नई दिल्ली/गाजियाबाद: रमजान का पाक महीना पूरा होने के बाद ईद का त्यौहार मनाया जाता है. ईद का त्यौहार मुस्लिम समुदाय का बेहद खास त्यौहार माना जाता है. हर साल ईद का त्यौहार बहुत ही धूमधाम के साथ मनाया जाता था, लेकिन इस बार कोरोना वायरस ने ईद की रौनक कम कर दी है.
मुफ़्ती फुरकान अख्तर कासमी ने ईद पर मुस्लिम समुदाय के लोगों से अपील करते हुए कहा कि पूरे मुल्क के अंदर महामारी फैली हुई है. इन दिनों मुल्क कोरोना वायरस की महामारी से जूझ रहा है. ऐसे में तमाम लोग घर पर रहकर ही सादगी के साथ ईद मनाए.
ईद पर गले ना मिलें
उन्होंने कहा कि हर बार हम लोग ईद की नमाज के बाद एक दूसरे से गले मिलते थे. ईद की मुबारकबाद देने के लिए एक दूसरे के घर जाया करते थे और अपने मिलने वालों को घर पर बुलाया करते थे लेकिन इस बार इस महामारी से बचने के लिए हमें ईद पर गले मिलने और अपने करीबियों को घर बुलाने से परहेज करना है. सरकार द्वारा जारी की गई गाइडलाइंस और लॉकडाउन का पूरी तरह से पालन करना है.
सादगी से मनाएं ईद
उन्होंने कहा कि इस बार तमाम लोग ईद पर गरीबों की मदद जरूर करें, क्योंकि लॉकडाउन के कारण रोजाना कमाने खाने वालों को आर्थिक तौर पर कई प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. ऐसे में ईद पर खरीदारी ना करके जो पैसे बचाए गए हैं, उनको गरीबों में दान किया जाए. जितना हो सके ईद सादगी से मनाई जाए.