नई दिल्ली : दिल्ली की केजरीवाल सरकार की कैबिनेट ने गुरुवार को बड़ा फैसला लिया है. बिजली को लेकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कई लोगों ने कहा कि हम लोग सक्षम हैं, हमें फ्री बिजली नहीं चाहिए. इसका इस्तेमाल आप विकास के लिए करें. सीएम ने कहा कि अब हम लोगों से पूछेंगे कि क्या उन्हें बिजली की सब्सिडी चाहिए? अगर वे कहेंगे कि चाहिए तो हम देंगे और वे कहेंगे कि नहीं चाहिए तो हम नहीं देंगे. एक अक्टूबर से दिल्ली में उन्हीं लोगों को बिजली की सब्सिडी दी जाएगी, जो लोग बिजली की सब्सिडी मांगेगे.
सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि अब दिल्ली में सभी को मुफ्त बिजली नहीं मिलेगी. उन्होंने कहा कि जो भी शख्स बिजली सब्सिडी लेना चाहेगा उसे मिलेगी और जो शख्स नहीं लेना चाहेगा उसे नहीं दी जाएगी. मतलब अब यह व्यवस्था वैकल्पिक तौर पर मिलेगी.
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फिलहाल दिल्ली में 54.5 लाख से अधिक घरेलू कनेक्शन उपभोक्ताओं में से लगभग 27 लाख से ज्यादा उपभोक्ता हर महीने 200 यूनिट बिजली का उपयोग करते हैं. ऐसे में इनका बिजली का बिल जीरो होता है. सरकार 201-400 यूनिट की खपत करने वाले लगभग 15.5 लाख उपभोक्ताओं के बिजली शुल्क का 50 प्रतिशत सब्सिडी देती है. हालांकि, उनके लिए सब्सिडी की राशि 800 रुपये प्रति माह तय की गई है. बिजली सब्सिडी का लाभ उठाने वाले घरेलू उपभोक्ता लगभग 86 प्रतिशत है.