नई दिल्ली: भारतीय खिलाड़ियों की चोटों से निपटने में असफलता के कारण हाल में आलोचना का शिकार होने वाली राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी (एनसीए) को जल्द ही बीसीसीआई मेडिकल पैनल की मदद मिलेगी. साथ ही एनसीए में सोशल मीडिया विभाग भी बनाया जाएगा.
एनसीए की हालिया बैठक में मेडिकल पैनल की जरूरत पर चर्चा की गई जिसमें अध्यक्ष सौरव गांगुली और एनसीए क्रिकेट प्रमुख राहुल द्रविड़ सहित बीसीसीआई के अधिकारियों ने शिरकत की.
भारत के शीर्ष खिलाड़ियों ऋद्धिमान साहा और हाल में भुवनेश्वर कुमार के चोट प्रबंधन के लिए एनसीए की काफी आलोचना हुई थी, जिसके बाद ये फैसला लिया गया. ऑल राउंडर हार्दिक पंड्या और मुख्य तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने भी बेंगलुरू के बजाय निजी रिहैबिलिटेशन कराया जिसने एनसीए की परेशानियों को बढ़ा दिया.
बीसीसीआई के शीर्ष अधिकारी ने मीडिया से कहा, 'बीसीसीआई अपना मेडिकल पैनल बनाने के लिए लंदन में स्थित क्लिनिक की सलाह लेगा.'
लंबे समय से खाली 'तेज गेंदबाजी प्रमुख' पद पर जल्द ही नियुक्ति की जाएगी जिस पर एनसीए में तेज गेंदबाजी कार्यक्रम गठित करने की जिम्मेदारी होगी. इसके अलावा बोर्ड बेंगलुरू स्थित सुविधाओं के लिए पोषण प्रमुख भी नियुक्त करेगा.
हाल में एनसीए गलत कारणों से खबरों में रहा और इसके बारे में कोई अधिकारिक बयान भी नहीं आए इसलिए अकादमी के लिए सोशल मीडिया मैनेजर भी रखा जाएगा जो एनसीए के अंदर हो रहे सभी कार्यक्रमों के नियमित अपडेट मुहैया कराएगा.
बोर्ड अधिकारी ने कहा कि ये कदम एनसीए की प्रतिष्ठा सुधारने में अहम हो सकता है. एनसीए भुवनेश्वर कुमार के स्पोर्ट्स हर्निया को पहचानने में असमर्थ रहा.
बुमराह और हार्दिक जैसे खिलाड़ियों ने भी एनसीए स्टाफ पर निर्भर होने के बजाय चोटों से उबरने के लिए बाहर से मदद ली जिसकी खबर आने के बाद एनसीए की आलोचना हुई.
गांगुली ने पहले ही स्पष्ट कर दिया कि एनसीए देश में क्रिकेट संबंधित विकास कार्यक्रमों का मुख्य केंद्र रहेगा और भारत के सभी खिलाड़ियों को रिहैबिलिटेशन के लिए बेंगलुरू जाना होगा.
उन्हें उम्मीद है कि 18 महीने के अंदर एनसीए में नई सुविधायें तैयार हो जाएंगी. अन्य नियुक्तियों में 'डाटा विश्लेषक प्रमुख' भी शामिल हैं. एनसीए जल्द ही लेवल दो और लेवल थ्री के कोचिंग कोर्स भी आयोजित करेगा.