वाशिंगटन : अमेरिका के एक शीर्ष कमांडर ने बुधवार को यहां कहा कि भारत और अमेरिका चीन से एक समान सुरक्षा चुनौतियों का सामना कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि अपनी उत्तरी सीमा की सुरक्षा में जुटे भारत को बाइडेन प्रशासन न केवल ठंड के लिए आवश्यक सामान उपलब्ध करवा कर सहायता पहुंचा रहा है बल्कि वह उसे अपना औद्योगिक आधार विकसित करने की उसकी कोशिश में भी मदद कर रहा है.
अमेरिका की हिंद-प्रशांत कमान के कमांडर एडमिरल जॉन क्रिस्टोफर एक्विलिनो ने हिंद-प्रशांत राष्ट्रीय सुरक्षा चुनौतियों को लेकर प्रतिनिधि सभा की सशस्त्र सेवा समिति को बताया, 'हम भारत के साथ अपनी साझेदारी को महत्व देते हैं और समय के साथ हम इसे बढ़ा रहे हैं. उनके समक्ष भी वही सुरक्षा चुनौती है, प्राथमिक सुरक्षा चुनौती है जिसका सामना हम करते हैं और वाकई उनकी उत्तरी सीमा पर यह समस्या है.'
एडमिरल ने कहा, 'उस सीमा पर पिछले नौ या 10 महीनों में दो झड़पें हुई हैं क्योंकि चीन की तरफ से उन्हें सीमा पर दबाव का सामना करना पड़ रहा है.' एडमिरल जॉन क्रिस्टोफर भारतीय मूल के अमेरिकी सांसद रो खन्ना के एक सवाल का जवाब दे रहे थे.
उन्होंने कहा, 'दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र होने के नाते हमारी साथ काम करने की इच्छा भी है. हमारे समान मूल्य हैं. सालों से हमारे बीच दोस्ताना संबंध है. मैं अपने भारतीय समकक्ष जनरल (अनिल) चौहान से हाल ही में रायसीना डायलॉग के दौरान मिला था. मैं पिछले दो साल में पांच बार भारत जा चुका हूं.'
अन्य सांसद पेट्रिक रेयान के एक सवाल पर एडमिरल ने कहा कि भारत एक महत्वपूर्ण भागीदार है और मालाबार में संयुक्त सैन्य अभ्यास करने के अलावा सुरक्षा पहलुओं समेत अमेरिका भारत को अन्य सहायता प्रदान कर रहा है.
उन्होंने कहा, 'इसके अतिरिक्त, हम उत्पादन के क्षेत्र में अपने सहयोग का विस्तार कर रहे हैं क्योंकि भारत अपना औद्योगिक आधार विकसित करने के लिए प्रयास कर रहा है. तो, सी-130 के महत्वपूर्ण कल-पुर्जे 'मेड इन इंडिया' हैं, हेलीकॉप्टर और महत्वपूर्ण चीजें 'मेड इन इंडिया' हैं.'
पढ़ें- 26/11 Mumbai terror attack में वांटेड तहव्वुर राणा की 'स्टेटस कांफ्रेंस' याचिका अमेरिका ने की खारिज
(पीटीआई-भाषा)