयपाल ने बताया कि हम काफी सालों से दरियागंज में किताबें खरीदते थे. लेकिन वहां पर काफी भीड़ रहती थी, वहां संकरा एरिया होने की वजह से जेब कतरे भी काफी सक्रिय थे.जिसकी वजह से कई बार जेब भी कटी है.उन्होंने बताया कि अब महिला हाट पर बाजार लगने से यहां का माहौल भी अच्छा है और साफ सफाई भी.ऐसे में महिला हाट पर परमानेंट सॉल्यूशन मिलना बेहद जरूरी था.


Conclusion:फिलहाल उनका कहना है कि यह बाजार अब लगातार लगना चाहिए, जिससे कि किताबों की जरूरत पड़ने पर लोग यहां पर आ सके.
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