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अमेरिका का आरोप- पीपीई की जमाखोरी कर ऊंची दरों पर बेच रहा चीन

कोरोना वायरस महामारी से वैश्विक स्तर पर जारी लड़ाई के बीच ह्वाइट हाउस के एक शीर्ष अधिकारी ने चीन पर आरोप लगाया है कि वह पीपीई की जमाखोरी करने के बाद उसे ऊंचे दामों पर बेच रहा है.

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पीटर नवारो
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Published : Apr 21, 2020, 1:43 PM IST

वाशिंगटन : कोरोना वायरस महामारी से वैश्विक स्तर पर जारी लड़ाई के बीच अमेरिका ने चीन पर निजी सुरक्षात्मक उपकरण (पीपीई) की जमाखोरी और उसे महंगे दाम पर बेचने का आरोप लगाया है.

ह्वाइट हाउस के एक शीर्ष अधिकारी ने दावा किया है कि अमेरिका के पास इस बात के 'सबूत' हैं कि गत जनवरी और फरवरी में चीन ने 18 गुना अधिक मास्क और निजी सुरक्षात्मक उपकरण (पीपीई) मंगाए थे, जिन्हें अब वह ऊंची दरों पर बेच रहा है.

ह्वाइट हाउस व्यापार एवं उत्पादन निदेशक, पीटर नवारो ने सोमवार को आरोप लगाया कि भारत और ब्राजील समेत कई देशों के पास पर्याप्त पीपीई नहीं है क्योंकि बीजिंग उनकी जमाखोरी कर रहा है.

नवारो ने एक साक्षात्कार में फॉक्स बिजनेस से कहा, 'चीन ने वायरस की जानकारी छिपाते हुए पूरी दुनिया से सभी निजी सुरक्षात्मक उपकरणों को जमा करके रख लिया.'

उन्होंने कहा, 'मेरे पास सीधे चीन सरकार के सीमा शुल्क संघ से साक्ष्य हैं, जो दिखाते हैं कि जनवरी और फरवरी के महीने में उन्होंने 18 गुना अधिक मास्क खरीदे थे.'

उन्होंने कहा, 'उनके पास दो अरब से ज्यादा मास्क थे. उन्होंने चश्मे और दस्तानों दोनों के अपने खर्च को बढ़ा दिया.'

पढ़ें : वायरस की जांच के लिए अमेरिकी टीम को अनुमति देने की ट्रंप की मांग चीन ने खारिज की

नवारो के मुताबिक यूरोप, भारत, ब्राजील और अन्य देशों के पास पर्याप्त पीपीई नहीं है क्योंकि 'चीन इसकी जमाखोरी' कर रहा है.

अधिकारी ने कहा, 'चीन न सिर्फ इसकी जमाखोरी कर रहा है बल्कि इसे ऊंची कीमतों पर भी बेच रहा है. वह दुनिया को इसे निर्लज्जता से अत्यधिक कीमतों पर वापस बेच रहा है.'

नवारो ने कहा कि ऐसी बातों की जांच होनी चाहिए. उन्होंने साथ ही कहा कि कोई भी देश, जो अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था का हिस्सा होने का दावा करता है, उसके लिए इस तरह से बर्ताव करना ठीक नहीं है.

वाशिंगटन : कोरोना वायरस महामारी से वैश्विक स्तर पर जारी लड़ाई के बीच अमेरिका ने चीन पर निजी सुरक्षात्मक उपकरण (पीपीई) की जमाखोरी और उसे महंगे दाम पर बेचने का आरोप लगाया है.

ह्वाइट हाउस के एक शीर्ष अधिकारी ने दावा किया है कि अमेरिका के पास इस बात के 'सबूत' हैं कि गत जनवरी और फरवरी में चीन ने 18 गुना अधिक मास्क और निजी सुरक्षात्मक उपकरण (पीपीई) मंगाए थे, जिन्हें अब वह ऊंची दरों पर बेच रहा है.

ह्वाइट हाउस व्यापार एवं उत्पादन निदेशक, पीटर नवारो ने सोमवार को आरोप लगाया कि भारत और ब्राजील समेत कई देशों के पास पर्याप्त पीपीई नहीं है क्योंकि बीजिंग उनकी जमाखोरी कर रहा है.

नवारो ने एक साक्षात्कार में फॉक्स बिजनेस से कहा, 'चीन ने वायरस की जानकारी छिपाते हुए पूरी दुनिया से सभी निजी सुरक्षात्मक उपकरणों को जमा करके रख लिया.'

उन्होंने कहा, 'मेरे पास सीधे चीन सरकार के सीमा शुल्क संघ से साक्ष्य हैं, जो दिखाते हैं कि जनवरी और फरवरी के महीने में उन्होंने 18 गुना अधिक मास्क खरीदे थे.'

उन्होंने कहा, 'उनके पास दो अरब से ज्यादा मास्क थे. उन्होंने चश्मे और दस्तानों दोनों के अपने खर्च को बढ़ा दिया.'

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नवारो के मुताबिक यूरोप, भारत, ब्राजील और अन्य देशों के पास पर्याप्त पीपीई नहीं है क्योंकि 'चीन इसकी जमाखोरी' कर रहा है.

अधिकारी ने कहा, 'चीन न सिर्फ इसकी जमाखोरी कर रहा है बल्कि इसे ऊंची कीमतों पर भी बेच रहा है. वह दुनिया को इसे निर्लज्जता से अत्यधिक कीमतों पर वापस बेच रहा है.'

नवारो ने कहा कि ऐसी बातों की जांच होनी चाहिए. उन्होंने साथ ही कहा कि कोई भी देश, जो अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था का हिस्सा होने का दावा करता है, उसके लिए इस तरह से बर्ताव करना ठीक नहीं है.

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