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एशियाई खेल और विश्व चैंपियनशिप में एक माह का अंतर रहने पर दोनों में भाग लूंगा : बजरंग

चीन में कोविड-19 के बढ़ते मामलों के कारण एशियाई खेल 2022 को स्थगित कर दिया गया था और आयोजकों ने अभी तक इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता की नई तारीखों की घोषणा नहीं की है.

Bajrang Punia Statement  Asian Games  World Championships  एशियाई खेल  विश्व चैंपियनशिप  बजरंग पुनिया
Bajrang Punia
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Published : Jun 25, 2022, 8:03 PM IST

नई दिल्ली: भारत के शीर्ष पहलवान बजरंग पुनिया ने शनिवार को कहा कि अगर स्थगित किए गए एशियाई खेल और विश्व चैंपियनशिप के बीच कम से कम एक महीने का अंतर होता है तो वह अगले साल इन दोनों प्रतियोगिताओं में भाग लेंगे. चीन में कोविड-19 के बढ़ते मामलों के कारण एशियाई खेल 2022 को स्थगित कर दिया गया था और आयोजकों ने अभी तक इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता की नई तारीखों की घोषणा नहीं की है.

विश्व चैंपियनशिप सितंबर 2023 में रूस में होगी और वह ओलंपिक क्वालीफाइंग प्रतियोगिता है. बजरंग ने भारतीय खेल प्राधिकरण (साइ) के सम्मान समारोह के दौरान वर्चुअल बातचीत में कहा, 2023 महत्वपूर्ण वर्ष है. मेरा लक्ष्य विश्व चैंपियनशिप से पेरिस खेलों के लिए क्वालीफाई करना रहेगा. हमें अभी नहीं पता कि एशियाई खेलों और विश्व चैंपियनशिप के बीच कितना अंतर रहेगा.

उन्होंने कहा, लेकिन यदि दोनों के बीच एक या डेढ़ महीने का समय होता है, तो मैं दोनों में भाग लूंगा. टोक्यो ओलंपिक में कांस्य पदक जीतने वाले 28 साल के बजरंग पिछली गलतियों से परेशान नहीं होना चाहते हैं और अपना ध्यान पेरिस ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीतने पर लगाना चाहते हैं.

यह भी पढ़ें: अभिषेक-ज्योति की जोड़ी ने तीरंदाजी विश्व कप में भारत के लिए पहला मिश्रित मिश्रित टीम स्वर्ण जीता

उन्होंने कहा, मैं चोटिल हो गया था और ओलंपिक के बाद आठ महीनों तक इससे उबर रहा था. ओलंपिक किसी भी खिलाड़ी के लिए महत्वपूर्ण होते हैं. स्वर्ण नहीं जीत पाना झटका था लेकिन फिर भी मैंने कांस्य पदक जीता. विश्व में 65 किग्रा सबसे मुश्किल भार वर्ग है.

बजरंग ने कहा, ओलंपिक पदक जीतने के बाद मैं जरा भी नहीं बदला हूं. मेरा लक्ष्य 2024 में बेहतर प्रदर्शन करना है. मैं फिर से अभ्यास कर रहा हूं. भारत ने पिछले चार ओलंपिक में कुश्ती में पदक जीते हैं. कांस्य और रजत जीते हैं लेकिन स्वर्ण नहीं. पेरिस खेलों के लिए मेरा यही लक्ष्य है.

उन्होंने कहा, हमें गलतियों को भूलकर, उनसे सीख लेकर आगे बढ़ना है. जीत और हार किसी भी खिलाड़ी के जीवन का हिस्सा होते हैं. हमें दोनों को स्वीकार करना होगा. बजरंग राष्ट्रमंडल खेलों की तैयारियों के सिलसिले में रविवार को अमेरिका रवाना होंगे. विश्व चैंपियनशिप के पदक विजेता ने कहा कि जब वह बाहर अभ्यास करते हैं तो उन्हें अभ्यास के लिये बेहतर साथी मिल जाता है.

उन्होंने कहा, मैं मिशिगन विश्वविद्यालय में अभ्यास करूंगा. कई शीर्ष पहलवान वहां अभ्यास करते हैं. जैसे मैं 70 किग्रा में दुनिया के नंबर एक खिलाड़ी (एर्नाजर अकमातालिव, किर्गिस्तान) के साथ अभ्यास करूंगा. ओलंपिक में 86 किग्रा का पदक विजेता भी वहां होगा. इसलिए मुझे वहां अभ्यास करना पसंद है.

नई दिल्ली: भारत के शीर्ष पहलवान बजरंग पुनिया ने शनिवार को कहा कि अगर स्थगित किए गए एशियाई खेल और विश्व चैंपियनशिप के बीच कम से कम एक महीने का अंतर होता है तो वह अगले साल इन दोनों प्रतियोगिताओं में भाग लेंगे. चीन में कोविड-19 के बढ़ते मामलों के कारण एशियाई खेल 2022 को स्थगित कर दिया गया था और आयोजकों ने अभी तक इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता की नई तारीखों की घोषणा नहीं की है.

विश्व चैंपियनशिप सितंबर 2023 में रूस में होगी और वह ओलंपिक क्वालीफाइंग प्रतियोगिता है. बजरंग ने भारतीय खेल प्राधिकरण (साइ) के सम्मान समारोह के दौरान वर्चुअल बातचीत में कहा, 2023 महत्वपूर्ण वर्ष है. मेरा लक्ष्य विश्व चैंपियनशिप से पेरिस खेलों के लिए क्वालीफाई करना रहेगा. हमें अभी नहीं पता कि एशियाई खेलों और विश्व चैंपियनशिप के बीच कितना अंतर रहेगा.

उन्होंने कहा, लेकिन यदि दोनों के बीच एक या डेढ़ महीने का समय होता है, तो मैं दोनों में भाग लूंगा. टोक्यो ओलंपिक में कांस्य पदक जीतने वाले 28 साल के बजरंग पिछली गलतियों से परेशान नहीं होना चाहते हैं और अपना ध्यान पेरिस ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीतने पर लगाना चाहते हैं.

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उन्होंने कहा, मैं चोटिल हो गया था और ओलंपिक के बाद आठ महीनों तक इससे उबर रहा था. ओलंपिक किसी भी खिलाड़ी के लिए महत्वपूर्ण होते हैं. स्वर्ण नहीं जीत पाना झटका था लेकिन फिर भी मैंने कांस्य पदक जीता. विश्व में 65 किग्रा सबसे मुश्किल भार वर्ग है.

बजरंग ने कहा, ओलंपिक पदक जीतने के बाद मैं जरा भी नहीं बदला हूं. मेरा लक्ष्य 2024 में बेहतर प्रदर्शन करना है. मैं फिर से अभ्यास कर रहा हूं. भारत ने पिछले चार ओलंपिक में कुश्ती में पदक जीते हैं. कांस्य और रजत जीते हैं लेकिन स्वर्ण नहीं. पेरिस खेलों के लिए मेरा यही लक्ष्य है.

उन्होंने कहा, हमें गलतियों को भूलकर, उनसे सीख लेकर आगे बढ़ना है. जीत और हार किसी भी खिलाड़ी के जीवन का हिस्सा होते हैं. हमें दोनों को स्वीकार करना होगा. बजरंग राष्ट्रमंडल खेलों की तैयारियों के सिलसिले में रविवार को अमेरिका रवाना होंगे. विश्व चैंपियनशिप के पदक विजेता ने कहा कि जब वह बाहर अभ्यास करते हैं तो उन्हें अभ्यास के लिये बेहतर साथी मिल जाता है.

उन्होंने कहा, मैं मिशिगन विश्वविद्यालय में अभ्यास करूंगा. कई शीर्ष पहलवान वहां अभ्यास करते हैं. जैसे मैं 70 किग्रा में दुनिया के नंबर एक खिलाड़ी (एर्नाजर अकमातालिव, किर्गिस्तान) के साथ अभ्यास करूंगा. ओलंपिक में 86 किग्रा का पदक विजेता भी वहां होगा. इसलिए मुझे वहां अभ्यास करना पसंद है.

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