नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की सिफारिश के अनुसार, न्यायमूर्ति गौरांग कंठ को दिल्ली हाईकोर्ट से कलकत्ता हाईकोर्ट में स्थानांतरित करने की अधिसूचना जारी कर दी है. 12 जुलाई को सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने जस्टिस कंठ के मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय या राजस्थान उच्च न्यायालय या किसी अन्य पड़ोसी राज्य में स्थानांतरित करने के अनुरोध को खारिज करते हुए उनके स्थानांतरण का प्रस्ताव रखा था.
ट्रांसफर के विरोध में हड़ताल का आह्वान: गुरुवार को दिल्ली हाई कोर्ट बार एसोसिएशन (डीएचसीबीए) ने सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की इस सिफारिश पर गंभीर चिंता व्यक्त की थी. डीएचसीबीए ने सर्वसम्मति से न्यायमूर्ति कंठ के ट्रांसफर के विरोध स्वरूप अपने सदस्यों से सोमवार यानी 17 जुलाई को काम से अनुपस्थित रहने का अनुरोध किया है. डीएचसीबीए द्वारा जारी परिपत्र में लिखा था कि क्योंकि उक्त स्थानांतरण दुर्लभतम मामला है. सदस्यों से अनुरोध है कि वे सहयोग करें. बता दें, न्यायमूर्ति कंठ को 18 मई, 2022 को दिल्ली हाईकोर्ट के न्यायाधीश के रूप में नियुक्त किया गया था.
स्थानांतरण से हाई कोर्ट की मौजूदा ताकत में कमी: डीएचसीबीए द्वारा पारित प्रस्ताव में कहा गया है कि स्थानांतरण से हाई कोर्ट की मौजूदा ताकत में कमी के कारण न्याय वितरण प्रभावित होगा. यह अफसोस की बात है कि दिल्ली हाई कोर्ट में न्यायधीशों के खाली पदों को भरने की प्रक्रिया के संबंध में सभी संबंधित पक्षों द्वारा कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है. फिर भी वर्तमान न्यायाधीश का स्थानांतरण किया जा रहा है, जिससे मौजूदा ताकत और कम हो रही है. उपरोक्त कारणों के मद्देनजर, डीएचसीबीए प्रस्ताव ने कॉलेजियम से सिफारिश पर पुनर्विचार करने के लिए कहा और केंद्र सरकार से कॉलेजियम की सिफारिश पर कार्रवाई नहीं करने का भी अनुरोध किया था.
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