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चीन राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने इंडो-पैसिफिक में 'शीत युद्ध' के खिलाफ दी चेतावनी

चीन के राष्ट्रपति (Chinese President) शी जिनपिंग (Xi Jinping) ने यह टिप्पणी एशिया-प्रशांत आर्थिक सहयोग मंच के वार्षिक शिखर सम्मेलन के मौके पर सामने आई जब यहां अमेरिका, ब्रिटेन और ऑस्ट्रेलिया द्वारा क्षेत्र में एक नए सुरक्षा गठबंधन की घोषणा की गई. चीन ने इस सौदे की कड़ी आलोचना की है.

चीन राष्ट्रपति शी जिनपिंग
चीन राष्ट्रपति शी जिनपिंग
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Published : Nov 11, 2021, 9:04 AM IST

वेलिंगटन : चीन के राष्ट्रपति (Chinese President) शी जिनपिंग (Xi Jinping) ने गुरुवार को हिंद-प्रशांत (Indo-Pacific) क्षेत्र में 'शीत युद्ध' (Cold War) के तनाव की वापसी को लेकर चेतावनी दी है.

उनकी यह टिप्पणी एशिया-प्रशांत आर्थिक सहयोग मंच (Asia-Pacific Economic Cooperation forum) के वार्षिक शिखर सम्मेलन के मौके पर सामने आई जब यहां अमेरिका, ब्रिटेन और ऑस्ट्रेलिया द्वारा क्षेत्र में एक नए सुरक्षा गठबंधन की घोषणा की गई. चीन ने इस सौदे की कड़ी आलोचना की है.

उन्होंने कहा कि वैचारिक या भू-राजनीतिक रेखाओं के साथ क्षेत्र में सीमाएं खींचने का प्रयास विफल हो जाएगा. शीत युद्ध के दौर के दौरान हुए टकराव और विभाजन के बाद एशिया-प्रशांत क्षेत्र दोबारा एक साथ नहीं आ सकता है और न ही ऐसा होना चाहिए.

पढ़ें : भारत नीत अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन में सदस्य देश के रूप में शामिल हुआ अमेरिका

शी ने यह भी कहा कि क्षेत्र को आपूर्ति की प्रक्रिया सक्रिय रखने के साथ व्यापार और निवेश को उदार बनाना जारी रखना चाहिए. उन्होंने कहा कि चीन आर्थिक विकास को गति देने के लिए सुधार करने में जुटा हुआ है.

उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में सबसे महत्वपूर्ण काम महामारी से लड़ने और जल्द से जल्द इसके कब्जे से उभरने के लिए हर संभव प्रयास करना है.

वेलिंगटन : चीन के राष्ट्रपति (Chinese President) शी जिनपिंग (Xi Jinping) ने गुरुवार को हिंद-प्रशांत (Indo-Pacific) क्षेत्र में 'शीत युद्ध' (Cold War) के तनाव की वापसी को लेकर चेतावनी दी है.

उनकी यह टिप्पणी एशिया-प्रशांत आर्थिक सहयोग मंच (Asia-Pacific Economic Cooperation forum) के वार्षिक शिखर सम्मेलन के मौके पर सामने आई जब यहां अमेरिका, ब्रिटेन और ऑस्ट्रेलिया द्वारा क्षेत्र में एक नए सुरक्षा गठबंधन की घोषणा की गई. चीन ने इस सौदे की कड़ी आलोचना की है.

उन्होंने कहा कि वैचारिक या भू-राजनीतिक रेखाओं के साथ क्षेत्र में सीमाएं खींचने का प्रयास विफल हो जाएगा. शीत युद्ध के दौर के दौरान हुए टकराव और विभाजन के बाद एशिया-प्रशांत क्षेत्र दोबारा एक साथ नहीं आ सकता है और न ही ऐसा होना चाहिए.

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शी ने यह भी कहा कि क्षेत्र को आपूर्ति की प्रक्रिया सक्रिय रखने के साथ व्यापार और निवेश को उदार बनाना जारी रखना चाहिए. उन्होंने कहा कि चीन आर्थिक विकास को गति देने के लिए सुधार करने में जुटा हुआ है.

उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में सबसे महत्वपूर्ण काम महामारी से लड़ने और जल्द से जल्द इसके कब्जे से उभरने के लिए हर संभव प्रयास करना है.

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