नई दिल्ली: भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा अयोध्या में भव्य राम मंदिर का शिलान्यास किया गया. कोरोना कॉल में हो रहा ये कार्य विवादों में घिर गया है. दिल्ली के एक अधिवक्ता मसरूर सिद्दीक़ी ने शिलान्यास को सरकार की मनमानी करार दिया है.
ईटीवी भारत से बात करते हुए उन्होंने कहा कि सरकार ने सभी नियम कायदे ताक में रख दिए हैं. अपनी मनमर्जी चला रही है. अयोध्या का ये शिलान्यास भी इसका एक उदाहरण है.
'ये कोई अच्छा मौका नहीं था'
मसरूर सिद्दीकी ने कहा कि ये कोई अच्छा मौका नहीं था. अभी कोरोना का दौर चल रहा है. WHO भी कह चुका है कि कोरोना के आंकड़े अभी और बढ़ेंगे. साथ ही कहा कि उन्हें लगता है कि अगस्त को सरकार ने कश्मीर से धारा 370 हटाई थी. इसलिए वो इस दिन को ऐतिहासिक बनाना चाहती है. मसरूर सिद्दीकी ने कहा कि दिग्विजय सिंह पहले ही कह चुके हैं कि शिलान्यास करने का ये शुभ मुहूर्त नहीं है. लेकिन सरकार के आगे किसी की नहीं चलती. उन्होंने कहा कि हमारे देश में लोकतंत्र है. जिसका सभी को पालन करना चाहिए.