लंदन: ब्रिटेन की यूके खेल एजेंसी ने लंदन ओलंपिक के समय खिलाड़ियों को एक स्पोर्ट्स ड्रिंक के लिए प्रयोग होने देने के दावे का खंडन किया है.
रविवार को एक मेल में हुए खुलासे के अनुसार लंदन ओलंपिक के समय पब्लिक के पैसे का उपयोग 91 एथलीटों के एक चयनित ब्रैंड, जिसको एक स्पोर्ट्स ड्रिंक के रूप में, एथलिटों को प्रदान किया गया. ये दावा किया गया कि उन एथलिटों को लैब में प्रयोग होने वाले चुहों की तरह इस्तेमाल किया गया क्योंकि उसकी कोई गारंटी नहीं थी कि वो पदार्थ दुष्प्रभाव या डोपिंग विरोधी नियमों का उल्लंघन करेगा की नहीं.
यूके स्पोर्ट्स ने कहा कि उन्होंने उत्पाद का उपयोग करने से पहले विश्व एंटी-डोपिंग एजेंसी (WADA) और यूके एंटी-डोपिंग के साथ परामर्श किया था ताकि ये सुनिश्चित किया जा सके कि ये दिशानिर्देशों का अनुपालन करने के लिए और प्रतियोगियों के स्वास्थ्य के लिए सही है.
यूके स्पोर्ट ने एक बयान में कहा, "यूके स्पोर्ट हमारी राष्ट्रीय टीमों के कल्याण की कीमत पर किसी और एथलिट की परफॉर्मेंस को गिराने का काम नहीं करेगी."
एजेंसी ने आगे बयान में कहा, "ब्रिटेन एंटी-डोपिंग और WADA के साथ जहां भी परामर्श की आवश्यक थी उनसे ली गई. एजेंसी ने अंतरराष्ट्रीय डोपिंग रोधी नियमों का पालन करते हुए ये सुनिश्चित किया है."
एजेंसी ने कहा, "यूके एंटी-डोपिंग और विश्व डोपिंग रोधी एजेंसी से स्पष्टीकरण मांगने के बाद लिखित में पुष्टि की है कि WADA के पास 'ऐसे पदार्थों पर विचार करने का कोई कारण नहीं था, जो 2011 में प्रतिबंधित पदार्थों और विधियों की सूची के तहत प्रतिबंधित थे."
उस मेल में ये लिखा था कि जांच में पाया गया है कि 40 प्रतिशत एथलीट उल्टी और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल जैसी समस्या और उसके दुष्प्रभावों से पीड़ित थे.
परिणामस्वरूप 28 व्यक्तियों ने इस कारण से पदार्थ लेना बंद कर दिया. वहीं 24 एथलिटों ने योजना से हट गए क्योंकि उन्हें लगा कि ये पदार्थ उनके लिए किसी भी तरह से फायदेमंद नहीं था.