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सऊदी नीत गठबंधन का यमन के अलगाववादियों से रियाद समझौते का सम्मान करने का आग्रह - coalition urges Yemen separatist

सऊदी अरब ने बयान में परिषद से नवंबर 2019 के रियाद समझौते की शर्तों को मानने का आग्रह किया है. इस समझौते के तहत सभी पक्ष अपने कब्जे वाले यमन के शहरों में से भारी सैन्य उपकरण हटाएंगे और एक सरकार बनाएंगे जिसमें सभी का समान प्रतिनिधित्व होगा, लेकिन अभी इस समझौते को लागू नहीं किया गया है

सऊदी अरब नीत गठबंधन
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Published : Apr 27, 2020, 8:14 PM IST

दुबई : यमन में वर्षों से जंग में फंसे सऊदी अरब नीत गठबंधन ने सोमवार को संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) समर्थित अलगाववादियों से रियाद शांति समझौते की शर्तों का सम्मान करने और अदन का नियंत्रण देश की अंतरराष्ट्रीय तौर पर मान्यता प्राप्त सरकार को सौंपने की गुजारिश की है.

सऊदी अरब ने यह बयान ऐसे वक्त पर जारी किया है जब अलगाववादियों की दक्षिणी परिवर्तन परिषद ने फिर से दावा किया है कि उसने अदन का नियंत्रण हासिल कर लिया है. लाल सागर के तट पर बसा अदन शहर अंतरराष्ट्रीय तौर पर मान्यता प्राप्त सरकार की राजधानी है, जहां सना के बागी हुथी बलों ने कब्जा किया हुआ है.

इस युद्ध ने अरब विश्व के सबसे गरीब देश को अकाल के मुहाने पर धकेल दिया. अब तक जंग में एक लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है.

सऊदी अरब ने बयान में परिषद से नवंबर 2019 के रियाद समझौते की शर्तों को मानने का आग्रह किया है. इस समझौते के तहत सभी पक्ष अपने कब्जे वाले यमन के शहरों में से भारी सैन्य उपकरण हटाएंगे और एक सरकार बनाएंगे जिसमें सभी का समान प्रतिनिधित्व होगा, लेकिन अभी इस समझौते को लागू नहीं किया गया है.

फिलहाल अदन में भारी बाढ़ आई हुई है और यमन कोरोना वायरस महामारी का सामना कर रहा है.

पढ़ें -सऊदी अरब : नाबालिगों को अब मौत की सजा नहीं, किंग सलमान ने जारी किया फरमान

दक्षिणी परिवर्तन परिषद, युद्ध में सऊदी अरब के साझेदार संयुक्त अरब अमीरात का सहयोगी है. हालांकि यूएई बाद में संघर्ष से हट गया था.

दुबई : यमन में वर्षों से जंग में फंसे सऊदी अरब नीत गठबंधन ने सोमवार को संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) समर्थित अलगाववादियों से रियाद शांति समझौते की शर्तों का सम्मान करने और अदन का नियंत्रण देश की अंतरराष्ट्रीय तौर पर मान्यता प्राप्त सरकार को सौंपने की गुजारिश की है.

सऊदी अरब ने यह बयान ऐसे वक्त पर जारी किया है जब अलगाववादियों की दक्षिणी परिवर्तन परिषद ने फिर से दावा किया है कि उसने अदन का नियंत्रण हासिल कर लिया है. लाल सागर के तट पर बसा अदन शहर अंतरराष्ट्रीय तौर पर मान्यता प्राप्त सरकार की राजधानी है, जहां सना के बागी हुथी बलों ने कब्जा किया हुआ है.

इस युद्ध ने अरब विश्व के सबसे गरीब देश को अकाल के मुहाने पर धकेल दिया. अब तक जंग में एक लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है.

सऊदी अरब ने बयान में परिषद से नवंबर 2019 के रियाद समझौते की शर्तों को मानने का आग्रह किया है. इस समझौते के तहत सभी पक्ष अपने कब्जे वाले यमन के शहरों में से भारी सैन्य उपकरण हटाएंगे और एक सरकार बनाएंगे जिसमें सभी का समान प्रतिनिधित्व होगा, लेकिन अभी इस समझौते को लागू नहीं किया गया है.

फिलहाल अदन में भारी बाढ़ आई हुई है और यमन कोरोना वायरस महामारी का सामना कर रहा है.

पढ़ें -सऊदी अरब : नाबालिगों को अब मौत की सजा नहीं, किंग सलमान ने जारी किया फरमान

दक्षिणी परिवर्तन परिषद, युद्ध में सऊदी अरब के साझेदार संयुक्त अरब अमीरात का सहयोगी है. हालांकि यूएई बाद में संघर्ष से हट गया था.

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