ETV Bharat / city

मैं क्योटो-पेरिस वाली दिल्ली हूं.. देश के सबसे बड़े टीबी अस्पताल में मरीजों की जान से खिलवाड़

देश का सबसे बड़ा टीबी अस्पताल सरकारी लापरवाहियों के चलते बीमार पड़ गया है. बदहाली का आलम ये है कि इसके दरो-दीवार और चप्पा-चप्पा सरकारी जुल्मत की कहानी बयां कर रहा है. लापरवाही का सिलसिला यहीं नहीं थमता है. यहां भर्ती मरीजों की भी जान से खिलवाड़ किया जा रहा है.

Playing with lives of patients in countrys largest TB hospital
Playing with lives of patients in countrys largest TB hospital
author img

By

Published : May 29, 2022, 8:00 PM IST

नई दिल्ली : देश का सबसे बड़ा टीबी अस्पताल सरकारी लापरवाहियों के चलते बीमार पड़ गया है. बदहाली का आलम ये है कि इसके दरो-दीवार और चप्पा-चप्पा सरकारी जुल्मत की कहानी बयां कर रहा है. लापरवाही का सिलसिला यहीं नहीं थमता है. यहां भर्ती मरीजों की भी जान से खिलवाड़ किया जा रहा है. जर्जर अस्पताल की इमारत कहीं से भी कभी भी ढहनी शुरू हो सकती है, लेकिन सिस्टम के कुंभकर्ण अभी नींद ले रहे हैं. बड़ा हादसा होने पर ही इन जैसों की नींद टूटती है.

दिल्ली नगर निगम के राजन बाबू टीवी अस्पताल की ये हकीकत किसी के भी रौंगटे खड़े कर सकती है, लेकिन सिस्टम को इससे कोई फर्क नहीं पड़ता है. नेताओं को अपनी राजनीति चमकाने से फुर्सत नहीं और अफसरों को तो गाज गिरने के बाद ही कुछ सूझता है. ऐसे में हो भी तो क्या हो. जनता रोए चाहे चिल्लाए, इनका दिल नहीं पसीजने वाला है.

मैं क्योटो-पेरिस वाली दिल्ली हूं.. देश के सबसे बड़े टीबी अस्पताल में मरीजों की जान से खिलवाड़

इस अस्पताल में सुविधा के नाम पर गिनती के बेड और ये पर्दे हैं. बाकी और क्या मिल सकता है. इसका अंदाजा यहां घूम रहे आवारा कुत्ते बता देते हैं. गंदगी और बदबू शायद अस्पताल की पहली पहचान है. इसे भला कौन मिटा सकता है. इस भीषण गर्मी में कूलर-एसी तो दूर की बात, मरीजों के लिए एक अदद पंखा बी नहीं है. यहां भर्ती मरीजों के परिजन घर से कूलर लाकर अपने लिए गर्मी से निजात का इंतजाम कर रहे हैं. क्योटो और पेरिस बनाने वाली सरकारों की इससे कड़वी और भोंड़ी सच्चाई भला और क्या हो सकती है.

नई दिल्ली : देश का सबसे बड़ा टीबी अस्पताल सरकारी लापरवाहियों के चलते बीमार पड़ गया है. बदहाली का आलम ये है कि इसके दरो-दीवार और चप्पा-चप्पा सरकारी जुल्मत की कहानी बयां कर रहा है. लापरवाही का सिलसिला यहीं नहीं थमता है. यहां भर्ती मरीजों की भी जान से खिलवाड़ किया जा रहा है. जर्जर अस्पताल की इमारत कहीं से भी कभी भी ढहनी शुरू हो सकती है, लेकिन सिस्टम के कुंभकर्ण अभी नींद ले रहे हैं. बड़ा हादसा होने पर ही इन जैसों की नींद टूटती है.

दिल्ली नगर निगम के राजन बाबू टीवी अस्पताल की ये हकीकत किसी के भी रौंगटे खड़े कर सकती है, लेकिन सिस्टम को इससे कोई फर्क नहीं पड़ता है. नेताओं को अपनी राजनीति चमकाने से फुर्सत नहीं और अफसरों को तो गाज गिरने के बाद ही कुछ सूझता है. ऐसे में हो भी तो क्या हो. जनता रोए चाहे चिल्लाए, इनका दिल नहीं पसीजने वाला है.

मैं क्योटो-पेरिस वाली दिल्ली हूं.. देश के सबसे बड़े टीबी अस्पताल में मरीजों की जान से खिलवाड़

इस अस्पताल में सुविधा के नाम पर गिनती के बेड और ये पर्दे हैं. बाकी और क्या मिल सकता है. इसका अंदाजा यहां घूम रहे आवारा कुत्ते बता देते हैं. गंदगी और बदबू शायद अस्पताल की पहली पहचान है. इसे भला कौन मिटा सकता है. इस भीषण गर्मी में कूलर-एसी तो दूर की बात, मरीजों के लिए एक अदद पंखा बी नहीं है. यहां भर्ती मरीजों के परिजन घर से कूलर लाकर अपने लिए गर्मी से निजात का इंतजाम कर रहे हैं. क्योटो और पेरिस बनाने वाली सरकारों की इससे कड़वी और भोंड़ी सच्चाई भला और क्या हो सकती है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.