नई दिल्ली/फरीदाबाद: विधानसभा के पटल पर अवैध माइनिंग के चलते हरियाणा सरकार के राजस्व को 1400 करोड़ रुपये के नुकसान की आशंका जताई गई. जिसके बाद विपक्ष के पास सरकार को घेरने के लिए एक अच्छा खासा मुद्दा मिल गया. तो वहीं सरकार ने भी गंभीरता दिखाते हुए कार्रवाई शुरू कर दी है.
माइनिंग विभाग ने की कार्रवाई शुरू
बता दें कि माइनिंग विभाग ने बड़ी कार्रवाई खनन माफियाओं के खिलाफ शुरू कर दी है. साउथ हरियाणा की माइनिंग डीएसपी प्रितपाल सिंह के नेतृत्व में माइनिंग, आरटीए और पुलिस ने संयुक्त अभियान इन माफियाओं के खिलाफ छेड़ दिया है. गुरुग्राम-फरीदाबाद रोड पर इस कार्रवाई के चलते 200 से भी ज्यादा पत्थरों से भरे ओवरलोडिंग ट्रक को सड़क पर ही छोड़कर ड्राइवर फरार हो गए हैं.
'अवैध खनन बर्दाश्त नहीं किया जाएगा'
वहीं माइनिंग की टीम ने पाली चौकी पर नाकेबंदी कर अपना पहरा जमा दिया है. डीएसपी प्रितपाल सिंह का साफ शब्दों में कहना है कि किसी भी गाड़ी को नहीं बख्शा जाएगा और उनकी टीम जब तक गाड़ियां सड़क पर खड़ी रहेंगी वो भी मौके पर ही मौजूद रहेंगे. प्रदेश में अवैध खनन बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और ये अभियान लगातार जारी रहेगा.
राज्यसभा में कुमारी सैलजा ने उठाया अवैध खनन का मुद्दा
हरियाणा प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष व राज्यसभा सांसद कुमारी सैलजा ने अवैध खनन के मुद्दे पर केंद्र व प्रदेश सरकार को संसद में घेरा. उन्होंने सत्र के दौरान प्रदेश में हो रहे अवैध खनन के मुद्दे को उठाया. इससे पहले वह चंडीगढ़ में एआईसीसी मीडिया प्रभारी रणदीप सुरजेवाला के साथ प्रेस कॉन्फ्रेंस कर भी भाजपा सरकार को निशाने पर ले चुकी हैं.
सैलजा ने कहा कि पूरे देश में अवैध खनन हो रहा है. 2018-19 में एक लाख 15 हजार 492 मामले अवैध खनन के पाए गए और यह बढ़ते ही जा रहे हैं. सख्त कानून न होने के चलते अवैध खनन बढ़ रहा है. एनजीटी ने आदेश दिए हैं कि जो भी वाहन अवैध खनन करता पाया जाए, उस वाहन को पकड़कर उसकी एक्स शोरुम कीमत की पचास प्रतिशत राशि लेकर ही छोड़ें. लेकिन, इसके तहत आज तक कोई भी वाहन नहीं पकड़ा गया है.