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Disaster Management : आपदा प्रबंधन के लिए NCMRWF में 900 करोड़ होंगे खर्च, 7 दिन पहले ही आपदाओं की मिलेगी जानकारी

भारत में प्राकृितक आपदाओं के कारण हर साल लाखों की संख्या में लोगों की मौतें होती हैं. आपदा से पूर्व सटिक जानकारी के लिए भारत सरकार की नोडल एजेंसी 'राष्ट्रीय मध्यम अवधि मौसम पूर्वानुमान केंद्र नोएडा' को तकनीकि रूप से अपडेट किया जा रहा है. पढ़ें पूरी खबर..

Kiren Rijiju
किरेन रिजिजू
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Published : May 25, 2023, 12:30 PM IST

नोएडा : राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र स्थित नोएडा के सेक्टर-62 स्थित राष्ट्रीय मध्यम अवधि मौसम पूर्वानुमान केंद्र ( एनसीएमआरडब्ल्यूएफ) में 900 करोड़ की लागत से एडवांस तकनीक से लैस सुपर कंप्यूटर को स्थापित किया जाएगा. यह सुपर कंप्यूटर अभी के सिस्टम से 11.2 पेटा फ्लोप तक मौसम के पूवार्नुमान की सटीक जानकारी देगा. इस सिस्टम से देश दुनिया में हिमपात, चक्रवात जैसी तमाम प्राकृतिक आपदाओं का पूवार्नुमान सात दिन पहले ही लगाया जा सकता है.

  • Ministry of Earth Sciences through NCMRWF is upgrading it's supercomputer from 6.8 Petaflop to 18 Petaflop at a total cost of Rs 9000 crore. This system is expected to be operational by the end of this financial year. https://t.co/SICt5O1J9F pic.twitter.com/JWmVchmWVU

    — Kiren Rijiju (@KirenRijiju) May 24, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

भारत सरकार में पृथ्वी विज्ञान मंत्री किरेन रिजिजू ने राष्ट्रीय मध्यम अवधि मौसम पूर्वानुमान केंद्र का दौरा किया. इस दौरान मंत्री पहले मौसम पूर्वानुमान केंद्र में मौजूद तकनीक की कार्यप्रणाली से रुबरू हुए. इसके बाद उन्होंने मौसम वैज्ञानिकों के साथ बैठक की और मौसम के पूवार्नुमान से जुड़ी जानकारी के बारे में चर्चा की. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वर्तमान में संस्थान में 6.8 पेटा फ्लोप का सुपर कंप्यूटर स्थापित है, जो नया सुपर कंप्यूटर स्थापित होने जा रहा है, उसकी क्षमता 18 पेटा फ्लोप होगी. इससे मौसम पूवार्नुमान की सटीक जानकारी मिलेगी. सुपर कंप्यूटर के नाम की घोषणा पीएम करेंगे. इस दौरान बैठक में पृथ्वी विज्ञान के प्रमुख सचिव समेत कई राष्ट्रीय केंद्रों के मौसम वैज्ञानिक शामिल हुए.

सुपर कंप्यूटर में सामान्य कम्प्यूटरों की तुलना में उच्च स्तरीय कैलकुलेशन की जा सकती है. सामान्य कंप्यूटर प्रति सेकेंड 10 लाख निर्देशों की प्रोसेसिंग कर सकता है, लेकिन सुपर कंप्यूटर की कार्य क्षमता नोटिंग प्वांइट आपरेशन प्रति सेकेंड से मापी जाती है. नोटिंग प्वांइट काफी लंबी संख्या का संकेतीकरण है, इससे उन्हें आसानी से संचारित किया जा सके. ये एक समय में कई काम कर सकता है. इसमें क्वांटम यांत्रिकी, मौसम का पूवार्नुमान, जलवायु पर अनुसंधान, तेल तथा प्राकृतिक गैस अन्वेषण, विमान तथा अंतरिक्षयान के लिए वायु गति विज्ञान, परमाणु हथियारों के विस्फोट एवं विलय जैसे कार्य होंगे.
(आईएएनएस)

ये भी पढ़ें-Earth Sciences Ministry : रिजिजू ने संभाला पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय का पदभार, बोले- यह बदलाव सजा नहीं है

नोएडा : राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र स्थित नोएडा के सेक्टर-62 स्थित राष्ट्रीय मध्यम अवधि मौसम पूर्वानुमान केंद्र ( एनसीएमआरडब्ल्यूएफ) में 900 करोड़ की लागत से एडवांस तकनीक से लैस सुपर कंप्यूटर को स्थापित किया जाएगा. यह सुपर कंप्यूटर अभी के सिस्टम से 11.2 पेटा फ्लोप तक मौसम के पूवार्नुमान की सटीक जानकारी देगा. इस सिस्टम से देश दुनिया में हिमपात, चक्रवात जैसी तमाम प्राकृतिक आपदाओं का पूवार्नुमान सात दिन पहले ही लगाया जा सकता है.

  • Ministry of Earth Sciences through NCMRWF is upgrading it's supercomputer from 6.8 Petaflop to 18 Petaflop at a total cost of Rs 9000 crore. This system is expected to be operational by the end of this financial year. https://t.co/SICt5O1J9F pic.twitter.com/JWmVchmWVU

    — Kiren Rijiju (@KirenRijiju) May 24, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

भारत सरकार में पृथ्वी विज्ञान मंत्री किरेन रिजिजू ने राष्ट्रीय मध्यम अवधि मौसम पूर्वानुमान केंद्र का दौरा किया. इस दौरान मंत्री पहले मौसम पूर्वानुमान केंद्र में मौजूद तकनीक की कार्यप्रणाली से रुबरू हुए. इसके बाद उन्होंने मौसम वैज्ञानिकों के साथ बैठक की और मौसम के पूवार्नुमान से जुड़ी जानकारी के बारे में चर्चा की. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वर्तमान में संस्थान में 6.8 पेटा फ्लोप का सुपर कंप्यूटर स्थापित है, जो नया सुपर कंप्यूटर स्थापित होने जा रहा है, उसकी क्षमता 18 पेटा फ्लोप होगी. इससे मौसम पूवार्नुमान की सटीक जानकारी मिलेगी. सुपर कंप्यूटर के नाम की घोषणा पीएम करेंगे. इस दौरान बैठक में पृथ्वी विज्ञान के प्रमुख सचिव समेत कई राष्ट्रीय केंद्रों के मौसम वैज्ञानिक शामिल हुए.

सुपर कंप्यूटर में सामान्य कम्प्यूटरों की तुलना में उच्च स्तरीय कैलकुलेशन की जा सकती है. सामान्य कंप्यूटर प्रति सेकेंड 10 लाख निर्देशों की प्रोसेसिंग कर सकता है, लेकिन सुपर कंप्यूटर की कार्य क्षमता नोटिंग प्वांइट आपरेशन प्रति सेकेंड से मापी जाती है. नोटिंग प्वांइट काफी लंबी संख्या का संकेतीकरण है, इससे उन्हें आसानी से संचारित किया जा सके. ये एक समय में कई काम कर सकता है. इसमें क्वांटम यांत्रिकी, मौसम का पूवार्नुमान, जलवायु पर अनुसंधान, तेल तथा प्राकृतिक गैस अन्वेषण, विमान तथा अंतरिक्षयान के लिए वायु गति विज्ञान, परमाणु हथियारों के विस्फोट एवं विलय जैसे कार्य होंगे.
(आईएएनएस)

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