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वैश्विक संचार नेटवर्क पर हावी होने की कोशिश कर रही चीनी कम्युनिस्ट पार्टी : पोम्पिओ

संयुक्त राज्य अमेरिका ने चीनी दूरसंचार कंपनियों हुवेई और जेडटीई कॉर्प को राष्ट्रीय सुरक्षा खतरों के रूप में नामित किया है. उसका कहना है कि इन कंपनियों के चीनी कम्युनिस्ट पार्टी और चीन के सैन्य तंत्र के साथ घनिष्ठ संबंध हैं.

चीन पर सख्त अमेरिका
चीन पर सख्त अमेरिका
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Published : Jul 18, 2020, 2:12 PM IST

आयोवा (अमेरिका) : अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने कहा है कि चीनी कम्युनिस्ट पार्टी न केवल हांगकांग में जन स्वतंत्रता को कुचल रही है और स्वतंत्र ताइवान को धमकी दे रही है बल्कि वैश्विक संचार नेटवर्क पर भी हावी होने की कोशिश कर रही है. पोम्पिओ ने आयोवा यात्रा के दौरान ये बातें कहीं.

पॉम्पिओ ने कहा, 'कुछ हफ्ते पहले मैंने चीनी कम्युनिस्ट पार्टी के बारे में एक रिपोर्ट पढ़ी, जिसमें लिखा था कि वह पश्चिमी चीन में चीनी मुस्लिमों पर अत्याचार कर रही है. वह मुस्लिम महिलाओं का सामूहिक गर्भपात करवा रही है और पुरुषों को नसबंदी के लिए मजबूर कर रही है. ये सब मानव अधिकारों के उल्लंघन हैं, जिन्हें हमने देखा है और मैं इसे इस सदी का सबसे बड़ा कलंक मानता हूं.'

गौरतलब है कि वॉशिंगटन ने पांच चीनी नागरिकों और दो चीनी कंपनियों पर फॉरेन नारकोटिक्स किंगपिन डेजिगनेशन एक्ट के तहत कार्रवाई की. इसी क्रम में अमेरिका ने चीन की हुवेई सहित चाइनीज टेक्नोलॉजी कंपनी के कुछ स्टाफ के वीजा को बैन कर दिया. उनपर आरोप था कि वे मानव अधिकारों के दुरुपयोग में संलिप्त थे.

पोम्पिओ ने बुधवार को एक बयान में इन प्रतिबंधों की घोषणा की और कहा, 'दुनियाभर की दूरसंचार कंपनियां यह समझ लें कि अगर वे हुवेई के साथ व्यापार करती हैं तो इसका मतलब वह मानव अधिकार के दुश्मनों के साथ व्यापार कर रही हैं.

पोम्पिओ ने कहा कि हुवेई सीसीपी की निगरानी क्षेत्र में आता है, जो राजनीतिक असहमति को सेंसर करता है और झिंजियांग में बड़े पैमाने पर शिविरों की नजरबंदी में मदद करता है.

पढे़ें : चीनियों पर वीजा प्रतिबंध का अमेरिकी फैसला सराहनीय : निर्वासित तिब्बत सरकार

अमेरिकी कार्रवाई के एक दिन बाद ब्रिटेन ने भी साल के अंत से 5G नेटवर्क के लिए हुवेई उत्पादित उपकरण खरीदने पर ब्रिटिश कंपनियों पर प्रतिबंध की घोषणा की.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीनी प्रौद्योगिकी को अविश्वसनीय कहा. ट्रंप ने बुधवार को कहा था, 'हमने चीनी प्रौद्योगिकी और दूरसंचार प्रदाताओं का सामना किया. हमने कई देशों को हुवेई के उत्पाद प्रयोग नहीं करने के लिए कहा क्योंकि इसमें खतरा है. इसके बाद ब्रिटेन ने हुवेई उत्पादों का प्रयोग न करने का फैसला किया.'

संयुक्त राज्य अमेरिका ने चीनी दूरसंचार कंपनियों हुवेई और जेडटीई कॉर्प को राष्ट्रीय सुरक्षा खतरों के रूप में नामित किया है. उसका कहना है कि इन कंपिनयों के चीनी कम्युनिस्ट पार्टी और चीन के सैन्य तंत्र के साथ घनिष्ठ संबंध हैं.

आयोवा (अमेरिका) : अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने कहा है कि चीनी कम्युनिस्ट पार्टी न केवल हांगकांग में जन स्वतंत्रता को कुचल रही है और स्वतंत्र ताइवान को धमकी दे रही है बल्कि वैश्विक संचार नेटवर्क पर भी हावी होने की कोशिश कर रही है. पोम्पिओ ने आयोवा यात्रा के दौरान ये बातें कहीं.

पॉम्पिओ ने कहा, 'कुछ हफ्ते पहले मैंने चीनी कम्युनिस्ट पार्टी के बारे में एक रिपोर्ट पढ़ी, जिसमें लिखा था कि वह पश्चिमी चीन में चीनी मुस्लिमों पर अत्याचार कर रही है. वह मुस्लिम महिलाओं का सामूहिक गर्भपात करवा रही है और पुरुषों को नसबंदी के लिए मजबूर कर रही है. ये सब मानव अधिकारों के उल्लंघन हैं, जिन्हें हमने देखा है और मैं इसे इस सदी का सबसे बड़ा कलंक मानता हूं.'

गौरतलब है कि वॉशिंगटन ने पांच चीनी नागरिकों और दो चीनी कंपनियों पर फॉरेन नारकोटिक्स किंगपिन डेजिगनेशन एक्ट के तहत कार्रवाई की. इसी क्रम में अमेरिका ने चीन की हुवेई सहित चाइनीज टेक्नोलॉजी कंपनी के कुछ स्टाफ के वीजा को बैन कर दिया. उनपर आरोप था कि वे मानव अधिकारों के दुरुपयोग में संलिप्त थे.

पोम्पिओ ने बुधवार को एक बयान में इन प्रतिबंधों की घोषणा की और कहा, 'दुनियाभर की दूरसंचार कंपनियां यह समझ लें कि अगर वे हुवेई के साथ व्यापार करती हैं तो इसका मतलब वह मानव अधिकार के दुश्मनों के साथ व्यापार कर रही हैं.

पोम्पिओ ने कहा कि हुवेई सीसीपी की निगरानी क्षेत्र में आता है, जो राजनीतिक असहमति को सेंसर करता है और झिंजियांग में बड़े पैमाने पर शिविरों की नजरबंदी में मदद करता है.

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अमेरिकी कार्रवाई के एक दिन बाद ब्रिटेन ने भी साल के अंत से 5G नेटवर्क के लिए हुवेई उत्पादित उपकरण खरीदने पर ब्रिटिश कंपनियों पर प्रतिबंध की घोषणा की.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीनी प्रौद्योगिकी को अविश्वसनीय कहा. ट्रंप ने बुधवार को कहा था, 'हमने चीनी प्रौद्योगिकी और दूरसंचार प्रदाताओं का सामना किया. हमने कई देशों को हुवेई के उत्पाद प्रयोग नहीं करने के लिए कहा क्योंकि इसमें खतरा है. इसके बाद ब्रिटेन ने हुवेई उत्पादों का प्रयोग न करने का फैसला किया.'

संयुक्त राज्य अमेरिका ने चीनी दूरसंचार कंपनियों हुवेई और जेडटीई कॉर्प को राष्ट्रीय सुरक्षा खतरों के रूप में नामित किया है. उसका कहना है कि इन कंपिनयों के चीनी कम्युनिस्ट पार्टी और चीन के सैन्य तंत्र के साथ घनिष्ठ संबंध हैं.

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