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जयशंकर और पोम्पिओ ने कोविड-19 व हिंद-प्रशांत मुद्दे पर की चर्चा

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Published : Aug 7, 2020, 11:46 AM IST

विदेश मंत्री एस जयशंकर और उनके अमेरिकी समकक्ष माइक पोम्पिओ ने फोन पर बात की, जिसमें उन्होंने कोरोना वायरस वैश्विक महामारी से निपटने तथा हिंद-प्रशांत क्षेत्र समेत अंतरराष्ट्रीय चिंता के मामलों के संबंध में द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय सहयोग को लेकर चर्चा की. पढ़ें विस्तार से...

विदेश मंत्री एस जयशंकर और माइक पोम्पिओ ने फोन पर की बातचीत
विदेश मंत्री एस जयशंकर और माइक पोम्पिओ ने फोन पर की बातचीत

वाशिंगटन : विदेश मंत्री एस जयशंकर और उनके अमेरिकी समकक्ष माइक पोम्पिओ ने फोन पर बात की, जिसमें उन्होंने कोरोना वायरस वैश्विक महामारी से निपटने तथा हिंद-प्रशांत क्षेत्र समेत अंतरराष्ट्रीय चिंता के मामलों के संबंध में द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय सहयोग को लेकर चर्चा की.

विदेश मंत्रालय के प्रधान उप प्रवक्ता कैले ब्राउन ने बताया कि दोनों नेताओं ने हिंद-प्रशांत और विश्वभर में समृद्धि एवं शांति कायम रखने और सुरक्षा मजबूत करने में भारत एवं अमेरिका के संबंधों की महत्ता की बात दोहराई.

  • Great speaking with Indian Minister of External Affairs @DrSJaishankar about the U.S.-India relationship and our work to combat the COVID-19 pandemic. We remain united to advance peace in Afghanistan, and to a secure and sovereign Indo-Pacific in which all countries can prosper.

    — Secretary Pompeo (@SecPompeo) August 6, 2020 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

भारत और अमेरिका ने संसाधन समृद्ध हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने के तरीकों पर बातचीत की. इस क्षेत्र में चीन अपना प्रभाव बढ़ाने की कोशिश कर रहा है. इस मामले पर 2018 में गोवा में हुई भारत-अमेरिका समुद्री सुरक्षा वार्ता के तीसरे दौर में भी विस्तार से बातचीत हुई थी.

अमेरिका रणनीतिक रूप से अहम भारत-प्रशांत क्षेत्र में भारत को बड़ी भूमिका निभाने के लिए प्रोत्साहित करता रहा है.

ब्राउन ने कहा, 'दोनों नेताओं ने क्षेत्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय मामलों में निकट सहयोग जारी रखने एवं इस वर्ष बाद में अमेरिका भारत 'टू प्लस टू' मंत्रिस्तरीय वार्ता और चतुष्पक्षीय वार्ता को आगे बढ़ाने पर सहमति जताई.'

भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जापान ने हिंद-प्रशांत में अहम समुद्री मार्गों को चीन के प्रभाव से मुक्त करने के लिए नई रणनीति विकसित करने के मकसद से नवंबर 2017 में चतुष्पक्षीय गठबंधन को आकार दिया था.

यह भी पढ़ें - बच्चों के कोविड-19 से सुरक्षित होने का दावा करने वाली ट्रम्प की पोस्ट फेसबुक ने हटाई

पहली 'टू प्लस टू' वार्ता सितंबर 2018 में नयी दिल्ली में हुई थी.

ब्राउन ने बताया कि फोन पर बातचीत के दौरान जयशंकर और पोम्पिओ ने कोविड-19 वैश्विक महामारी से निपटने, अफगानिस्तान में शांति प्रक्रिया को समर्थन देने और क्षेत्र को अस्थिर करने वाले हालिया कदमों समेत अंतरराष्ट्रीय चिंता के मामलों पर जारी द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय सहयोग पर चर्चा की.

दोनों नेता कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के दौरान लगातार संपर्क में हैं. इस महामारी से विश्वभर में सात लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है और करीब एक करोड़ 90 लाख लोग संक्रमित हैं.

वाशिंगटन : विदेश मंत्री एस जयशंकर और उनके अमेरिकी समकक्ष माइक पोम्पिओ ने फोन पर बात की, जिसमें उन्होंने कोरोना वायरस वैश्विक महामारी से निपटने तथा हिंद-प्रशांत क्षेत्र समेत अंतरराष्ट्रीय चिंता के मामलों के संबंध में द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय सहयोग को लेकर चर्चा की.

विदेश मंत्रालय के प्रधान उप प्रवक्ता कैले ब्राउन ने बताया कि दोनों नेताओं ने हिंद-प्रशांत और विश्वभर में समृद्धि एवं शांति कायम रखने और सुरक्षा मजबूत करने में भारत एवं अमेरिका के संबंधों की महत्ता की बात दोहराई.

  • Great speaking with Indian Minister of External Affairs @DrSJaishankar about the U.S.-India relationship and our work to combat the COVID-19 pandemic. We remain united to advance peace in Afghanistan, and to a secure and sovereign Indo-Pacific in which all countries can prosper.

    — Secretary Pompeo (@SecPompeo) August 6, 2020 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

भारत और अमेरिका ने संसाधन समृद्ध हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने के तरीकों पर बातचीत की. इस क्षेत्र में चीन अपना प्रभाव बढ़ाने की कोशिश कर रहा है. इस मामले पर 2018 में गोवा में हुई भारत-अमेरिका समुद्री सुरक्षा वार्ता के तीसरे दौर में भी विस्तार से बातचीत हुई थी.

अमेरिका रणनीतिक रूप से अहम भारत-प्रशांत क्षेत्र में भारत को बड़ी भूमिका निभाने के लिए प्रोत्साहित करता रहा है.

ब्राउन ने कहा, 'दोनों नेताओं ने क्षेत्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय मामलों में निकट सहयोग जारी रखने एवं इस वर्ष बाद में अमेरिका भारत 'टू प्लस टू' मंत्रिस्तरीय वार्ता और चतुष्पक्षीय वार्ता को आगे बढ़ाने पर सहमति जताई.'

भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और जापान ने हिंद-प्रशांत में अहम समुद्री मार्गों को चीन के प्रभाव से मुक्त करने के लिए नई रणनीति विकसित करने के मकसद से नवंबर 2017 में चतुष्पक्षीय गठबंधन को आकार दिया था.

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पहली 'टू प्लस टू' वार्ता सितंबर 2018 में नयी दिल्ली में हुई थी.

ब्राउन ने बताया कि फोन पर बातचीत के दौरान जयशंकर और पोम्पिओ ने कोविड-19 वैश्विक महामारी से निपटने, अफगानिस्तान में शांति प्रक्रिया को समर्थन देने और क्षेत्र को अस्थिर करने वाले हालिया कदमों समेत अंतरराष्ट्रीय चिंता के मामलों पर जारी द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय सहयोग पर चर्चा की.

दोनों नेता कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के दौरान लगातार संपर्क में हैं. इस महामारी से विश्वभर में सात लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है और करीब एक करोड़ 90 लाख लोग संक्रमित हैं.

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