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लंदन उच्च न्यायालय ने असांजे के अमेरिका प्रत्यर्पण का रास्ता साफ किया

ब्रिटेन के लंदन हाई कोर्ट ने निचली अदालत के फैसले को पलटते हुए जूलियन असांजे को अमेरिका प्रत्यर्पित किए जाने का रास्ता खोल दिया है. असांजे हजारों गोपनीय सैन्य तथा राजनयिक दस्तावेजों के प्रकाशन के मामले में अमेरिका में वांछित हैं.

julian assange
जूलियन असांजे (फाइल फोटो)
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Published : Dec 10, 2021, 10:47 PM IST

लंदन : ब्रिटेन के लंदन उच्च न्यायालय ने निचली अदालत के फैसले को पलटते हुए जूलियन असांजे को अमेरिका प्रत्यर्पित किए जाने का रास्ता खोल दिया है. निचली अदालत ने विकीलीक्स के संस्थापक के मानसिक स्वास्थ्य का हवाला देते हुए प्रत्यर्पण के अमेरिकी अनुरोध को खारिज कर दिया था.

पचास वर्षीय ऑस्ट्रेलियाई नागरिक असांजे 2010 और 2011 में हजारों गोपनीय सैन्य तथा राजनयिक दस्तावेजों के प्रकाशन के मामले में अमेरिका में वांछित हैं. इस साल की शुरुआत में निचली अदालत के एक न्यायाधीश ने विकीलीक्स द्वारा एक दशक पहले गुप्त सैन्य दस्तावेजों का प्रकाशन किए जाने के मामले में जासूसी के आरोपों का सामना कर रहे असांजे को अमेरिका प्रत्यर्पित करने के अमेरिकी अनुरोध को खारिज कर दिया था. निचली अदालत ने कहा था कि यदि असांजे को प्रत्यर्पित किया गया तो अपनी कमजोर मानसिक स्थिति के चलते उनके आत्महत्या करने का खतरा है.

उच्च न्यायालय के शुक्रवार को आए फैसले का मतलब है कि अमेरिकी अधिकारियों ने अपील संबंधी मुकदमे की लड़ाई जीत ली है. इन अधिकारियों ने अदालत को पुन: आश्वस्त किया कि वे असांजे से संबंधित आत्महत्या के जोखिम को कम करने के लिए उचित कदम उठाएंगे.

ये भी पढ़ें - जूलियन असांजे को जेल में शादी करने की अनुमति मिली

जनवरी में जिला न्यायाधीश वैनेसा बारैत्सेर ने कहा था कि असांजे का मानसिक स्वास्थ्य ठीक नहीं है और इसलिए उन्हें प्रत्यर्पित किया जाना उचित नहीं होगा क्योंकि ऐसा करने से उनके आत्महत्या करने की आशंका है. असांजे पर अमेरिका में जासूसी के 17 आरोप और कंप्यूटर के दुरुपयोग संबंधी एक आरोप लगाया गया है. इन आरोपों में दोषी पाए जाने पर अधिकतम 175 साल तक की कैद हो सकती है.

मुख्य न्यायाधीश लॉर्ड बर्नेट और न्यायाधीश लॉर्ड होलोयडे ने निचली अदालत के फैसले को पलट दिया. असांजे की मंगेतर स्टेला मोरिस ने कहा कि उनका इरादा उच्च न्यायालय के फैसले के खिलाफ अपील दायर करने का है.

मोरिस ने कहा कि उच्च न्यायालय का फैसला 'खतरनाक' है और अमेरिका के आश्वासन पर विश्वास नहीं किया जा सकता. अदालत के बाहर भावुक मोरिस ने कहा, 'पिछले ढाई साल से, जूलियन (असांजे) बेलमर्श जेल में है, और वास्तव में वह सात दिसंबर 2010 से किसी न किसी रूप में 11 साल से हिरासत में रहे हैं. यह कब तक चलेगा?'

ये भी पढ़ें - अमेरिका ने ब्रिटिश अदालत से असांजे के प्रर्त्यपण की अनुमति देने को कहा

इस बीच, विकीलीक्स के प्रधान संपादक क्रिस्टिन हृाफंसन ने एक बयान में कहा, 'जूलियन का जीवन एक बार फिर गंभीर खतरे में है, और ऐसी सामग्री प्रकाशित करना पत्रकारों का अधिकार है जो सरकारों को असुविधाजनक लगे.' पुलिस द्वारा इक्वाडोर के दूतावास से बाहर लाए जाने के बाद 2019 से असांजे बेलमार्श जेल में हैं. इसके बाद, उन्हें जमानत शर्तों का उल्लंघन करने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया था.

वह यौन अपराध के आरोपों का सामना करने के लिए स्वीडन प्रत्यर्पित किए जाने से बचने के लिए 2012 से दूतावास में रह रहे थे. यौन अपराध के आरोपों का उन्होंने हमेशा खंडन किया और अंततः इन्हें वापस ले लिया गया था.

(पीटीआई-भाषा)

लंदन : ब्रिटेन के लंदन उच्च न्यायालय ने निचली अदालत के फैसले को पलटते हुए जूलियन असांजे को अमेरिका प्रत्यर्पित किए जाने का रास्ता खोल दिया है. निचली अदालत ने विकीलीक्स के संस्थापक के मानसिक स्वास्थ्य का हवाला देते हुए प्रत्यर्पण के अमेरिकी अनुरोध को खारिज कर दिया था.

पचास वर्षीय ऑस्ट्रेलियाई नागरिक असांजे 2010 और 2011 में हजारों गोपनीय सैन्य तथा राजनयिक दस्तावेजों के प्रकाशन के मामले में अमेरिका में वांछित हैं. इस साल की शुरुआत में निचली अदालत के एक न्यायाधीश ने विकीलीक्स द्वारा एक दशक पहले गुप्त सैन्य दस्तावेजों का प्रकाशन किए जाने के मामले में जासूसी के आरोपों का सामना कर रहे असांजे को अमेरिका प्रत्यर्पित करने के अमेरिकी अनुरोध को खारिज कर दिया था. निचली अदालत ने कहा था कि यदि असांजे को प्रत्यर्पित किया गया तो अपनी कमजोर मानसिक स्थिति के चलते उनके आत्महत्या करने का खतरा है.

उच्च न्यायालय के शुक्रवार को आए फैसले का मतलब है कि अमेरिकी अधिकारियों ने अपील संबंधी मुकदमे की लड़ाई जीत ली है. इन अधिकारियों ने अदालत को पुन: आश्वस्त किया कि वे असांजे से संबंधित आत्महत्या के जोखिम को कम करने के लिए उचित कदम उठाएंगे.

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जनवरी में जिला न्यायाधीश वैनेसा बारैत्सेर ने कहा था कि असांजे का मानसिक स्वास्थ्य ठीक नहीं है और इसलिए उन्हें प्रत्यर्पित किया जाना उचित नहीं होगा क्योंकि ऐसा करने से उनके आत्महत्या करने की आशंका है. असांजे पर अमेरिका में जासूसी के 17 आरोप और कंप्यूटर के दुरुपयोग संबंधी एक आरोप लगाया गया है. इन आरोपों में दोषी पाए जाने पर अधिकतम 175 साल तक की कैद हो सकती है.

मुख्य न्यायाधीश लॉर्ड बर्नेट और न्यायाधीश लॉर्ड होलोयडे ने निचली अदालत के फैसले को पलट दिया. असांजे की मंगेतर स्टेला मोरिस ने कहा कि उनका इरादा उच्च न्यायालय के फैसले के खिलाफ अपील दायर करने का है.

मोरिस ने कहा कि उच्च न्यायालय का फैसला 'खतरनाक' है और अमेरिका के आश्वासन पर विश्वास नहीं किया जा सकता. अदालत के बाहर भावुक मोरिस ने कहा, 'पिछले ढाई साल से, जूलियन (असांजे) बेलमर्श जेल में है, और वास्तव में वह सात दिसंबर 2010 से किसी न किसी रूप में 11 साल से हिरासत में रहे हैं. यह कब तक चलेगा?'

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इस बीच, विकीलीक्स के प्रधान संपादक क्रिस्टिन हृाफंसन ने एक बयान में कहा, 'जूलियन का जीवन एक बार फिर गंभीर खतरे में है, और ऐसी सामग्री प्रकाशित करना पत्रकारों का अधिकार है जो सरकारों को असुविधाजनक लगे.' पुलिस द्वारा इक्वाडोर के दूतावास से बाहर लाए जाने के बाद 2019 से असांजे बेलमार्श जेल में हैं. इसके बाद, उन्हें जमानत शर्तों का उल्लंघन करने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया था.

वह यौन अपराध के आरोपों का सामना करने के लिए स्वीडन प्रत्यर्पित किए जाने से बचने के लिए 2012 से दूतावास में रह रहे थे. यौन अपराध के आरोपों का उन्होंने हमेशा खंडन किया और अंततः इन्हें वापस ले लिया गया था.

(पीटीआई-भाषा)

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