नई दिल्ली : आईसीसी मेंस वनडे वर्ल्डकप 2023 शुरू होने में केवल अब दो महीने बाकी हैं. बड़ी संख्या में भारतीय फैंस फिर से रोहित शर्मा की अगुवाई वाली टीम से 10 साल के ट्रॉफी इंतजार को खत्म करने की उम्मीद लगा बैठे हैं. आईसीसी ट्रॉफी जीतने का सपना भारत के लिए लंबे समय से सपना रहा है जो इंग्लैंड में 2013 चैंपियंस ट्रॉफी जीतने के बाद से अब तक पूरा नहीं हो पाया है. जिसमें रोहित शर्मा भी शामिल थे. लेकिन अब आईसीसी टूर्नामेंट में टीम के खराब रिकॉर्ड को देखते हुए यह कहना जितना आसान है करना उतना ही मुश्किल नजर आ रहा है. वर्ल्डकप शुरू होने में अब महज कुछ महीने बाकी हैं. लेकिन टीम इंडिया अब तक अपनी मजबूत प्लेइंग इलेवन तैयार नहीं कर पाई है. यह एक ऐसी पहेली बन चुकी है जो फिलहाल सुलझने से बहुत दूर है.
टीम इंडिया की पहली पसंद के कुछ खिलाड़ियों और विश्वकप के संभावित निर्णायक खिलाड़ियों में से कुछ अभी भी इंजरी से रिकवर होने की राह पर हैं. वहीं, भारत के वेस्टइंडीज दौरे पर भारतीय टीम ने मिडिल ऑर्डर में कई एक्सपेरिमेंट किए हैं. ये देखकर ऐसा लग रहा है कि भारत के पास चैम्पियनशिप जीतने वाली टीम जैसा इरादा नहीं है. 8 अक्टूबर को जब भारत चेन्नई में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपना पहला 2023 विश्वकप ग्रुप मैच खेलेगा तो सभी की निगाहें रोहित शर्मा पर होंगी. क्योंकि उनके कंधों पर दो बड़ी जिम्मेदारी हैं. पहली बतौर कप्तान और दूसरा बतौर बल्लेबाज टीम को एक मजबूत शुरुआत देने की. 2011 में जब 2 अप्रैल को एमएस धोनी द्वारा क्रिकेट इतिहास का सबसे यादगार छक्का लगाने के बाद भारत ने घरेलू धरती पर विश्वकप जीता था उस दौरान रोहित खराब फॉर्म के कारण टीम में नहीं थे.
रोहित को भारत की बल्लेबाजी का मुख्य खिलाड़ी माना जा रहा था और उन्होंने 20 वर्षीय युवा खिलाड़ी के रूप में 2007 टी20 विश्वकप भी जीता था. लेकिन उनके फॉर्म का मतलब था कि उनके बाद वनडे में डेब्यू करने वाले विराट कोहली को इस प्रारूप में शानदार प्रदर्शन के आधार पर चुना गया. 2011 में चयन न होने से रोहित में बदलाव आया. उसके बाद से लेकर अब तक वो भारत की वनडे टीम का एक अनिवार्य हिस्सा बन गए. 2023 में रोहित का औसत 47.87 रहा और इस साल उनके नाम वनडे में एक शतक और दो अर्द्धशतक है. मुंबई इंडियंस की कप्तानी सौंपे जाने के ठीक दस साल बाद रोहित वनडे वर्ल्डकप में भारतीय टीम को लीड करेंगे.
रोहित शर्मा पर है बड़ी जिम्मेदारी
फरवरी 2022 के बाद से जब रोहित कोहली के बाद भारत के पूर्णकालिक कप्तान बने तो कई लोगों का मानना था कि उन्होंने मुंबई के साथ और कभी-कभी राष्ट्रीय टीम के स्टैंड-इन कप्तान के रूप में जो सफलता हासिल की है वह उन्हें काफी मदद देगी. रोहित की स्मार्ट ऑन-फील्ड रणनीति और उनके अंदर के एक अच्छे लीडर को उजागर किया गया. हालांकि उनकी कोई भी रणनीति भारत को आईसीसी ट्रॉफी नहीं दिला सकी. टी20 खेलने में भारत की समस्याएं और भूमिकाओं में स्पष्टता की कमी एक बार फिर उजागर हुई जब इंग्लैंड ने उन्हें ऑस्ट्रेलिया में टी20 विश्वकप सेमीफाइनल में दस विकेट से करारी शिकस्त दी. विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप फाइनल में भी रोहित की कप्तानी और फॉर्म पर कई सवाल उठे. इसमें सबसे बड़ा मुद्दा बना रविचंद्रन अश्विन को प्लेइंग-11 से बाहर करना.
अब रोहित के सामने एक बार फिर भारत को वर्ल्डकप जिताने की संभावना है. 2019 एकदिवसीय विश्वकप में रोहित पांच शतकों के साथ टूर्नामेंट में सबसे अधिक रन बनाने वाले खिलाड़ी थे. लेकिन भारत सेमीफाइनल में प्रतियोगिता से बाहर हो गया था. यदि टीम इंडिया की सभी खामियां टूर्नामेंट के आगाज से पहले सही हो जाती है और रोहित 2023 विश्वकप में भारत के सभी मैचों में एक सलामी बल्लेबाज और कप्तान के रूप में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हैं तो 19 नवंबर को टूर्नामेंट जीतने का सपना पूरा हो सकता है. यह रोहित के करियर का यह एक निर्णायक क्षण बन सकता है.
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- (आईएएनएस)