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गाजियाबादः लॉकडाउन का फूलों की खेती पर पड़ा व्यापक असर, किसान बर्बाद! - फूलों की खेती

गेंदों के फूलों से भरा खेत जिसकी खुशबू से आस पास के क्षेत्र महकते रहते थे, लेकिन अब लाॅकडाउन की वजह से फूलों से भरा खेत झाड़ियों में तब्दील हो गया है. फूलों के सड़ने की वजब से खुशबू की जगह बदबू आनी शुरू हो गई है.

Marigold Flower Cultivation in Ghaziabad after lockdown and coronavirus
फूलों की खेती गाजियाबाद
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Published : Apr 30, 2020, 3:11 PM IST

नई दिल्ली/गाजियाबदः लाॅकडाउन के चलते सभी तरह की खेती करने वाला किसानों को नुकसान उठाना पड़ रहा है. लाॅकडाउन में सबसे ज्यादा बर्बाद फूलों की खेती करने वाले किसान हुए हैं. मुरादनगर के कस्बे के एक खेत में गेंदे के फूलों की खेती खड़ी खड़ी सूख गई है. जिसकी वजह से किसान को लाखों रुपए का नुकसान हुआ हैं. खेत के मालिक से ईटीवी भारत ने की खास बातचीत की.

गाजियाबाद में लॉकडाउन का फूलों की खेती पर पड़ा व्यापक असर

ईटीवी भारत को गेंदे के फूलों की खेती करने वाले किसान प्रमोद ने बताया कि लाॅकडाउन की वजह से उनके फूल बाजार में नहीं बिक पाए हैं, इसलिए उनकी सारी फूलों की खेती सूख गई है. जिसके चलते वह अब फूलों की खेती में बर्बाद हो गए हैं और अब फूलों की खेत की जुताई करने के बाद नई फसल बोने की तैयारी करेंगे.

सूख गई फूलों की खेती

इसके साथ ही किसान का कहना है कि उन्होंने फूलों की खेती कर्जा लेकर की थी, लेकिन उनको इसकी लागत भी नहीं मिल पाई है. मार्च-अप्रैल फूलों की खेती का सीजन होता है. जिसमें शादी समारोह और नवरात्र आते हैं, लेकिन लाॅकडाउन की वजह से सब बंद हो गए, इसलिए खेतों में खड़ी खड़ी उनके फूलों की खेती सूखकर खराब हो गई है.

नई दिल्ली/गाजियाबदः लाॅकडाउन के चलते सभी तरह की खेती करने वाला किसानों को नुकसान उठाना पड़ रहा है. लाॅकडाउन में सबसे ज्यादा बर्बाद फूलों की खेती करने वाले किसान हुए हैं. मुरादनगर के कस्बे के एक खेत में गेंदे के फूलों की खेती खड़ी खड़ी सूख गई है. जिसकी वजह से किसान को लाखों रुपए का नुकसान हुआ हैं. खेत के मालिक से ईटीवी भारत ने की खास बातचीत की.

गाजियाबाद में लॉकडाउन का फूलों की खेती पर पड़ा व्यापक असर

ईटीवी भारत को गेंदे के फूलों की खेती करने वाले किसान प्रमोद ने बताया कि लाॅकडाउन की वजह से उनके फूल बाजार में नहीं बिक पाए हैं, इसलिए उनकी सारी फूलों की खेती सूख गई है. जिसके चलते वह अब फूलों की खेती में बर्बाद हो गए हैं और अब फूलों की खेत की जुताई करने के बाद नई फसल बोने की तैयारी करेंगे.

सूख गई फूलों की खेती

इसके साथ ही किसान का कहना है कि उन्होंने फूलों की खेती कर्जा लेकर की थी, लेकिन उनको इसकी लागत भी नहीं मिल पाई है. मार्च-अप्रैल फूलों की खेती का सीजन होता है. जिसमें शादी समारोह और नवरात्र आते हैं, लेकिन लाॅकडाउन की वजह से सब बंद हो गए, इसलिए खेतों में खड़ी खड़ी उनके फूलों की खेती सूखकर खराब हो गई है.

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