नई दिल्ली/गाजियाबाद : गाजियाबाद में रोड पर जा रही महिला को आवारा सांड ने टक्कर मार दी. इसके बाद स्थानीय लोग महिला को अस्पताल लेकर पहुंचे तो हंगामा हो गया, क्योंकि अस्पताल पर आरोप है कि उन्होंने महिला को एडमिट करने से इनकार कर दिया. हालांकि अस्पताल प्रबंधन का कहना है कि वहां वेंटिलेटर की सुविधा नहीं थी. मौके पर पहुंची पुलिस ने हंगामा शांत कराया. मगर सवाल आवारा पशुओं की रोड पर मौजूदगी को लेकर उठ रहा है.
मामला लोनी इलाके के सिरोली गांव का है. बताया जा रहा है कि रोड से महिला जा रही थी. उसी दौरान एक आवारा सांड आया और उसने महिला को जोरदार टक्कर मार दी. टक्कर के बाद महिला गंभीर हालत में रोड पर गिरी, लोगों ने आनन-फानन में महिला को ऑटो में अस्पताल तक पहुंचाया. जहां ऑटो में ही महिला का चेकअप किया गया, क्योंकि अस्पताल प्रबंधन का कहना था कि महिला की हालत इतनी गंभीर है कि उसे वेंटिलेटर की आवश्यकता थी. मगर अस्पताल में वेंटिलेटर उपलब्ध नहीं है. इस बीच महिला की मौत हो गई.
आपको बता दें उत्तर प्रदेश के सीएम ने पहले ही आदेश दे रखा है कि रोड पर आवारा पशु न दिखाई दें, लेकिन उसके बावजूद आवारा पशु लगातार लोगों की जान पर आफत बन रहे हैं, जिससे सवाल खड़े हो रहे हैं. यह मामला इस बात का खतरनाक उदाहरण है.
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कथित रूप से आवारा सांड की वजह से हुई महिला की मौत के मामले में पुलिस जांच में जुटी हुई है. अभी तक महिला की पहचान भी नहीं हो पाई है. महिला के पास मौजूद सामान से महिला की पहचान करने की कोशिश में पुलिस जुटी हुई है.
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अगर आरोपों को सही मानें तो सवाल यह उठ रहा है कि संबंधित सरकारी महकमे क्या कर रहे हैं? क्यों आवारा पशुओं को रोड से नहीं हटाया जा रहा है? क्यों लोगों की जान से खिलवाड़ किया जा रहा है? यह सवाल इस बात को भी दर्शाते हैं कि गाजियाबाद में सरकारी महकमों के अधिकारी और कर्मचारी सीएम के आदेश की भी अवहेलना करते हैं.
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